
हैदाराबाद एनकाउंटर: हाई कोर्ट ने लाशें सुरक्षित रखने को कहा, कल सुप्रीम कोर्ट में होगी सुनवाई
क्या है खबर?
हैदराबाद एनकाउंटर को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए तेलंगाना हाई कोर्ट ने एनकाउंटर में मारे गए चारों आरोपियों के शव 13 दिसंबर तक सुरक्षित रखने के आदेश दिए हैं।
पिछले महीने महिला डॉक्टर की गैंगरेप कर हत्या करने के चार आरोपियों को शुक्रवार को पुलिस ने एनकाउंटर में मार गिराया था।
इस एनकाउंटर की वैधता पर सवाल उठाते हुए 15 महिला और मानवाधिकार कार्यकर्ताओं ने हाई कोर्ट में याचिका दायर की थी।
सुनवाई
लाशों को हैदराबाद शिफ्ट करने के आदेश
सोमवार को सुनवाई के दौरान हाई कोर्ट ने अधिकारियों को चारों आरोपियों की लाशों को महबूबनगर के सरकारी अस्पताल से हैदराबाद के गांधी अस्पताल में लाने और अगली सुनवाई तक सुरक्षित रखने के आदेश दिए।
हाई कोर्ट ने अधिकवक्ता प्रकाश रेड्डी को इस मामले में सहायता के लिए एमिक्स क्यूरी नियुक्त किया है।
कोर्ट ने सुनवाई के दौरान एडवोकेट जनरल को एनकाउंटर की जांच के लिए पुलिसकर्मियों के खिलाफ दर्ज हुई FIR के दस्तावेज पेश करने के भी आदेश दिये।
जानकारी
12 दिसंबर को होगी अगली सुनवाई
मामले की अगली सुनवाई 12 दिसंबर को होगी। इससे पहले 11 दिसंबर को सुप्रीम कोर्ट में भी इस एनकाउंटर की वैधता को चुनौती देने वाली दो जनहित याचिकाओं पर सुनवाई होगी।
जनहित याचिका
सुप्रीम कोर्ट में दायर की गई है दो जनहित याचिका
सुप्रीम कोर्ट में अधिवक्ता एमएल शर्मा ने एक और जीएस मणि और प्रदीप कुमार यादव ने दूसरी जनहित याचिका दायर की है।
शर्मा की मांग है कि सुप्रीम कोर्ट के पूर्व जज की देखरेख में विशेष जांच टीम (SIT) गठित कर इस एनकाउंटर की जांच की जाए।
वहीं मणि और यादव ने इस एनकाउंटर में शामिल पुलिसकर्मियों के खिलाफ स्वतंत्र जांच की मांग की है। इस पर बुधवार को सुनवाई की जाएगी।
एनकाउंटर
कब हुआ था एनकाउंटर?
पिछले महीने हैदराबाद के पास महिला डॉक्टर की जली हुई लाश मिली थी। डॉक्टर की हत्या करने से पहले उसके साथ गैंगरेप किया गया था। पुलिस ने इस मामले में चार लोगों को गिरफ्तार किया था।
साइबराबाद पुलिस ने बताया कि शुक्रवार को जब वह आरोपियों को रिक्रिएशन के लिए घटनास्थल पर लेकर गई तो आरोपियों ने पुलिस पर गोलियां चलाईं और भागने की कोशिश की। इस दौरान जवाबी फायरिंग में चारों आरोपी मारे गए।