हैदराबाद के मंदिर में लाखों लोग लगाते हैं वीजा की अर्जी, कई की मनोकामना हुई पूरी
क्या है खबर?
क्या आप यकीन करेंगे कि भारत में एक ऐसा मंदिर है, जो आपकी वीजा न मिलने की समस्या को दूर कर सकता है!
इसी कारण से इस मंदिर का उपनाम वीजा मंदिर रखा गया है। हैदराबाद के चिलकुर में स्थित इस मंदिर को आधिकारिक तौर पर चिलकुर बालाजी मंदिर कहा जाता है और यह तेलंगाना के सबसे पुराने मंदिरों में से एक है।
इस मंदिर में लाखों लोग सिर्फ वीजा पाने की अर्जी लगाने के लिए आते हैं।
वीजा
वीजा न मिलने की समस्याओं को दूर करता है मंदिर
इस मंदिर में श्री वेंकटेश्वर बालाजी देवता की पूजा होती है, लेकिन कई घटनाओं के बाद यह मंदिर वीजा मंदिर के रूप में प्रसिद्ध हो गया।
हर हफ्ते 75,000 से एक लाख भक्त यहां दर्शन के लिए यहां आते हैं, जिनमें शुक्रवार और रविवार को भारी भीड़ होती है।
मंदिर में जाने के लिए कोई शुल्क नहीं है और अगर आपकी वीजा अर्जी पूरी हो जाती है तो उसके बाद आपको फिर से इस मंदिर का रूख करना होगा।
तरीका
वीजा पाने के लिए क्या करना होता है?
ऐसा माना जाता है कि जिन लोगों को वीजा पाना होता है, उन्हें इसके लिए अर्जी लगाते हुए भगवान की मूर्ति के 11 चक्कर लगाने होते हैं।
इसके बाद वो भगवान को अपना पासपोर्ट दिखाते हैं और जब उनकी वीजा मिलने की मनोकामना पूरी हो जाती है तो उन्हें दोबारा से मंदिर जाकर भगवान की मूर्ति के 108 चक्कर लगाने होते हैं।
यह भगवान को धन्यवाद कहने का एक तरीका है।
रिपोर्ट
कई छात्रों ने किया मंदिर का रुख
माना जाता है कि हैदराबाद से अमेरिकी विश्वविद्यालयों में आवेदन करने वाले कई छात्र इस मंदिर का रुख कर चुके हैं।
अमेरिकी वाणिज्य दूतावास के अनुसार, कुछ समय पहले हैदराबाद से सबसे ज्यादा अमेरिका के लिए छात्र वीजा जारी किए थे।
यह नहीं कहा जा सकता कि छात्रों के ये वीज मंदिर की यात्रा से मिले या उन्होंने अपनी योग्यता के बल पर इन्हें प्राप्त किया। हालांकि, मान्यता है कि मंदिर आने वाले छात्रों को वीजा मिल गया।
अन्य वीजा खबर
न्यूजबाइट्स प्लस
आमतौर पर विदेशी यात्रा के लिए पासपोर्ट और वीजा होना अनिवार्य है, लेकिन भारत के अटारी श्याम सिंह रेलवे स्टेशन पर आप पाकिस्तान के वीजा के बिना प्रवेश नहीं कर सकते हैं।
अगर आपको इस रेलवे स्टेशन के अंदर बिना वीजा के सुरक्षाकर्मियों द्वारा गिरफ्तार किया जाता है तो आप पर विदेशी अधिनियम की धारा 14 के तहत मामला दर्ज किया जाएगा।
इस अधिनियम के तहत मामला दर्ज होने पर जमानत मिलने में सालों लग जाते हैं।