मेधा पाटकर को 5 महीने की जेल, मानहानि मामले में दिल्ली कोर्ट का फैसला
क्या है खबर?
सामाजिक कार्यकर्ता मेधा पाटकर को दिल्ली की साकेत कोर्ट ने 5 महीने की साधारण कारावास की सजा सुनाई है। कोर्ट ने पाटकर को 10 लाख रुपये का मुआवजा देने का भी आदेश दिया है।
ये मामला दिल्ली के उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना ने मानहानि मामले में दायर किया था। सक्सेना तब खादी और ग्रामोद्योग आयोग के अध्यक्ष थे।
बता दें कि इस मामले में पाटकर को मई महीने में दोषी करार दिया गया था।
मामला
क्या है मामला?
साल 2003 में पाटकर 'नर्मदा बचाओ आंदोलन' को लेकर सक्रिय थीं। उस वक्त सक्सेना नेशनल काउंसिल फॉर सिविल लिबर्टीज में सक्रिय थे।
सक्सेना ने पाटकर की आंदोलन का विरोध किया था। पाटकर ने सक्सेना पर हवाला लेनदेन में संलिप्तता का आरोप लगाया गया था। इसके बाद सक्सेना ने पाटकर के खिलाफ मानहानि के 2 मामले दर्ज कराए थे। पाटकर ने भी सक्सेना पर विज्ञापन को लेकर मानहानि का केस किया था।
चुनौती
फैसले को चुनौती देंगी पाटकर
फैसले पर पाटकर ने कहा, "सच्चाई को कभी हराया नहीं जा सकता। हमने किसी को बदनाम करने की कोशिश नहीं की है। हम सिर्फ अपना काम करते हैं। हम कोर्ट के फैसले को चुनौती देंगे।"
कोर्ट ने यह भी कहा कि पाटकर की उम्र और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं को देखते हुए उन्हें अधिक सजा नहीं दी जा रही है। न्यायाधीश ने कहा कि सजा पर 30 दिन तक रोक रहेगी।