प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भूमि पूजन कर रखी नए संसद भवन की आधारशिला
क्या है खबर?
देश के संसद भवन की तस्वीर बदलने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को दिल्ली में नए संसद भवन की आधारशिला रख दी है।
इस कार्यक्रम में लोकसभा अध्यक्ष ओम बिडला सहित सरकार के कई मंत्रियों, अन्य दलों के नेताओं और विभिन्न देशों के राजदूतों के भी हिस्सा लिया।
प्रधानमंत्री ने दोपहर 1 बजे वैदिक मंत्रोच्चार के साथ भूमि पूजन कर आधारशिला रखी। इसके बाद सर्वधर्म प्रार्थना सभा आयोजित की गई।
परियोजना
केंद्रीय विस्टा परियोजना के तहत होगा नए संसद भवन का निर्माण
नए संसद भवन का निर्माण केंद्रीय विस्टा परियोजना के तहत किया जाएगा। इस परियोजना की कुल लागत 20,000 करोड़ रुपये होगी।
परियोजना का उद्देश्य 13.4 किलोमीटर लंबे राजपथ पर बने सरकारी भवनों का नवीनीकरण करना है।
मौजूदा भवन का डिजाइजन ब्रिटिश काल के दौरान एडविन लुटियन और हर्बर्ट बेकर ने तैयार किया था।
इसके निर्माण पर 83 लाख रुपये खर्च हुए थे। भवन की आधारशिला 12 फरवरी, 1921 को रखी गई थी और उद्घाटन 18 जनवरी, 1927 को हुआ था।
आवश्यकता
आवश्यकताओं की पूर्ति करने में विफल रहा पुराना भवन
जैसे-जैसे विधायी और संसदीय कार्य में वृद्धि हुई तो नए भवन की आवश्यकता महसूस होने लग गई। ऐसे में वर्तमान भवन को अत्याधुनिक सुविधाओं के साथ अपग्रेड कर पाना मुश्किल नजर आ रहा था।
इसको देखते हुए सरकार ने इसकी जगह दूसरा संसद भवन तैयार करने का फैसला कर लिया।
लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने गत दिनों बताया था कि पुराने भवन को पुरातात्विक संपत्ति के रूप में संरक्षित किया जाएगा। यह देश की अमनोज संपत्ति है।
विशेषताएं
नए भवन में संविधान हॉल और पुस्तकालय सहित होंगी सभी आधुनिक सुविधाएं
नए भवन का निर्माण 64,500 वर्ग मीटर भूमि में किया जाएगा। इसमें एक बेसमेंट (तलघर), भूतल, पहली और दूसरी मंजिल होगी।
इसमें सांसदों के लिए एक लाउंज, पेपर रहित कार्यालय, एक पुस्तकालय, कई समिति कक्ष, कैंटीन क्षेत्र और पर्याप्त पार्किंग स्थान के साथ-साथ भारत की लोकतांत्रिक विरासत का प्रदर्शन करने के लिए एक भव्य संविधान हॉल भी बनाए जाएगा।
इसके निर्माण पर 971 करोड़ रुपये खर्च होंगे और यह अगस्त 2022 तक तैयार होगा।
क्षमता
नए भवन में होगी 1,000 से अधिक सांसदों के बैठने की क्षमता
लोकसभा अध्यक्ष ने बताया कि नए संसद भवन में 1,224 सांसदों के बैठने की क्षमता होगी। इसमें लोकसभा में 888 और राज्यसभा हॉल में 384 सांसद एकसाथ बैठ सकेंगे।
उन्होंने बताया कि नए भवन में बैठक क्षमता बढ़ाने का निर्णय भविष्य में सांसदों की बढ़ती हुई संख्या को देखते हुए लिया गया है।
बता दें वर्तमान में लोकसभा के लिए 543 और राज्यसभा के लिए 245 सांसदों की स्वीकृत संख्या है। ऐसे में नए भवन को अपग्रेड किया गया है।
ठेका
टाटा प्रोजेक्ट्स लिमिटेड को मिला है नए भवन के निर्माण का ठेका
नए प्रोजेक्ट के निर्माण का ठेका टाटा प्रोजेक्ट्स लिमिटेड ने 861.90 करोड़ रुपये की बोली लगाकर हासिल किया है।
नए संसद भवन के बारे में संसदीय कार्य मंत्री प्रहलाद जोशी ने HT को बताया है कि यह भवन आत्मनिर्भर भारत का अनूठा प्रतीक होगा।
आधारशिला के समारोह को ऐतिहासिक घटना करार देते हुए उन्होंने कहा कि कोरोनो वायरस महामारी ने मौजूदा संसद भवन की कमियों को उजागर किया था। इसके बाद नए भवन का निर्णय किया गया।
सुप्रीम कोर्ट
सुप्रीम कोर्ट ने शर्तों के साथ दी थी आधारशिला कार्यक्रम की अनुमति
बता दें कि मामले में गत 7 दिसंबर को सुप्रीम कोर्ट ने केंद्रीय विस्टा परियोजना पर केंद्र सरकार के रवैये को लेकर नाराजगी जताई थी और कहा था कि परियोजना को लेकर आई याचिकाओं पर अंतिम निर्णय से पहले सरकार कोई भी निर्माण कार्य नहीं कर सकती है।
ऐसे में सपु्रीम कोर्ट ने परियोजना के तहत कोई निर्माण, तोड़फोड़ या पेड़ काटने का काम नहीं करने का आदेश देते हुए आधारशिला कार्यक्रम आयोजित करने की अनुमति दी थी।