'इंडिया' और 'भारत' नाम को लेकर हो रही बहस में कूदा चीन, जानें क्या कहा
क्या है खबर?
देश में 'इंडिया' और 'भारत' नाम को लेकर छिड़ी बहस के बीच चीन कूद गया है। उसने मोदी सरकार को सलाह दी कि उसे नाम से अधिक अन्य जरूरी चीजों पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए।
चीन ने अपने मुखपत्र ग्लोबल टाइम्स के माध्यम से कहा, "भारत के लोगों के पास आजादी है कि वह उसे क्या कहें, लेकिन नाम महत्वपूर्ण चीज नहीं। महत्वपूर्ण बात यह है कि क्या भारत अपनी आर्थिक प्रणाली में व्यापक सुधार कर सकता है?"
सलाह
क्रांतिकारी सुधार के बिना भारत नहीं हासिल कर सकता क्रांतिकारी विकास- चीन
ग्लोबल टाइम्स ने लिखा, "क्रांतिकारी सुधार के बिना भारत क्रांतिकारी विकास हासिल नहीं कर सकता। उम्मीद है कि भारत बढ़ते वैश्विक ध्यान का अच्छा उपयोग कर सकता है। इस प्रभाव को विकास की प्रेरक शक्ति में बदल सकता है।"
अखबार ने पूछा, "ऐसे समय में जब वैश्विक ध्यान G-20 शिखर सम्मेलन पर है, नई दिल्ली दुनिया को क्या कहना चाहती है? नाम में परिवर्तन औपनिवेशिक युग के नामों को खत्म करने के प्रयास को दर्शाता है।"
सुझाव
चीन बोला- व्यापार संरक्षणवाद नाम बदलने से ज्यादा महत्वपूर्ण
अखबार ने कहा, "मोदी प्रशासन 1991 के बाद से आर्थिक सुधारों के मामले में भारत में सबसे महत्वाकांक्षी सरकारों में एक है। दुर्भाग्य से भारत तेजी से व्यापार संरक्षणवाद की ओर बढ़ रहा है। ये सब देश का नाम बदलने से भी अधिक महत्वपूर्ण है।"
उसने कहा कि भारत दुनिया के लिए बाजार खोलने में झिझकता है, जबकि बाजार खोलने पर उसके आर्थिक विकास को मजबूती मिलेगी। उसने G-20 मंच का उपयोग सुधारों के लिए करने का सुझाव दिया।