दिल्ली: मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने LG से मुख्य सचिव को बदलने का अनुरोध किया- रिपोर्ट
क्या है खबर?
केंद्र सरकार के अध्यादेश को लेकर छिड़ी तकरार के बीच दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने उपराज्यपाल (LG) विनय कुमार सक्सेना से दिल्ली की नौकरशाही में महत्वपूर्ण बदलाव करने के लिए कहा है।
बतौर रिपोर्ट्स, केजरीवाल ने LG से विनम्रतापूर्वक दिल्ली के मुख्य सचिव नरेश कुमार को बदलने का अनुरोध किया है।
ये अनुरोध ऐसे समय पर किया गया है जब केंद्र सरकार विधेयक को कानून बनाने के लिए संसद के मानसून सत्र में जल्द ही विधेयक ला सकती है।
मामला
वन महोत्सव कार्यक्रम के दौरान LG से मिले थे केजरीवाल
दिल्ली सरकार से जुड़े सूत्रों ने इंडियन एक्सप्रेस को बताया कि मुख्यमंत्री केजरीवाल और LG विनय कुमार सक्सेना शनिवार को असोला-भाटी अभयारण्य में आयोजित हुए वन महोत्सव में एक साथ मौजूद थे, जहां दोनों एक-दूसरे के प्रति काफी विनम्र थे।
एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी ने बताया, "मुख्यमंत्री ने G-20 शिखर सम्मेलन से संबंधित कुछ फाइलों पर बातचीत की, जो प्रक्रियात्मक रूप से दिल्ली सरकार के पास लंबित थीं और LG को आश्वासन दिया कि इन्हें मंजूरी दे दी जाएगी।"
मामला
LG ने केजरीवाल को दिया आश्वासन- रिपोर्ट
अधिकारी ने आगे कहा कि केजरीवाल ने दिल्ली कैबिनेट के एक वरिष्ठ सदस्य को फोन कर G-20 शिखर सम्मेलन से संबंधित किसी भी फाइल में देरी नहीं करने का निर्देश दिया।
बतौर रिपोर्ट, इसके बाद केजरीवाल ने मौजूदा मुख्य सचिव नरेश कुमार से पहले रह चुके अधिकारियों के अच्छे कामों का उदाहरण देते हुए उन्हें बदलने के लिए LG से व्यक्तिगत अनुरोध किया था।
इस पर LG ने केजरीवाल को आश्वासन दिया कि वह इस मामले पर गौर करेंगे।
बैठक
अगले सप्ताह विधेयक ला सकती है केंद्र सरकार
केजरीवाल ने दिल्ली के मुख्य सचिव को बदलने का अनुरोध राष्ट्रीय राजधानी सिविल सेवा प्राधिकरण (NCCSA) की अगली बैठक पर रोक लगने के बाद किया है।
बता दें कि केंद्र सरकार अध्यादेश की जगह लेने वाले विधेयक को अगले सप्ताह संसद के सामने रख सकती है। इस विधेयक के पारित हो जाने के बाद दिल्ली सरकार के अधिकारियों के ट्रांसफर और पोस्टिंग से जुड़े अधिकार LG के पास आ जाएंगे।
अध्यादेश
क्या है अध्यादेश का मामला?
सुप्रीम कोर्ट की संवैधानिक पीठ ने 11 मई को अधिकारियों के ट्रांसफर और पोस्टिंग से जुड़े अधिकार दिल्ली सरकार को दे दिए थे। इसके बाद केंद्र ने 19 मई को राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली (संशोधन) अध्यादेश जारी किया था।
इसके जरिए दिल्ली सरकार को मिले अधिकार को पलटकर अंतिम फैसले का अधिकार उपराज्यपाल को दे दिए गए थे। दिल्ली सरकार ने अध्यादेश के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की थी, जिस पर सुनवाई चल रही है।