शंभु बॉर्डर पर आंदोलन के 200 दिन पूरे होने पर जुटे किसान, विनेश फोगाट हुईं सम्मानित
क्या है खबर?
पंजाब और हरियाणा शंभू बॉर्डर और खनौरी बॉर्डर पर चल रहे किसान आंदोलन को आज 200 दिन पूरे हो गए हैं।
इस मौके पर किसानों ने बड़ी संख्या में यहां इकट्ठा होने की योजना बनाई है। किसान 3 सीमाओं पर महापंचायत करने जा रहे हैं।
ओलंपियन पहलवान विनेश फोगाट भी अपने पति सोमवीर राठी के साथ खनौरी सीमा पर पहुंची हैं। यहां किसान नेताओं ने माला पहनाकर उनका सम्मान किया है।
बयान
क्या बोले किसान नेता?
किसान नेता सरवन सिंह पंधेर ने कहा, "31 अगस्त को आंदोलन के 200 दिन पूरे हो रहे हैं। आंदोलन शांतिपूर्ण, लेकिन बहुत तीव्र तरीके से चल रहा है।"
उन्होंने आगे कहा, "केंद्र सरकार हमारे संकल्प की परीक्षा ले रही है और मांगें अभी तक पूरी नहीं हुई है। एक बार फिर हम सरकार के सामने अपनी मांगें रखेंगे और नई घोषणाएं भी की जाएंगी। लाखों किसान शंभू, खनौरी और अन्य सीमाओं पर इकट्ठा होंगे।"
ट्विटर पोस्ट
आंदोलन में शामिल हुईं विनेश फोगाट
VIDEO | Wrestler Vinesh Phogat (@Phogat_Vinesh) attends an event organised by farmers at #Shambhu border as their protest enters 200th day today.#FarmersProtest
— Press Trust of India (@PTI_News) August 31, 2024
(Full video available on PTI Videos - https://t.co/n147TvqRQz) pic.twitter.com/zjSgG4EYwe
फोगाट का बयान
फोगाट किसानों से बोलीं- आपकी बेटी आपके साथ खड़ी है
फोगाट ने कहा, "किसान लंबे समय से अधिकारों के लिए लड़ रहे हैं, लेकिन उनकी ऊर्जा और दृढ़ संकल्प कम नहीं हुआ है। मैं भाग्यशाली हूं कि मेरा जन्म एक किसान परिवार में हुआ। मैं आपको बताना चाहती हूं कि आपकी बेटी आपके साथ है। हमें अपने अधिकारों के लिए खड़ा होना होगा, क्योंकि कोई और हमारे लिए नहीं आएगा। मैं भगवान से प्रार्थना करती हूं कि आपकी मांगें पूरी हों और आप अपना अधिकार लिए बिना वापस न जाएं।"
प्रदर्शन
13 फरवरी से जारी है किसानों का प्रदर्शन
किसान न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) समेत कई मांगों को लेकर 13 फरवरी से आंदोलन कर रहे हैं।
ऐसे में सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए हरियाणा सरकार ने हरियाणा और पंजाब के शंभू बॉर्डर को बैरिकेड्स लगाकर बंद कर दिया था। यहां हरियाणा पुलिस ने 7 स्तरीय बैरीकेडिंग लगाई है।
बाद में लोकसभा चुनाव की आचार संहिता लागू होने के बाद किसानों ने बॉर्डर पर ही स्थायी मोर्चा बना लिया है। ऐसे में वहां से आवाजाही बंद है।
मांगें
क्या हैं किसानों की मांगें?
किसानों की मांगों में MSP पर कानून, स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों को लागू करना, किसानों की कर्ज माफी, मुकदमे रद्द करना, वृद्ध किसानों को पेंशन, प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना में सुधार, लखीमपुर खीरी मामले के दोषियों को सजा और भूमि अधिग्रहण अधिनियम, 2013 लागू करना प्रमुख हैं।
इसके अलावा किसान मुक्त व्यापार समझौतों पर रोक, कीटनाशक, बीज और उर्वरक अधिनियम में संशोधन और विद्युत संशोधन विधेयक, 2020 को रद्द करने की मांग भी कर रहे हैं।