टाटा ने शुरू किया हाइड्र्रोजन से चलने वाले ट्रकों का टेस्ट, जानिए क्या है उद्देश्य
क्या है खबर?
टाटा मोटर्स ने भारत में हाइड्रोजन से चलने वाले हेवी-ड्यूटी ट्रकों का परीक्षण शुरू कर दिया है।
24 महीने तक चलने वाले परीक्षण चरण में विभिन्न कॉन्फिगरेशन और पेलोड क्षमताओं वाले 16 हाइड्रोजन-संचालित ट्रक शामिल होंगे।
ये वाहन मुंबई, पुणे, दिल्ली NCR, सूरत, वडोदरा, जमशेदपुर और कलिंगनगर में माल ढुलाई मार्गों पर चलेंगे।
राष्ट्रीय हरित हाइड्रोजन मिशन के तहत नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय द्वारा समर्थित इस परियोजना का उद्देश्य हाइड्रोजन-संचालित ट्रकों की व्यावसायिक व्यवहार्यता का परीक्षण करना है।
रेंज
कितनी रेंज देते हैं ये ट्रक?
परीक्षणों का उद्देश्य हाइड्रोजन-आधारित प्रणोदन तकनीक, हाइड्रोजन आंतरिक दहन इंजन (H2-ICE) और हाइड्रोजन फ्यूल सेल इलेक्ट्रिक वाहन (H2-FCEV) की व्यवहार्यता और दक्षता का आकलन करना है।
परीक्षण वाहनों में 2 टाटा प्राइमा dH.55S प्राइम मूवर्स शामिल हैं, जो फ्यूल सेल तकनीक से लैस हैं, साथ ही टाटा प्राइमा H.28 भी शामिल है, जो H2-ICE सिस्टम पर चलता है।
दावा किया गया है कि हाइड्रोजन फ्यूल से संचालित ये ट्रक 300-500 किलोमीटर के बीच रेंज देने में सक्षम हैं।
बयान
क्या बोले नितिन गडकरी?
परीक्षण को हरी झंडी दिखाते हुए केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा, "हाइड्रोजन भविष्य का ईंधन है, जिसमें उत्सर्जन को कम करके और ऊर्जा आत्मनिर्भरता को बढ़ाकर भारत के परिवहन क्षेत्र को बदलने की अपार क्षमता है।"
उन्होंने आगे कहा, "इस तरह की पहल हेवी-ड्यूटी ट्रकिंग में टिकाऊ गतिशीलता में बदलाव को गति देगी और हमें एक कुशल, कम-कार्बन भविष्य के करीब ले जाएगी। मैं इस महत्वपूर्ण कदम का नेतृत्व करने के लिए टाटा मोटर्स को बधाई देता हूं।"