आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद ने बदला नाम, भारत में हमले के लिए तैयार कर रहा आत्मघाती हमलावर
आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद ने अंतरराष्ट्रीय दबाव से बचने के लिए अपना नाम बदलकर 'मजलिस वुरासा-ए-शुहुदा जम्मू वा कश्मीर' कर लिया है। बीमार चल रहे वैश्विक आतंकी मसूद अजहर के छोटे भाई मुफ्ती अब्दुल राउफ अशगर ने इसका नियंत्रण संभाला है। मसूद फिलहाल बहावलपुर में है। बता दें कि इस साल फरवरी में पुलवामा में हुए आतंकी हमले में CRPF के 40 जवान शहीद हुए थे। इस हमले के पीछे जैश-ए-मोहम्मद का ही हाथ था।
सिर्फ नाम बदला, कैडर वही पुराना
हिंदुस्तान टाइम्स के मुताबिक, भारत की आतंकरोधी एजेंसियों का कहना है कि जैश ने सिर्फ अपना नाम बदला है, लेकिन इसका आतंकी कैडर और नेतृत्व पुराना ही है। यह पहले खुदम-उल-इस्लाम और अह रहमत ट्रस्ट के नाम से जाना जाता था। नए संगठन का झंडा जैश के पुराने झंडे जैसा ही है। इसमें सिर्फ 'अल जिहाद' को बदलकर 'अल इस्लाम' किया गया है। नए संगठन के नाम का मतलब 'जम्मू-कश्मीर के शहीदों के वंशजों का जमावड़ा' है।
भारतीय सेना के ठिकाने हैं मुख्य निशाना
रिपोर्ट में कहा गया है कि इस संगठन के एक नेता मौलाना अबिद मुख्तार ने इस साल एक रैली में भारत, इजरायल और अमेरिका के खिलाफ जिहाद की बात कही थी। खुफिया सूत्रों के मुताबिक, जैश ने भारत में हमलों को अंजाम देने के लिए 30 आत्मघाती हमलावरों का समूह तैयार किया है। घाटी में स्थित सैन्य ठिकाने और सुरक्षाबलों के काफिले इनका मुख्य निशाना है। जैश पहले भी ऐसे हमलों को अंजाम दे चुका है।
राउफ ने दोबारा शुरू किया बालाकोट में ट्रैनिंग कैंप
राउफ ने इस महीने बालकोट में एयर स्ट्राइक में तबाह हुए आतंकी कैंपों को फिर से शुरू किया है। जम्मू-कश्मीर पर भारत सरकार के फैसले के एक दिन बाद राउफ पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI के अपने आकाओं से मिला था। ISI की शह पर बालाकोट स्थित जैश का आतंकी ठिकाना फिर से सक्रिय हो गया और यहां 40 आतंकियों को ट्रेनिंग दी जा रही है। इसके अलावा अन्य जगहों पर भी आतंकी कैंपों को सक्रिय किया गया है।
कश्मीर में अस्थिरता फैलाने की साजिश रच रहा जैश
राउफ बहावलपुर और सियालकोट में ताजा भर्ती हुए आतंकियों को भारतीय सेना को निशाना बनाने के लिए प्रेरित भी कर रहा है। खुफिया एजेंसियों के मुताबिक बहावलपुर और जमरूद स्थित ट्रैनिंग ठिकानों पर कश्मीर में अस्थिरता फैलाने की ट्रेनिंग दी जा रही है। यहां पर आतंकियों को भारत-पाक के बीच सीधी भिडंत के लिए तैयार रहने को कहा गया है। जैश ने बहावलपुर में भी 50 आतंकियों के लिए ट्रेनिंग कोर्स शुरू किया है।
पुलवामा हमले के बदले में भारत ने की थी बालाकोट में एयर स्ट्राइक
14 फरवरी को जैश-ए-मोहम्मद ने जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में CRPF काफिले पर हमला किया था जिसमें 40 जवान शहीद हुए थे। इसका बदला लेते हुए भारत ने 26 फरवरी को पाकिस्तान के बालाकोट स्थित जैश के ठिकाने पर एयर स्ट्राइक की। भारत ने इस अभियान को पूरी तरह सफल बताया था, जबकि पाकिस्तान का कहना था कि भारतीय वायुसेना के विमान जल्दबाजी में बम गिराकर भाग गए और इससे कोई नुकसान नहीं हुआ।
लश्कर और हिजबुल को भी भारत में हमले का निर्देश
जैश के साथ-साथ पाकिस्तान ने लश्कर-ए-तैयबा और हिजबुल मुजाहिदीन को भी भारत पर आतंकी हमले का निर्देश दिया है। मीरपुर और सियालकोट में लश्कर के आतंकी ट्रेनिंग कैंप फिर से सक्रिय हो गए हैं। जेल में हाफिज सईद का बेटा उपदेशों और वीडियोज के जरिए कश्मीर में जिहाद फैलाने की साजिश कर रहा है। वहीं हिजबुल के आतंकी सरगना 26 अगस्त को अपने ISI हैंडलर्स से मिले और उन्हें गुरेज सेक्टर के जरिए घुसपैठ करने का आदेश दिया गया है।
कैंप दोबारा शुरू होने पर ये बोले जनरल रावत
सोमवार को बालाकोट ट्रेनिंग कैंप शुरू होने की पुष्टि करते हुए भारती सेना प्रमुख जनरल रावत ने कहा, "पाकिस्तान ने हाल ही में बालाकोट को फिर से सक्रिय किया है। ये दिखाता है कि बालाकोट पर असर पड़ा था और इसे नुकसान हुआ था। ये बालाकोट में भारतीय वायुसेना की गई कार्रवाई को दर्शाता है और अब वो लोगों को वापस वहां ले आए हैं।" जनरल रावत ने बताया कि करीब 500 आतंकी भारत में घुसपैठ की फिराक में हैं।