
#NewsBytesExplainer: निर्माता टीवी कलाकारों से क्यों साइन कराते हैं क्लॉज? विस्तार से जानिए
क्या है खबर?
छोटे पर्दा भी हर बीतते दिन के साथ बड़ा हो रहा है। टीवी धारावाहिकों के बजट भी बढ़ते जा रहे हैं। ऐसे में सीरियल के निर्माता दिन-ब-दिन कलाकारों की ओर सख्त रवैया अपना रहे हैं।
कलाकारों को अपने अनुसार काम कराने के कारण निर्माता उनसे अलग-अलग अनुबंध (कॉन्ट्रैक्ट) पर हस्ताक्षर कराते हैं, जिनमें अजीबो-गरीब क्लॉज लिखे होते हैं।
अब आप सोचेंगे कि ये क्लॉज क्या होते हैं और निर्माता क्यों इन्हें डालते हैं।
चलिए आपको विस्तार से बताते हैं।
अनुबंध
क्या होते हैं अनुबंध और क्लॉज?
आजकल किसी भी कलाकार के धारावाहिक से जुड़ने से पहले निर्माता उनसे एक खास तरीके के अनुबंध पर हस्ताक्षर कराते हैं, जिनमें बहुत से तरह के नियम-कानून लिखे होते हैं।
इन नियम-कानूनों को पढ़ने के बाद अगर कोई कलाकार धारावाहिक से जुड़ने के लिए तैयार होता है तो ही उसे क्रू में शामिल किया जाता है। अनुबंध में लिखे नियम-कानूनों को ही क्लॉज कहा जाता है।
अनुबंध में लिखे जाने वाले ये क्लॉज 5 प्रकार के होते हैं।
#1 और #2
'नो अफेयर क्लॉज' और 'वर्किंग आर्स क्लॉज'
'नो अफेयर क्लॉज' का मतलब है कि कालाकर को सेट पर किसी अन्य कलाकार के साथ प्यार करने की अनुमति नहीं है। मतलब साफ है कि एक साथ काम करने वाले कलाकार एक-दूसरे से इश्क नहीं फरमा सकते।
निर्माता कलाकारों से 'वर्किंग आर्स क्लॉज' पर भी हस्ताक्षर कराते हैं, जिसमें कहा जाता है कि उन्हें प्रतिदिन 14 घंटे काम करना होगा। आमतौर पर टीवी कलाकारों को 12 घंटे काम करना होता है, लेकिन नए कलाकार 14 घंटे काम करते हैं।
कारण
'नो अफेयर क्लॉज' का क्या है कारण?
पिछले दिनों मशहूर सीरियल 'ये रिश्ता क्या कहलाता' के सेट पर बवाल मचा था। दरअसल, निर्माता राजन शाही ने शहजादा धामी और प्रतीक्षा होनमुखे को शो से रातों-रात बाहर कर दिया था।
इसके बाद उन्होंन 'नो अफेयर क्लॉज' भी लगाया था, जिसका कारण कलाकारों के रिश्तों को नियंत्रित करना है।
कृष्णा अभिषेक की पत्नी कश्मीरा शाह ने कहा था कि वह इस क्लॉज के साथ काम नहीं कर सकती थीं। कृष्णा और उन्हें सेट पर ही प्यार हुआ था।
#3 और #4
'पे साइकल क्लॉज' और 'वन ईयर नोटिस पीरियड क्लॉज'
'पे साइकल क्लॉज' का मतलब है कि धारावाहिक साइन करने के बाद कलाकारों को उनका पहला वेतन, पहला एपिसोड प्रसारित होने के 90-120 दिन बाद दिया जाएगा। इसका मतलब है पहला एपिसोड प्रसारित होने के 3-4 महीने बाद कलाकारों को फीस मिलती है।
'वन ईयर नोटिस पीरियड क्लॉज' यह है कि अगर कलाकार धारावाहिक छोड़ना चाहता है तो उसे 1 साल तक नोटिस पर काम करना होगा। हालांकि, यह क्लॉज हर कलाकार और धारावाहिक के हिसाब से अलग-अलग होता है।
#5 और #6
'नो प्रेग्नेंसी क्लॉज' और 'टर्मिनेशन क्लॉज'
कुछ निर्माता महिला कलाकारों से 'नो प्रेग्नेंसी' क्लॉज पर हस्ताक्षर करवाते हैं। अगर वे इस क्लॉज को तोड़ती हैं तो उन पर जुर्माना लगाया जाता है।
जहां निर्माता चाहते हैं कि कलाकार धारावाहिक छोड़ने से पहले उन्हें बताएं, वहीं 'टर्मिनेशन क्लॉज' के तहत वे लोग बिना किसी सूचना के कलाकार को कभी भी और कैसे भी धारावाहिक से बाहर का रास्ता दिखा सकते हैं। इस क्लॉज पर साइन करने के लिए कलाकारों को मजबूर किया जाता है।
कारण
क्यों बनाए गए इस तरह के क्लॉज?
अलग-अलग तरह के 'क्लॉज' के बारे में जानने के बाद अब इनको अनुबंध में शामिल करने के पीछे के कारण को भी समझना जरूरी है।
आजकल टीवी शो भी फिल्मों की तरह ही बड़े बजट में बनाए जा रहे हैं। ऐसे में निर्माता अपने धारावाहिकों को लेकर किसी तरह का जोखिम नहीं लेना चाहते हैं।
अगर वे लोग सख्त रुख नहीं अपनाएंगे तो उन्हें करोड़ों रुपयों का नुकसान भी उठाना पड़ सकता है।
विस्तार
कलाकारों का गैर पेशेवर रवैया बनता है निर्माताओं का सिर दर्द
कई बार शोहरत मिलने के बाद कलाकारों का रवैया बदल जाता है। बीत समय में हमने कई बार निर्माताओं को कलाकारों के गैर पेशेवर रवैये से परेशान होते देखा है। नौबत यहां तक आ जाती है कि वे सेट पर देरी से आते हैं, जिसके चलते पूरी टीम परेशान होती है।
ऐसे में निर्माताओं को कलाकारों को शो से बाहर का रास्ता दिखाना पड़ता है। इसका बढ़िया उदाहरण सिद्धार्थ शुक्ला, अंकिता लोखंडे और करण सिंह ग्रोवर जैसे कलाकार हैं।
जानकारी
TRP के कारण सख्त होते हैं निर्माता
'नोटिस पीरियड क्लॉज' और 'नो प्रेग्नेंसी क्लॉज' को लागू करने के पीछे की वजह TRP होती है। दर्शकों किरदारों में कलाकारों को देखने के आदि हो जाते हैं। अगर सितारे अपनी मर्जी से कभी भी शो छोड़ेंगे तो धारावाहिक की TRP पर असर पड़ता है।