केरल: कचरा प्लांट की आग को बुझाने के लिए न्यूयॉर्क अग्निशमन विभाग से मांगी गई सलाह
केरल सरकार ने कोच्चि के ब्रह्मपुरम कचरा प्लांट में लगी आग को बुझाने के लिए अमेरिका के न्यूयॉर्क के अग्निशमन विभाग से सलाह मांगी है। एनार्कुलम के जिला कलेक्टर और जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के चेयरमैन एनएसके उमेश ने कहा कि उन्होंने और राज्य सरकार के अधिकारियों ने न्यूयॉर्क अग्निशमन विभाग के अधिकारियों के साथ आग को बुझाने के उपायों को लेकर बातचीत की है। गौरतलब है कि कचरा प्लांट में 2 मार्च को आग लगी थी।
कई क्षेत्रों में अत्यधिक सावधानी की आवश्यकता- अमेरिकी अधिकारी
उमेश के मुताबिक, न्यूयॉर्क अग्निशमन विभाग के उप प्रमुख जॉर्ज हेली ने कहा कि कोच्चि प्रशासन द्वारा ब्रह्मपुरम कचरा प्लांट में लगी आग को बुझाने के लिए किए गए उपाय सही दिशा में जा रहे हैं। हेली ने आगे कहा कि उन क्षेत्रों में अत्यधिक सावधानी और सतर्कता आवश्यक है, जहां पर आग पहले ही बुझा दी गई है। उन्होंने आगे कहा कि ऐसी जगहों पर दोबारा कचरे को नहीं डाला जाना चाहिए।
न्यूयॉर्क विभाग ने और क्या-क्या सुझाव दिए?
अमेरिकी अधिकारी ने आग बुझाने के अभियान के दौरान इन्फ्रारेड कैमरों से लैस ड्रोन का इस्तेमाल करने का भी सुझाव दिया। उन्होंने कहा कि आग बुझाने के कार्य में लगे अधिकारियों और कर्मचारियों को नियमित रूप से फेस मास्क पहनना चाहिए। उन्होंने कोच्चि जिला प्रशासन को क्षेत्र में हवा और पानी की गुणवत्ता की नियमित निगरानी करने के सलाह भी दी है। बता दें कि बैठक में केरल आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के सदस्य सचिव शेखर कुरियाकोस भी मौजूद थे।
भारतीय वायुसेना भी आग बुझाने के अभियान में हुई थी शामिल
2 मार्च को लगी थी कचरा प्लांट में आग
गौरतलब है कि कि ब्रह्मपुरम कचरा प्लांट में अचानक 2 मार्च को आग लग गई थी। आग लगने के बाद से पिछले 11 दिनों से कचरा प्लांट से जहरीला धुआं उठ रहा है, जिसके कारण शहर के कई इलाकों में लोगों का सांस लेना मुश्किल हो गया है। बता दें कि आग को बुझाने के लिए भारतीय वायुसेना के हेलीकॉप्टर की मदद भी ली गई है, लेकिन पूरी तरह आग पर काबू नहीं पाया जा सका है।
केरल हाई कोर्ट ने लगाई थी राज्य सरकार की फटकार
केरल हाई कोर्ट ने दो दिन पहले राज्य सरकार और भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) शासित कोच्चि नगर निगम को कचरा प्लांट में आग पर काबू पाने में असमर्थ रहने के लिए फटकार लगाई थी। कोर्ट ने कहा था कि कचरे के सुलगने के कारण कोच्चि के लोग एक बड़े स्वास्थ्य खतरे का सामना कर रहे हैं। कोर्ट ने भविष्य में कचरे के प्रबंधन के लिए दीर्घकालिक उपाय सुझाने के लिए एक छह सदस्यीय समिति का भी गठन किया था।