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    #NewsBytesExplainer: भारतीय छात्रा जाह्नवी को मारने वाले अमेरिकी पुलिसकर्मी को क्यों रिहा किया गया?
    जाह्नवी कंडुला को मारने वाले पुलिसकर्मी को रिहा किया गया

    #NewsBytesExplainer: भारतीय छात्रा जाह्नवी को मारने वाले अमेरिकी पुलिसकर्मी को क्यों रिहा किया गया?

    लेखन महिमा
    Feb 22, 2024
    06:53 pm

    क्या है खबर?

    अमेरिका के वाशिंगटन राज्य के सिएटल शहर के एक पुलिस अधिकारी के टक्कर मारने के कारण पिछले साल भारतीय छात्रा जाह्ववी कंडुला की मौत हो गई थी।

    अब खबर है कि इस पुलिस अधिकारी के खिलाफ कोई आपराधिक मामला नहीं चलाया जाएगा। इसके पीछे सबूतों की कमी का हवाला दिया गया है।

    आइए जानते हैं कौन थीं जाह्ववी, कैसे हुई थी उनकी मौत और आरोपी पुलिसकर्मी के खिलाफ मामला क्यों नहीं चलेगा।

    मामला 

    क्या है मामला?

    23 जनवरी, 2023 को अमेरिका में सिएटल पुलिस की गाड़ी से टक्कर लगने के बाद भारतीय छात्रा जाह्नवी कंडुला की मौत हो गई थी।

    एक साल की कानूनी लड़ाई, अदालती कार्यवाही, भारतीय और अमेरिकी दोनों सरकारों के बयानों और जवाबदेही की मांग के बाद जाह्नवी को कुचलने वाले आरोपी सिएटल पुलिस अधिकारी केविन डेव को कोर्ट ने कोई सजा नहीं दी।

    किंग काउंटी अभियोजक कार्यालय ने आरोपी के खिलाफ मामले को आगे न बढ़ाने का फैसला लिया है।

    भारतीय छात्र 

    जाह्नवी कंडुला कौन थीं?

    23 वर्षीय जाह्ववी आंध्र प्रदेश से थीं और सिएटल के साउथ लेक यूनियन में नॉर्थ ईस्टर्न यूनिवर्सिटी कैंपस से मास्टर डिग्री की पढ़ाई कर रही थीं।

    साल 2021 में वह एक स्टूडेंट्स एक्सचेंज प्रोग्राम के तहत बेंगलुरु से अमेरिका गई थीं और 2022 के दिसंबर में उनकी पढ़ाई पूरी होने वाली थी।

    जाह्नवी को उनकी मां ने अकेले ही पाला-पोसा था और वह एक प्राथमिक विद्यालय में पढ़ाती हैं। उन्होंने अपनी बेटी को पढ़ाने के लिए कर्ज भी लिया था।

    कारण 

    कैसे हुई थी जाह्नवी कंडुला की मौत?

    जाह्नवी की मौत सड़क पार करने के दौरान हुई थी। दरअसल, पुलिस अधिकारी केविन डेव करीब 119 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से कार चला रहे थे। इस दौरान सड़क पार रही जाह्नवी को टक्कर लग गई, जिससे वह 30 मीटर दूर जाकर गिरी थीं।

    इस घटना के बाद जाह्नवी को तुरंत हार्बरव्यू मेडिकल सेंटर ले जाया गया, जहां डॉक्‍टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।

    इस घटना पर अंतरराष्ट्रीय आक्रोश भी देखने को मिला था।

    मजाक

    जाह्ववी की मौत का एक पुलिस अधिकारी ने बनाया था मजाक 

    सिएटल पुलिस विभाग द्वारा जारी 'बॉडीकैम' फुटेज में अधिकारी डेनियर ऑडरर को इस भीषण दुर्घटना का मजाक बनाते सुना गया था।

    उन्होंने जाह्ववी की जान की खास कीमत न बताते हुए कहा था कि 11,000 डॉलर का चेक देकर मामला रफा-दफा किया जा सकता है।

    इसके बाद भारतीय दूतावास ने अमेरिकी सरकार से जांच की मांग की थी। दूतावास की मांग के बाद अमेरिकी सरकार ने मामले में त्वरित और निष्पक्ष जांच का आश्वासन दिया था।

    मामला 

    जाह्ववी की हत्या के आरोपी को क्यों रिहा किया गया?

