
अफगानिस्तान में एक हफ्ते के अंदर चौथा भूकंप आया, 5.4 रही तीव्रता
क्या है खबर?
अफगानिस्तान में शुक्रवार को फिर से भूकंप आया है। रिक्टर पैमाने पर इसकी तीव्रता 5.4 मापी गई। यह दक्षिण-पूर्वी अफगानिस्तान में आया था। जर्मन रिसर्च सेंटर फॉर जियोसाइंसेज (GFZ) के मुताबिक, भूकंप का केंद्र 10 किमी की गहराई पर था। इससे पहले गुरुवार को भी यहां 6.2 तीव्रता का भूकंप आया था। एक ही क्षेत्र में 24 घंटे के अंदर यह दूसरा भूकंप है। इस क्षेत्र में कुल 3 और पूरे अफगानिस्तान में एक हफ्ते में 4 भूकंप आए हैं।
भूकंप
कुनार प्रांत में 98 प्रतिशत इमारतें ध्वस्त, मृतकों की संख्या 2,200 हुई
रॉयटर्स के मुताबिक, शुक्रवार को भूकंप का केंद्र पाकिस्तान सीमा के निकट सुदूर शिवा जिले में था। प्रारंभिक रिपोर्ट में बरकाशकोट क्षेत्र में नुकसान की बात कही गई है। इससे पहले 31 अगस्त को कुनार प्रांत और नांगरहार में आए भूकंप की वजह से 98 प्रतिशत इमारतें ध्वस्त हो गईं। करीब 2,200 लोगों की मौत हुई है और 3,500 से अधिक लोग घायल हैं। अफगानिस्तान में सहायता एजेंसी का कहना है कि 84,000 लोग विस्थापित हैं।
झटके
एक हफ्ते में 4 भूकंप से थर्राया अफगानिस्तान
GFZ के मुताबिक, अफगानिस्तान में 31 अगस्त को कुनार प्रांत के नूरगल जिले में 6.0 तीव्रता का भूकंप आया था, जो 10 किमी की गहराई पर था। इसने काफी तबाही मचाई। इसके बाद 2 सितंबर को 5.4 तीव्रता का भूकंप लगा थी। 4 सितंबर को फिर से 6.2 तीव्रता का भूकंप दक्षिण-पूर्वी अफगानिस्तान में 10 किमी की गहराई पर आया। चौथा भूकंप शुक्रवार को फिर से उसी क्षेत्र में आया है।
बाधा
राहत कार्य चलाने में बाधा
अफगानिस्तान के जिन क्षेत्रों में भूकंप आया है, वहां पहाड़ी और उबड़-खाबड़ रास्ते होने की वजह से मदद पहुंचने में समस्या आ रही है। इंटरनेशनल फेडरेशन ऑफ रेड क्रॉस और रेड क्रीसेंट सोसाइटीज ने कहा कि मानवीय जरूरतें विशाल हैं और तेजी से बढ़ रही हैं, लेकिन बचाव और राहत कार्य के लिए संसाधन कम हैं। संयुक्त राष्ट्र विश्व खाद्य कार्यक्रम के प्रमुख जॉन एलीफ ने बताया कि उसके पास सिर्फ 4 सप्ताह का धन और स्टॉक है।
भूकंप
अफगानिस्तान में क्यों आते हैं ज्यादा भूकंप?
अफगानिस्तान धरती पर सबसे अधिक सक्रिय भूकंपीय क्षेत्रों में है, जहां हिंदू कुश पर्वत श्रृंखला उथले और गहरे दोनों प्रकार के भूकंपों के लिए केंद्र है। यह क्षेत्र भारतीय प्लेट और यूरेशियन प्लेट के बीच टेक्टोनिक टकराव के कारण अत्यधिक सक्रिय है। वर्ष 2021 में तालिबान के कब्जे के बाद अफगानिस्तान में तीसरा बड़ा भूकंप आया है। इससे पहले 2024 में 1,000 से अधिक लोग मारे गए थे। वर्ष 2023 में 6.3 तीव्रता के भूकंप में 1,500 जान गई थी।