
AI के मामले में पिछड़ने के बाद ऐपल पर दबाव, जानिए क्या बोले विश्लेषक
क्या है खबर?
दिग्गज टेक कंपनी ऐपल पर यह दिखाने का दबाव है कि उसने आईफोन में जनरेटिव आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (GenAI) के इस्तेमाल नहीं करने के बावजूद अपना जादू नहीं खोया है।
दूसरी तरफ उसके प्रतिद्वंद्वी इस तकनीक के मामले में आगे निकल गए हैं।
कंपनी अपने प्रतिष्ठित डिवाइस और उन्हें संचालित करने वाले सॉफ्टवेयर के लिए योजनाओं का प्रदर्शन सिलिकॉन वैली में सोमवार से शुरू हो रहे अपने वार्षिक वर्ल्डवाइड डेवलपर्स कॉन्फ्रेंस (WWDC) में करेगी।
वादा
एक साल पहले कंपनी ने किया था वादा
WWDC के आयोजन के एक साल पहले कंपनी ने कहा था कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) सुविधाओं का एक समूह 'ऐपल इंटेलिजेंस' आईफोंस के लिए आ रहा है। इसमें सिरी वॉयस असिस्टेंट में सुधार भी शामिल थे।
ईमार्केटर के वरिष्ठ विश्लेषक गैडजो सेविला ने कहा, "एपेल ने बहुत-सी सुविधाओं का विज्ञापन इस तरह किया जैसे कि वे उपलब्ध होने वाली हों, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। इसके बजाय, उसने सिरी अपग्रेड के रोलआउट में देरी की है।"
WWDC
WWDC को लेकर क्या है उम्मीद?
विश्लेषक ने बताया, "मुझे नहीं लगता कि WWDC में इतना जश्न मनाने वाला माहौल होगा। यह ऐपल के लिए अपनी साख को फिर से हासिल करने का एक तरीका हो सकता है, जिससे पता चले कि वे किस दिशा में जा रहे हैं।"
डीपवाटर एसेट मैनेजमेंट के जीन मुंस्टर और ब्रायन बेकर ने WWDC पूर्वावलोकन नोट में लिखा, "ऐपल ने AI बदलाव को कम करके आंका, फिर सुविधाओं का अति-वादा किया और अब इसे पकड़ने की होड़ में है।"
चुनौती
डेवलपर्स के सामने क्या है चुनौती?
ऐपल के लाइनअप में AI को शामिल करना कंपनी के लिए ऐप और टूल बनाने वाले डेवलपर्स के लिए एक चुनौती है, जो चाहते हैं कि आईफोन के लिए सख्त सुरक्षा को कम किया जाए।
क्रिएटिव स्ट्रैटेजीज की विश्लेषक कैरोलिना मिलानेसी के अनुसार, AI को ऐपल सॉफ्टवेयर में शामिल किया जा रहा है।
इसलिए, कंपनी को डेवलपर्स को प्लेटफॉर्म पर ऐप्स को सिंक करने की अधिक क्षमता देने की आवश्यकता हो सकती है।