प्रो कबड्डी 2019: जानें, यू मुंबा की पूरी टीम, कमजोरी और मजबूती के बारे में
पिछले सीजन प्ले-ऑफ तक का सफर तय करने वाली यू मुंबा ने प्रो कबड्डी के सातवें सीजन के लिए अपने स्टार खिलाड़ियों को रिटेन किया था। इसके अलावा मुंबा ने कुछ बढ़िया खिलाड़ियों को खरीदा भी है तो वहीं पिछले सीजन के बेस्ट डेब्यूटेंट अवार्ड विजेता सिद्धार्थ देसाई को उन्होंने रिलीज कर दिया। जानें, पहले तीन सीजन में लगातार फाइनल खेलने वाली मुंबा की इस सीजन की पूरी स्क्वॉड और मजबूती तथा कमजोरी के बारे में।
डिफेंस है मुंबा की ताकत
यू मुंबा ने नीलामी से पहले लीग के सबसे बेहतरीन डिफेंडर्स में से एक फजल अत्राचली को रिटेन किया था। इसके अलावा टीम में राइट कवर डिफेंडर राजगुरु को भी रिटेन किया गया था। डिफेंस के सुरेंदर सिंह को भी रिलीज करने के बाद वापस टीम में लाया गया है। हर्षवर्धन, हरेन्द्र कुमार और यंग चैंग को के रूप में टीम के पास कुछ और शानदार डिफेंडर्स भी मौजूद हैं।
ऑलराउंडर्स देंगे टीम को नई ताकत
मुंबा ने इस सीजन लीग के दिग्गज ऑलराउंडर संदीप नरवाल को 89 लाख रूपए में खरीदा और इस सीजन अपना सबसे महंगा खिलाड़ी बनाया। नरवाल ने लीग में 101 मुकाबलों में 483 प्वाइंट हासिल किए हैं जो दिखाता है कि वह टीम के लिए कितने शानदार साबित हो सकते हैं। अजिंक्य रोहिदास कापरे और मोहित बलयान के रूप में टीम के पास दो और शानदार ऑलराउंडर हैं जो अच्छा प्रदर्शन करने की क्षमता रखते हैं।
रेडिंग में बड़ा नाम नहीं होना बन सकती है समस्या
रेंडिंग में मुंबा के पास रोहित बलयान हैं जिन्होंने दूसरे सीजन में अपना डेब्यू किया था, लेकिन अब तक 52 मुकाबलों में 250 प्वाइंट हासिल कर सके हैं। इसके अलावा अर्जुन देशवाल, अभिषेक सिंह और अतुल एमएस जैसे युवा रेडर्स भी टीम में मौजूद हैं। हालांकि, किसी बड़े नाम का नहीं होना मुंबा के लिए परेशानी का सबब बन सकता है क्योंकि इन रेडर्स ने हमेशा सहायक रेडर के रूप में ही खेला है।
खत्म हो रहा है मुंबा का दबदबा!
पहले तीन सीजन में मुंबा ने लगातार फाइनल में जगह बनाई थी, लेकिन दो बार उन्हें फाइनल हारना पड़ा और केवल दूसरे सीजन में ही वे चैंपियन बन सके। चौथे सीजन में मुंबा ने नीलामी में अपने कई अहम खिलाड़ियों को खो दिया और फिर टीम का प्रदर्शन खराब हो गया और दो सीजन वे प्ले-ऑफ में भी नहीं पहुंच सके। पिछले सीजन प्ले-ऑफ में उन्हें यूपी योद्धा ने नॉकआउट किया था और शायद उनका दबदबा खत्म हो रहा है।