टूलकिट मामला: शांतनु के पिता ने दिल्ली पुलिस पर लगाया हार्ड डिस्क ले जाने का आरोप
किसान आंदोलन की रणनीति को लेकर बनाई गई 'टूलकिट' के मामले में आरोपी बनाए गए पुणे निवासी इंजीनियर और पर्यावरण कार्यकर्ता शांतनु मुलुक के पिता ने दिल्ली पुलिस पर गंभीर आरोप लगाया है। शांतनु के पिता शिवलाल मुलुक ने कहा है कि गत 12 फरवरी को दो पुलिसकर्मी उनके घर आए थे। उन्होंने खुद को दिल्ली पुलिस से बताते हुए बिना किसी सर्च वारंट के घर में प्रवेश किया और शांतनु की एक हार्ड डिस्क ले गए।
क्या है पूरा मामला?
पर्यावरण कार्यकर्ता ग्रेटा थनबर्ग ने 3 फरवरी को किसान आंदोलन के समर्थन में ट्वीट करने के बाद एक 'टूलकिट' शेयर की थी, जिसमें आंदोलन की जमीनी और सोशल मीडिया की आगामी रणनीति बताई गई थी। बाद में उन्होंने उसे डिलीट कर दिया। पुलिस का कहना है कि इस 'टूलकिट' को बनाने वाले भारत के खिलाफ साजिश रच रहे हैं। इस संबंध में बेंगलुरू की पर्यावरण कार्यकर्ता दिशा रवि को शनिवार को गिरफ्तार किया गया था।
दिल्ली पुलिस ने शांतनु और निकिता के खिलाफ भी जारी किया वारंट
मामले में दिल्ली पुलिस ने सोमवार को निकिता जैकब और शांतनु मुलुक को आरोपी बनाते हुए उनके खिलाफ गैर-जमानती गिरफ्तारी वारंट जारी किया था। पुलिस ने उन पर खालिस्तानी समर्थकों के साथ मिलकर काम करने का आरोप लगाया है। इसके अलावा पुलिस ने यह भी कहा है कि उन्होंने गिरफ्तार आरोपी दिशा के साथ 11 जनवरी को खालिस्तानी ग्रुप की कनाडियन महिला पुनीत और काव्य न्याय फाउंडेशन के संस्थापक एमओ धालीवाल के साथ जूम कॉल भी की थी।
निकिता और शांतनु को मिली अग्रिम जमानत
दिल्ली पुलिस की ओर से गैर-जमानती वारंट जारी किए जाने के बाद शांतनु और निकिता ने बॉम्बे हाई कोर्ट में अग्रिम ट्रांजिट जमानत की याचिका दायर की थी। इसमें हाई कोर्ट की औरंगाबाद पीठ ने मंगलवार को शांतनु को 10 दिन की अग्रिम ट्रांजिट जमानत दे दी थी। जबकि, मुंबई पीठ ने निकिता की याचिका पर फैसला सुरक्षित रख लिया था। बुधवार को हाई कोर्ट ने निकिता को भी तीन सप्ताह की अग्रिम ट्रांजिट जमानत दे दी।
शांतनु के पिता ने पुलिस में दी शिकायत
NDTV के अनुसार शांतनु की पिता शिवलाल ने बीड पुलिस अधीक्षक (SP) राजा रामास्वामी को शिकायत देकर कहा है कि गत 12 फरवरी को दो पुलिसकर्मियों ने खुद को दिल्ली पुलिस से बताते हुए बिना किसी सर्च वारंट के उनके घर की तलाशी ली थी। उस दौरान दोनों पुलिसकर्मी शांतनु के कम्प्यूटर से एक हार्ड डिस्क निकालकर ले गए थे। SP ने बताया कि उन्हें मंगलवार को शिकायत मिली है। मामले की जांच कर कार्रवाई की जाएगी।
पुलिसकर्मियों ने सामान ले जाने से पहले नहीं ली अनुमति
शिवलाल की ओर से दी गई शिकायत में कहा गया है कि दोनों पुलिसकर्मियों ने अपना पहचान पत्र दिखाया था और शांतनु पर राजद्रोह करने और खालिस्तानी समर्थकों से संबंध रखने की बात कही थी। दोनों कर्मियों ने घर की तलाशी लेकर शांतनु के कंप्यूटर की एक हार्ड डिस्क, पर्यावरण संबंधी पोस्टर, एक किताब और मोबाइल फोन का कवर जब्त कर लिया। उन्होंने आरोप लगाया कि पुलिसकर्मी बिना अनुमति से सामान अपने साथ ले गए।
पुलिसकर्मियों ने जब्त सामग्री का पंचनामा भी नहीं किया तैयार
शिवलाल ने शिकायत में कहा कि उनके द्वारा पूछताछ करने पर भी पुलिसकर्मियों ने जब्त किए जाने वाले सामान के संबंध में कोई जानकारी नहीं और ना रही उनका पंचनामा तैयार किया। बिना पंचनामे के घर से सामान ले जाना पूरी तरह से गैरकानूनी है।