इंडिगो काे दी गई छूट पर पायलट्स एसोसिएशन को कड़ी आपत्ति, जानिए क्या कहा
क्या है खबर?
इंडिगो के परिचालन में आ रही दिक्कतों को दूर करने के लिए नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (DGCA) की ओर से दी गई छूट पर एयरलाइंस पायलट्स एसोसिएशन (ALPA) इंडिया ने कड़ी आपत्ति जताई है। पायलट्स के संगठन ने कहा है कि यह फैसला एक खतरनाक मिसाल कायम करता है। DGCA ने एक दिन पहले इंडिगो को पायलट्स के लिए सख्त रात्रि ड्यूटी नियमों से अस्थायी छूट दी थी, जो रात की ड्यूटी को अव्यवस्थित करने वाले ऑपरेशन से संबंधित थी।
आरोप
एसोसिएशन ने लगाया इंडिगो पर आरोप
DGCA को लिखे पत्र में ALPA-इंडिया ने कहा कि यह निर्णय न केवल एक खतरनाक मिसाल स्थापित करता है, बल्कि नागरिक उड्डयन आवश्यकता के मूल सिद्धांत और उद्देश्य को भी कमजोर करता है। इसमें यह भी कहा गया है कि यात्रियों की असुविधा के बहाने इंडिगो राहत की मांग कर रही है, जबकि उसने जानबूझकर शीतकालीन परिचालन को बढ़ाया है। पायलट्स की उड़ान ड्यूटी और आराम अवधि के मानदंडों के दूसरे चरण के कार्यान्वयन के बारे में पूरी जानकारी है।
जवाब
छूट पर DGCA ने क्या कहा?
DGCA ने बताया कि यह छूट सिर्फ फ्लाइट ऑपरेशन को पटरी पर लाने के लिए दी गई है। इसे सुरक्षा आवश्यकताओं में कमी नहीं समझा जाएगा। यात्रियों को हुई असुविधा के लिए प्राथमिक जवाबदेही ऑपरेटर्स की है। ऑपरेटर ने आने वाले दिनों में क्रू की भर्ती का संकेत दिया है। दूसरी तरफ इंडिगो ने कहा कि फेज-II FDTL मापदंड़ों के लिए क्रू प्लानिंग और रोस्टरिंग की तैयारी अपर्याप्त थी, जिसकी वजह से बड़े स्तर पर दिक्कतें सामने आईं।
मामला
क्या है यह मामला
नए FDTL मानदंडों के अनुसार, पायलट्स के लिए साप्ताहिक विश्राम अवधि को बढ़ाकर 48 घंटे करना, रात्रिकालीन उड़ान के घंटे बढ़ाना और रात्रि लैंडिंग की संख्या को पहले के 6 के मुकाबले केवल 2 तक सीमित करना शामिल है। शुरुआत में इंडिगो और एयर इंडिया सहित घरेलू एयरलाइंस ने इसका विरोध किया था। बाद में दिल्ली हाई कोर्ट के निर्देशों के बाद DGCA ने इन्हें लागू कर दिया। इसे लागू करने के कारण ही इंडिगो को दिक्कत आ रही है।