असंतुष्ट नेताओं से मिलने को तैयार हुईं सोनिया गांधी, आज हो सकती है बैठक- रिपोर्ट
क्या है खबर?
कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी पत्र लिखने वाले पार्टी के असंतुष्ट नेताओं से मिलने के लिए तैयार हो गई हैं और उनके बीच आज मुलाकात हो सकती है।
NDTV की रिपोर्ट के अनुसार, मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ इस बैठक के अहम सूत्रधार हैं और उन्हीं के मनाने पर सोनिया असंतुष्ट नेताओं से मिलने को तैयार हुई हैं।
अभी ये स्पष्ट नहीं है कि बैठक में राहुल गांधी और प्रियंका गांधी शामिल होंगे या नहीं।
रिपोर्ट
पांच-छह नेताओं का कोर समूह करेगा सोनिया से मुलाकात
NDTV के सूत्रों के अनुसार, पत्र पर जिन 23 कांग्रेस नेताओं ने हस्ताक्षर किया था, उनमें से सभी इस बैठक में शामिल नहीं होंगे और पांच-छह नेताओं का एक कोर समूह ही सोनिया गांधी से मुलाकात करेगा।
वहीं कांग्रेस ने कहा है कि ये केवल सोनिया गांधी और असंतुष्ट नेताओं के बीच बैठक नहीं है और इसमें वे नेता भी शामिल होंगे जिन्होंने पत्र पर हस्ताक्षर नहीं किए थे।
सूत्रधार
कमलनाथ ने जताई थी असंतुष्ट नेताओं की मुख्य मांगों से सहमति
सूत्रों के अनुसार, सोनिया गांधी के करीबी माने जाने वाले कमलनाथ ने असंतुष्ट नेताओं की मुख्य मांगों को समर्थन किया था। इन मांगों में पार्टी में बड़े सुधारों के साथ-साथ एक सक्रिय नेतृत्व की मांग भी शामिल है।
असंतुष्ट नेताओं की मांगों से सहमति जताने के बाद कमलनाथ ने गांधी परिवार को उनसे मिलने के लिए राजी किया। इससे पहले वह असंतुष्ट नेताओं और इस पूरे विवाद से सार्वजनिक तौर पर दूर ही रहे थे।
पृष्ठभूमि
23 नेताओं ने पत्र लिख जताई थी पार्टी की मौजूदा स्थिति पर चिंता
गौरतलब है कि अगस्त में सोनिया गांधी को पत्र लिखते हुए गुलाम नबी आजाद, कपिल सिब्बल, आनंद शर्मा और शशि थरूर जैसे 23 बड़े नेताओं ने पार्टी की मौजूदा स्थिति पर चिंता जाहिर की थी और ऐसे नेतृत्व की जरूरत बताई गई थी जो सक्रिय भी हो और दिखे भी।
पत्र में में राज्य इकाइयों के सशक्तिकरण, पार्टी हर स्तर पर चुनाव और एक केंद्रीय संसदीय बोर्ड के तत्काल गठन समेत कई सुधारों की मांग की गई थी।
आंतरिक कलह
बाकी नेताओं के निशाने पर आए थे असंतुष्ट नेता
इस पत्र के ठीक बाद गुलाम नबी आजाद जैसे कुछ नेताओं ने सोनिया गांधी से मिलने का समय मांगा था, लेकिन सोनिया ने उन्हें समय नहीं दिया था।
इसके बाद पार्टी की एक अहम बैठक में भी आजाद समेत अन्य असंतुष्ट नेताओं को बाकी नेताओं के गुस्से का सामना करना पड़ा था। असंतुष्ट नेताओं पर भाजपा के साथ सांठगांठ करने का आरोप भी लगा था, जिसके जबाव में उन्होंने आरोप सिद्ध होने पर पार्टी छोड़ने की बात कही थी।
ताजा हालात
बिहार विधानसभा चुनाव में हार के बाद फिर सुर्खियों में आया था मामला
बिहार विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के निराशाजनक प्रदर्शन के बाद मामला एक बार फिर से सुर्खियों में आया और असंतुष्ट नेताओं में शामिल कपिल सिब्बल के एक बयान ने पार्टी में हलचल तेज कर दी। अपने इस बयान में उन्होंने कहा था कि आत्मनिरीक्षण का समय समाप्त हो चुका है और अब पार्टी को ठोस कदम उठाने की जरूरत है।
पी चिदंबरम जैसे वरिष्ठ नेताओं ने भी पार्टी को समीक्षा कर अपना आधार मजबूत करने की सलाह दी थी।