अमिताभ बच्चन ने अभिव्यक्ति की आजादी की बात, भाजपा ने ममता बनर्जी से जोड़ा
महानायक अमिताभ बच्चन अपने व्यक्तित्व से हर किसी पर और हर कहीं अपनी छाप छोड़ते हैं। बात चाहे बड़े पर्दे की हो, छोटे पर्दे की या फिर किसी कार्यक्रम के मंच की, महानायक की उपस्थिति हमेशा खास रहती है। अमिताभ राजनीतिक और सामाजिक मुद्दों पर कम ही बोलते हैं और इसके लिए उनकी खूब आलोचना भी होती है। गुरुवार को अमिताभ ने सिनेमा में अभिव्यक्ति की आजादी पर अपनी बात कही है।
बिग बी ने सिनेमा के इतिहास, अभिव्यक्ति और आज के दौर पर की बात
गुरुवार को कोलकाता में 28वें इंटरनैशनल फिल्म फेस्टिवल ऑफ कोलकाता (IFFK) का उद्घाटन हुआ। इस मौके पर अमिताभ ने सिनेमा के इतिहास, उसमें अभिव्यक्ति और आज के दौर के सिनेमा की बात की। अमिताभ ने कहा कि हमेशा से ही फिल्मों में अपने दौर की राजनीतिक और सामाजिक परिस्थितियों का चित्रण होता रहा है। सोशल मीडिया पर कई लोग अमिताभ के बयान को 'पठान' पर हो रहे विवाद से जोड़कर देख रहे हैं।
सिनेमा में आ चुके हैं कई बदलाव
अमिताभ ने कहा, "शुरू से अब तक सिनेमा के कंटेंट में कई तरह के बदलाव हुए हैं। पौराणिक फिल्मों, समाजवादी फिल्मों से लेकर कल्पनाओं और पक्षपात में लिपटी ऐतिहासिक फिल्में जिनमें मोरल पोलिसिंग भी होती है, इस विस्तार ने हमेशा दर्शकों को अपने समय का राजनीतिक और सामाजिक पक्ष दिखाया है।" उन्होंने कहा आज के दौर में भी भारतीय सिनेमा द्वारा अभिव्यक्ति की आजादी पर सवाल उठाए जाते हैं।
अमित मालवीय ने की टिप्पणी
अमिताभ के बयान को सोशल मीडिया पर राजनीतिक मोड़ भी दे दिया गया। पश्चिम बंगाल के भाजपा IT सेल के अध्यक्ष अमित मालवीय ने ट्वीट किया, 'अमिताभ के शब्द इससे ज्यादा भविष्यसूचक नहीं हो सकते क्योंकि वे कोलकाता में बोले गए हैं। वह ममता बनर्जी के साथ मंच साझा कर रहे थे। यह एक तानाशाह को आईना दिखाने जैसा है जिसके राज में चुनाव के बाद सबसे भयावह खूनखराबा देखा गया।'
कोलकाता में चल रहा है इंटरनैशनल फिल्म फेस्टिवल
गुरुवार को 28वें कोलकाता इंटरनैशनल फिल्म फेस्टिवल (KIFF) का उद्घाटन किया गया। इस फिल्म फेस्टिवल का उद्घाटन मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने किया। उद्घाटन समारोह में शाहरुख खान, अमिताभ बच्चन, रानी मुखर्जी जैसे सितारे मौजूद रहे। फिल्म फेस्टिवल की अध्यक्षता बंगाली सिनेमा के जाने-माने निर्देशक राज चक्रवर्ती कर रहे हैं। यह फिल्म फेस्टिवल कोलकाता के कई वेन्यू में 15 दिसंबर से 22 दिसंबर तक चलेगा। इस दौरान यहां 42 देशों के 183 फिल्में दिखाई जाएंगी।