
ड्रूल्स बनी भारत की पहली पेट फूड यूनिकॉर्न, यहां से मिला निवेश
क्या है खबर?
पालतू जानवरों के लिए खाना बनाने वाली भारतीय कंपनी ड्रूल्स को यूनिकॉर्न का दर्जा मिल गया है।
यह अपने क्षेत्र की भारत की पहली कंपनी है, जिसने यह मुकाम हासिल किया है। नेस्ले ने इसमें निवेश कर अल्पमत हिस्सेदारी खरीदी है।
हालांकि, कंपनी अब भी स्वतंत्र रूप से अपना काम जारी रखेगी। इस सौदे की कीमत नहीं बताई गई, लेकिन ड्रूल्स का कहना है कि उसका मूल्य अब 1 अरब डॉलर (लगभग 85 अरब रुपये) से ज्यादा है।
निवेश
निवेश से मजबूत होगा विस्तार और विशेषज्ञता
नेस्ले के इस निवेश से ड्रूल्स को वैश्विक स्तर की विशेषज्ञता, बेहतर तकनीक और वैज्ञानिक ज्ञान का लाभ मिलेगा।
कंपनी का कहना है कि यह निवेश उन्हें अपने उत्पादन, वितरण और पोषण गुणवत्ता को और बेहतर करने में मदद करेगा। इस साझेदारी से भारत के पालतू भोजन बाजार में तेजी से विस्तार की संभावना बढ़ गई है।
बढ़ती मांग और प्रतिस्पर्धा को देखते हुए यह सौदा एक अहम रणनीतिक कदम माना जा रहा है।
यात्रा
2010 में शुरू हुई थी ड्रूल्स की यात्रा
ड्रूल्स की शुरुआत साल 2010 में फहीम सुल्तान ने की थी। तब से यह कंपनी भारत के पालतू भोजन बाजार की बड़ी खिलाड़ी बन गई है।
यह 40,000 से ज्यादा दुकानों पर अपने उत्पाद बेचती है और 22 देशों में निर्यात भी करती है। कंपनी की 6 फैक्ट्रियां, 16 लाख वर्ग फीट का वेयरहाउस नेटवर्क और 3,400 कर्मचारी हैं।
ड्रूल्स खास तौर पर बिल्लियों के खाने में अग्रणी है और अमेजन जैसे प्लेटफॉर्म पर अच्छा प्रदर्शन कर रही है।