
अंतिम संस्कार से पहले जिंदा हुआ मृतक, चिता से शव उठाकर अस्पताल भागे परिजन
क्या है खबर?
कहते हैं कि जो भी एक बार इस दुनिया से चला जाता है, वो फिर कभी लौट के नहीं आता।
मगर, हाल ही में एक ऐसा मामला सामने आया है जिसके बार में सुनकर हर कोई हैरान-परेशान है कि ऐसा भी कुछ हो सकता है।
दरअसल, ये हैरान कर देने वाला मामला उत्तर प्रदेश का है, जहां श्मशान घाट पर अंतिम संस्कार से पहले परिजनों ने एक किशोर के जिंदा होने की आशंका जताई।
जानें क्या है मामला।
मामला
अचानक तबियत बिगड़ने से हुई किशोर की मौत
जानकारी के मुताबिक, संतकबीरनगर जिले की नगर पंचायत मेंहदावल के मोहल्ला सोनबरसा गांव के रहने वाले विशाल यादव नामक किशोर की बीते शनिवार को तबीयत अचानक बिगड़ी तो परिजन उसे CHC अस्पताल ले गए, जहां डॉक्टर ने उसे मृत घोषित कर दिया।
विशाल के पिता संतोष यादव ने बताया कि शनिवार को उनका बेटा गेहूं की सिंचाई करके घर लौटा और खाना खाकर सो गया। आधी रात में अचानक से उसे उल्टी लगी, जिस वजह से उसे अस्पताल लेकर गए।
जानकारी
चिता पर ही हिलने लगा हाथ
डॉक्टर द्वारा मृत घोषित करने पर किशोर के शव को रविवार के दिन अंतिम संस्कार के लिए ले जाया गया, लेकिन चिता पर ही मृतक का शरीर गर्म होने और हाथ हिलने की आशंका जताई गई, जिसके बाद परिजन पुनः शव लेकर अस्पताल पहुंच गए।
जानकारी
मृतक के जिंदा होने की खबर सुनते ही अस्पताल में मच गई अफरा-तफरी
जब परिजन शव को लेकर दोबारा CHC पहुंच गए तो उस दौरान अस्पताल में अफरा-तफरी का माहौल कायम हो गया।
डॉक्टर ने जांच की, लेकिन किशोर को फिर से मृत घोषित कर दिया।
पुलिस भी मौके पर पहुंच गई और शव का पोस्टमार्टम करना चाहा, लेकिन परिजन तैयार नहीं हुए।
पुलिस ने पंचनामा कर शव को परिजनों को सौंप दिया है।
फिलहाल, परिजन किशोर की मौत की वजह ठंड बता रहे हैं, वहीं प्रशासन स्वाभाविक मौत बता रहा है।
बयान
पोस्टमार्टम करवाने से परिजनों ने किया इंकार
मौके पर पहुंची तहसीलदार प्रियंका चौधरी ने बताया कि परिजनों से पूछताछ के दौरान सामने आया कि किशोर भोजन करके सोया था और अचानक तबीयत बिगड़ने पर उसे CHC ले जाया गया, जहां उसकी मौत हो गई।
किशोर के शव का पोस्टमार्टम कराए जाने के बाद ही मामला स्पष्ट हो पाता और पता लग पाता कि उसकी मौत रात में ही हो गई थी या चिता पर लेटने तक वो जिंदा था, लेकिन परिजन पोस्टमार्टम नहीं करवाना चाहते।
अन्य मामला
इससे पहले भी सामने आ चुका है इसी तरह का मामला
यह कोई नया मामला नहीं है, जब किसी के शव में हलचल की आशंका जताई गई हो। इससे पहले भी इसी तरह का मामला सामने आ चुका है।
दरअसल, अगस्त में झारखण्ड के जमशेदपुर में एक महिला का निधन हो गया था।
इसके बाद उनके शव को दाह संस्कार के लिए श्मशान घाट ले जाया गया, जिस दौरान उनके शरीर में हलचल महसूस की गई और उनको अस्पताल पहुंचाया गया।
मगर डॉक्टर ने जांच कर उन्हें दोबारा मृत घोषित किया।