बजट सत्र: संसद में पेश हुआ आर्थिक सर्वेक्षण, अर्थव्यवस्था के मजबूत स्थिति में होने का दावा
केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने सोमवार को बजट सत्र के पहले दिन आर्थिक सर्वेक्षण पेश किया। सर्वेक्षण में वित्त वर्ष 2024-25 के लिए सकल घरेलू उत्पाद (GDP) की वृद्धि दर 6.7 से 7 प्रतिशत तक रहने का अनुमान जताया गया है। आर्थिक सर्वेक्षण में कहा गया है कि पूंजीगत व्यय पर सरकार के जोर और निजी निवेश में निरंतर गति से पूंजी निर्माण वृद्धि को बढ़ावा मिला है। आइए जानते हैं सर्वेक्षण में और क्या कहा गया।
क्या होता है आर्थिक सर्वेक्षण?
आर्थिक सर्वेक्षण एक तरह का दस्तावेज है, जो हर साल बजट से एक दिन पहले पेश होता है। इसमें पिछले वित्त वर्ष में देश की अर्थव्यवस्था ने कैसा प्रदर्शन किया, इसकी समीक्षा की जाती है। इसके अलावा सरकार के विकास कार्यक्रमों, नीतिगत पहलों के बारे में भी बताया जाता है। इसके अलावा आर्थिक सर्वेक्षण अर्थव्यवस्था के विभिन्न क्षेत्रों पर जानकारी और विश्लेषण के साथ रोजगार, सकल घरेलू उत्पाद (GDP) के आंकड़े, महंगाई और बजट घाटे पर आंकड़े प्रदान करता है।
2024 में भारत की वास्तविक जीडीपी 8.2 प्रतिशत
आर्थिक सर्वेक्षण में कहा गया है कि कई चुनौतियों के बाद भी भारत की अर्थव्यवस्था ने वित्त वर्ष 2023 में बनी गति को वित्त वर्ष 2024 में भी जारी रखा है। चालू वित्त वर्ष में वास्तविक GDP में 8.2 प्रतिशत की वृद्धि हुई, जो 4 तिमाहियों में से तीन में 8 प्रतिशत के आंकड़े को पार कर गई। व्यापक आर्थिक स्थिरता पर ध्यान केंद्रित करने से यह सुनिश्चित हुआ कि बाहरी चुनौतियों का भारत की अर्थव्यवस्था पर न्यूनतम प्रभाव पड़े।
पूंजी निर्माण वृद्धि को मिला बढ़ावा
आर्थिक सर्वेक्षण में कहा गया है कि पूंजीगत व्यय पर सरकार के जोर और निजी निवेश में निरंतर गति से पूंजी निर्माण वृद्धि को बढ़ावा मिला है। सकल स्थायी पूंजी निर्माण में 2023-24 में वास्तविक रूप से 9 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। इसी तरह देश का राजकोषीय घाटा पिछले वर्ष की तुलना में 1.6 प्रतिशत अंक बढ़ गया है। हालांकि, विकास की वर्तमान रफ्तार से वित्त वर्ष 2025-26 में इसके कम होकर 4.5 प्रतिशत तक आने की उम्मीद है।
सालाना बेरोजगारी दर में आ रही है गिरावट
आर्थिक सर्वेक्षण में कहा गया है कि जनसंख्या अनुपात में विकास के साथ देश की सालाना बेरोजगारी दर में गिरावट दर्ज की जा रही है। मार्च 2024 में 15+ आयु वर्ग के लिए शहरी बेरोजगारी दर पिछले वर्ष के 6.8 प्रतिशत से घटकर 6.7 प्रतिशत पर आ गई है। देश के कुल कार्य बल में से करीब 57 प्रतिशत स्वरोजगार कर रहे हैं। युवा बेरोजगारी दर भी 2017-18 की 17.8 प्रतिशत से गिरकर 2022-23 में 10 प्रतिशत पर आ गई।
निर्यात के क्षेत्र में लग सकता है देश को झटका
आर्थिक सर्वेक्षण में सरकार ने एक बड़ी चुनौती का भी जिक्र किया है। सरकार का कहना है कि वैश्विक चुनौतियाें की वजह से निर्यात के मोर्चे पर देश को थोड़ा झटका लग सकता है। हालांकि, सरकार इसको लेकर भी पूरी तरह से सतर्क है। सरकार ने आशंका जताई है कि वैश्विक व्यापार में कई तरह की चुनौतियां सामने आने की संभावना है। दरअसल, वैश्विक अनिश्चितता से पूंजी के प्रवाह पर व्यापक असर देखने को मिल सकता है।
कल पेश किया जाएगा केंद्रीय बजट
वित्त मंत्री सीतारमण 23 जुलाई यानि मंगलवार को संसद में वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए पूर्ण केंद्रीय बजट पेश करेंगी। यह वित्तमंत्री के रूप में उनका 7वां पूर्ण बजट होगा। इसके साथ ही उनके नाम सबसे ज्यादा बाद पूर्ण बजट पेश करने का रिकॉर्ड दर्ज हो जाएगा। यह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के तीसरे कार्यकाल का पहला पूर्ण बजट भी होगा। इस बजट से देश के हर क्षेत्र के लोगों को बड़ी उम्मीदें हैं।