केंद्र सरकार ने पूर्व IAS अधिकारी शाह फैसल को किया बहाल, बोले- आदर्शवाद ने निराश किया
क्या है खबर?
राजनीति से जुड़ने के लिए सरकारी सेवाओं से इस्तीफा देने वाले पूर्व भारतीय प्रशासनिक सेवा (IAS) अधिकारी शाह फैसल को केंद्र सरकार ने बहाल कर दिया है।
जम्मू-कश्मीर से संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) के पहले टॉपर फैसल ने जनवरी, 2019 में व्यक्तिगत कारणों से सेवाओं से इस्तीफा दे दिया था, लेकिन बाद में उन्होंने अपनी राजनीतिक पार्टी बना ली।
शाह ने कहा है कि वो एक नई शुरूआत करने को लेकर उत्साहित हैं।
ट्वीट
आठ महीने में मैं लगभग खत्म हो गया था- फैसल
बुधवार को अपनी बहाली का संकेत देते हुए फैसल ने ट्वीट करते हुए लिखा था, 'मेरे जीवन के आठ महीने (जनवरी 2019-अगस्त 2019) इतने भारी रहे कि मैं लगभग खत्म हो गया था। एक कल्पना का पीछा करते हुए मैंने लगभग वह सब कुछ खो दिया जो मैंने वर्षों में बनाया था। काम, मित्र, प्रतिष्ठा, सार्वजनिक सद्भावना सब। लेकिन मैंने कभी उम्मीद नहीं खोई। मेरे आदर्शवाद ने मुझे निराश किया।'
बयान
फैसल बोले- भरोसा था कि जिंदगी एक औऱ मौका देगी
फैसल ने लिखा, 'मुझे खुद पर भरोसा था कि मैं अपने द्वारा की गई गलतियों को सुधारूंगा। जिंदगी मुझे एक और मौका देगी। मेरे जीवन का एक हिस्सा उन आठ महीनों की यादों से थक गया है और उस विरासत को मिटाना चाहता है। बहुत कुछ मिट चुका है, बाकी समय मिटा देगा... जिंदगी खूबसूरत है और खुद को एक और मौका देने के लायक है। असफलताएं हमें मजबूत बनाती हैं। अतीत की छाया से परे एक अद्भुत दुनिया है।'
गलती स्वीकार
मैंने कई गलतियां की- फैसल
आज एक ट्वीट का जवाब देते हुए फैसल ने कहा, 'जब मैं पीछे देखता हूं तो कई शब्द जो मैंने कहे, कई चीजें जो मैंने की, लोग जिनसे मैं मिला, मुद्दे जिन पर मैं खड़ा हुआ और जो रास्ते अपनाए, वो गलत थे। लेकिन फिर यही वो गलतियां हैं जिन्होंने मुझे वो बनाया है जो मैं आज हूं। मुझे अपने फैसलों के लिए कष्ट झेलना पड़ा और केवल कष्ट ही हमें मुक्ति दिला सकता है।'
राजनीतिक सफर
अनुच्छेद 370 हटने के कारण असफल हुआ फैसल का राजनीति करने का फैसला
बता दें कि फैसल ने जम्मू-कश्मीर पीपुल्स मूवमेंट (JKPM) के नाम से राजनीतिक पार्टी बनाई थी, लेकिन 5 अगस्त, 2019 को केंद्र सरकार के जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाने से उनका ये प्रयास विफल हो गया।
फैसल को 4 अगस्त, 2019 को ही हिरासत में ले लिया गया था और वे अगले 10 महीने तक हिरासत में रहे। इस दौरान उन पर जन सुरक्षा कानून (PSA) भी लगाया गया और उन पर 'नरम अलगाववाद' का आरोप लगाया गया।
जानकारी
अगस्त, 2020 में फैसल ने छोड़ी थी राजनीति
फैसले ने अगस्त, 2020 में अपनी पार्टी के अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया था। बाद में उन्होंने राजनीति से ही संन्यास ले लिया। इसके बाद उन्होंने अपने पुराने ट्वीट भी डिलीट कर दिए थे और नई शुरूआत का संदेश दिया था।