विदेशों से कार और बाइक मंगवाने से पहले जानिए ये जरूरी बातें
भारत में विदेशी गाड़ियों का खूब क्रेज है। हर कोई दुनिया की बेहतरीन कारों में सफर करना चाहता है। दुनियाभर में मशहूर रोल्स रॉयस, फेरारी, लैम्बॉर्गिनी, बुगाटी आदि जैसी कंपनियों की कार खूब मशहूर हैं, लेकिन इन दिग्गज कार निर्माताओं की बहुत सी ऐसी गाड़ियां हैं जो भारत में अधिकारिक रूप से लॉन्च नहीं किया गया है। अगर आप भी कोई कार आयात करना चाहते हैं तो हम आपके लिए इस बारे में जानकारी लेकर आए हैं।
भारत में वाहन आयात करने के नियम
विदेश व्यापार निदेशालय (DGFT) द्वारा बनाए गए नियम के अनुसार, आप केवल उन्ही वाहनों को बाहर से मंगवा सकते हैं जो - 1. जिन गाड़ियों का निर्माण भारतीय कंपनियां नहीं करती। 2. वाहन पर किसी भी प्रकार की उधारी या बकाया मासिक शुल्क (EMI) ना हो। 3. वाहन के आयात प्रक्रिया से पहले वह किसी अन्य देश में रजिस्टर्ड न हो। अगर आपके द्वारा आयात की जाने वाली कार इसमें नहीं आती तो आप उसे आसानी से मंगा सकते हैं।
इन बातों का ध्यान रखना है बेहद जरूरी
वाहन को आयात करने से पहले ये जरूरी है कि स्पीडोमीटर यूनिट मिल प्रति घंटा के बजाय किलोमीटर प्रति घंटा का पालन करता हो। वाहन में स्टेयरिंग व्हील दाएं हाथ पर होना चाहिए। यानी की वाहन राइट व्हील ड्राइव होना चाहिए। यह नियम बाइक पर लागू नहीं है। जो भी वाहन आयत किया जाना हो वो निर्माता के देश में ही उपलब्ध हो। यदि वो वाहन किसी और देश में होगी तो आपको काफी परेशानी हो सकती है।
इन परिस्थियों में मान्य नहीं होंगे ऊपर दिए निर्देश
यदि वाहन सुरक्षा आवश्यकताओं के लिए आयात किया जाता है। यदि वाहन रिसर्च या डेवलपमेंट प्रयोजनों के लिए आयात किया जाता है। यदि अप्रवासी भारतीय वापस अपने देश में आने के साथ अपने वाहन को ला रहे हैं, तो उनके पास प्रमाण होना चाहिए कि वो उस देश में पिछले दो वर्षो से रहते हैं। उसके अलावा कार या बाइक जिसे वो लाना चाहता है उस पर उनका मालिकाना हक कम से कम एक साल का हो।
कार और बाइक पर लगने वाला आयात शुल्क
लग्जरी कारों के लिए आयात शुल्क वाहन की कीमत (CIF) का 165 प्रतिशत है। बाइक के लिए यह CIF मूल्य का 116 प्रतिशत है। इसके अलावा क्षेत्रीय परिवहन कार्यालय (RTO) जाकर राज्य सरकार द्वारा लिए जा रहे शुल्क को जमा किया जाता है।
इन बातों का ध्यान रखकर आयात करें वाहन
अगर आप भारत में किसी कार को बाहर से मंगवाते हैं तो आपको उसकी वास्तविक कीमत से कई गुना ज्यादा पैसे खर्च करने होंगे। विदेश से खरीदे जाने वाले कार और बाइक के लिए सरकार द्वारा बनाए गए नियम है, जिनके पूरा होने के बाद ही कोई भारतीय विदेश से वाहन की खरीदारी कर सकता है। लग्जरी गाड़ियों में हाई ऑक्टेन ईंधन का प्रयोग किया जाता है और भारत में ये ईंधन हर जगह उपलब्ध नहीं है।