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अमेरिका: 15 मिनट में नतीजे देने वाला सस्ता कोरोना टेस्ट बना, सरकार ने लगभग सारे खरीदे

अमेरिका: 15 मिनट में नतीजे देने वाला सस्ता कोरोना टेस्ट बना, सरकार ने लगभग सारे खरीदे

Aug 28, 2020
03:24 pm

क्या है खबर?

अमेरिकी कंपनी एबॉट (Abbot) ने कोरोना संक्रमण की जांच के लिए नया एंटीजन टेस्ट तैयार किया है। इसकी मदद से महज 15 मिनट में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हो सकेगी। इसकी कीमत 400 रुपये से भी कम है और यह उसी तकनीक पर काम करता है जो प्रेग्नेंसी टेस्ट में इस्तेमाल होती है। यह एक क्रेडिट कार्ड के आकार का है और इसे आसानी से कहीं भी ले जाया जा सकता है। इसे अमेरिका में नियामकीय मंजूरी मिल चुकी है।

एबॉट

टेस्ट के लिए मोबाइल ऐप भी लॉन्च करेगी कंपनी

कंपनी ने इसे BinaxNOW कोविड-19 एंटीजन कार्ड रैपिड टेस्ट नाम दिया है। इसके जरिये कोरोना वायरस की जांच के लिए किसी दूसरे उपकरण की जरूरत नहीं होगी। एबॉट अब इसके लिए NAVICA नाम से एक मोबाइल ऐप भी लॉन्च करेगी। इसकी मदद से टेस्ट में नेगेटिव पाए गए लोग अपनी रिपोर्ट दिखा सकेंगे। यह एक तरह से लोगों के लिए 'डिजिटल हेल्थ पास' का काम करेगा। कंपनी अक्टूबर तक हर महीने ऐसे 5 करोड़ टेस्ट का बनाना शुरू कर देगी।

तकनीक

टेस्ट काम कैसे करेगा?

इसके जरिये टेस्ट करने के लिए संदिग्ध व्यक्ति के नाक से सैंपल लेकर BinaxNOW कार्ड में एक तरल रसायन के साथ डालना होगा। इसके बाद यह कार्ड बंद हो जाएगा और सैंपल के साथ वो तरल रसायन कार्ड की सतह में लगे रिएक्टिव मॉलिक्यूल के ऊपर से गुजरेगा। अगर सैंपल कोरोना पॉजीटिव आता है तो कार्ड पर एक रंगीन रेखा दिखेगी। प्रेग्नेंसी टेस्ट में हार्मोन का पता लगाया जाता है, वैसे ही इसमें एंटीजन का पता लगाया जाएगा।

कोरोना टेस्ट

कंपनी का दावा- 97 प्रतिशत है टेस्ट की सटीकता

इस टेस्ट में जिन लोगों को सैंपल पॉजीटिव आएगा, उन्हें क्वारंटाइन रहने और स्वास्थ्य केंद्र से संपर्क करने को कहा जाएगा। जो स्वास्थ्यकर्मी ये टेस्ट करेंगे, उन्हें इनके नतीजों की जानकारी सरकारी अधिकारियों के साथ साझी करनी होगी। कंपनी का कहना है कि 97.1 प्रतिशत बार कोरोना संक्रमण का सही पता लगा सकता है और इसे अस्पताल, स्कूल, ऑफिस आदि जगहों पर लोगों में कोरोना संक्रमण की जांच के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है।

सौदा

अमेरिकी सरकार ने खरीदे लगभग सारे टेस्ट

एबॉट के BinaxNOW टेस्ट को इस्तेमाल की मंजूरी मिलते ही अमेरिका ने इस साल बनने वाले ऐसे लगभग सभी टेस्ट खरीदने का फैसला लिया है। अमेरिकी सरकार 15 करोड़ टेस्ट के लिए एबॉट को 750 मिलियन डॉलर का भुगतान करेगी। इसकी मदद से अमेरिकी की टेस्टिंग क्षमता में बड़ा इजाफा होगा। यह खबर के सामने आने के बाद एबॉट के शेयरों में लगभग 8 प्रतिशत तक का उछाल देखा गया था।

बयान

"अमेरिका को खुला रखने में मदद करेगा यह टेस्ट"

एबॉट के साथ हुए सौदे की जानकारी देते हुए व्हाइस हाउस की संचार निदेशक एलिसा फराह ने कहा, "यह एक बड़ा कदम है जो हमारे देश को खुला रखने, अमेरिका के लोगों को वापस काम पर और बच्चों को स्कूल में भेजने में मदद करेगा। ट्रंप प्रशासन को अमेरिकी लोगों की मदद के लिए एबॉट के साथ जुड़ने पर गर्व है।" माना जा रहा है कि होटल से लेकर सिनेमाघरों आदि में इस टेस्ट की खूब मांग रहेगी।

संक्रमण

कोरोना से सर्वाधिक प्रभावित है अमेरिका

अमेरिका कोरोना वायरस से दुनिया का सबसे प्रभावित देश बना हुआ है। यहां का न्यूयॉर्क कोरोना संक्रमण का हॉटस्पॉट बनकर उभरा था। जॉन्स हॉपकिन्स यूनिवर्सिटी के अनुसार, 58.69 लाख लोगों में संक्रमण की पुष्टि हो चुकी है। वहीं 1.80 लाख से ज्यादा लोगों को इस खतरनाक वायरस के कारण अपनी जान गंवानी पड़ी है। यहां रोजाना औसतन आठ लाख टेस्ट किए जा रहे हैं। इस वजह से अमेरिका सबसे ज्यादा कोरोना वायरस टेस्ट करने वाला देश भी है।