    किरो7 सिएटल की रिपोर्ट के अनुसार, जाह्ववी की मौत से जुड़े सबूतों की जांच की जिम्मेदारी किंग काउंटी अभियोजन अटॉर्नी कार्यालय (PAO) की थी।

    कार्यालय की वकील लीसा मैनियन ने एक बयान जारी कर जाह्ववी की मौत पर दुख व्यक्त किया, लेकिन साथ ही कहा कि वाशिंगटन राज्य के कानून के तहत उनके पास पर्याप्त सबूत नहीं हैं, जिससे डेव के खिलाफ आपराधिक आरोपों की जांच को आगे बढ़ाया जा सके।

    उन्होंने ऑडरर की टिप्पणी पर भी चिंता व्यक्त की।

     सिएटल पुलिस 

    वाशिंगटन के पुलिस विभाग ने मामले पर क्या कहा?

    सामुदायिक पुलिस आयोग (CPC) ने जाह्ववी के परिवार और भारतीय-अमेरिकी समुदाय के प्रति संवेदना व्यक्त की और कहा कि अभियोजक ने पाया कि आरोपी पुलिसकर्मी का आचरण वाशिंगटन के वाहन हत्या कानून के तहत 'लापरवाही' या 'दूसरों की सुरक्षा की उपेक्षा' के कानूनी मानक के विपरीत नहीं था।

    CPC ने कहा कि वह सिएटल पुलिस के साथ मिलाकर आपातकालीन वाहन संचालन नीति में आवश्यक बदलावों पर काम कर रही है, जिससे इस तरह के जोखिमों से बचा जा सके।

    आपत्ति 

    आरोपी की रिहाई पर जाह्ववी के परिजनों ने क्या कहा? 

    इस फैसले से जाह्ववी के परिवार और दोस्तों में गुस्सा और नाराजगी है। परिजनों और उनके वकील ने अभियोजक पर उसकी मौत के लिए न्याय और जवाबदेही देने में विफल रहने का आरोप लगाया।

    परिजनों ने कहा कि वे डेव और सिएटल पुलिस विभाग के खिलाफ लड़ाई जारी रखेंगे और यह सुनिश्चित करने के लिए विधायी बदलाव की मांग करेंगे कि कोई दूसरा परिवार यह न झेले।

    इसके अलावा उन्होंने ऑडरर को तत्काल निष्कासित करने की मांग की।

    सुनवाई

    अब आगे क्या?

    टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के अनुसार, ऑडरर को घटना के बाद दोबारा नियुक्त कर लिया गया था। हालांकि, अब उन्हें 4 मार्च को होने वाली अनुशासनात्मक सुनवाई में संभावित बर्खास्तगी का सामना करना पड़ सकता है।

    सिएटल पुलिस विभाग के प्रोटोकॉल और आपातकालीन कॉल पर अधिकारी की प्रतिक्रिया की जांच की जा रही है।

    जाह्ववी के परिवार को जवाबदेही का इंतजार है, ताकि भविष्य में ऐसी कोई घटना न हो और इसके लिए उचित कदम उठाए जाएं।

    जानकारी

    सिएटल में 2023 में वाहनों से हुई थी 20 की मौत 

    बता दें कि जाह्ववी की मृत्यु ने सिएटल में पैदल यात्रियों की सुरक्षा के मुद्दे पर भी ध्यान आकर्षित किया था। सिएटल परिवहन विभाग के अनुसार, 2023 में वाहनों से टक्कर के कारण 20 लोगों की मौत हुई थी।

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