कोहली पर इस बात को लेकर बरसे वीरेंद्र सहवाग; बतौर विकेटकीपर केएल राहुल का किया समर्थन
क्या है खबर?
पूर्व भारतीय सलामी बल्लेबाज़ वीरेंद्र सहवाग ने बतौर विकेटकीपर केएल राहुल का समर्थन किया। सहवाग ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ राहुल की विकेटकीपिंग से काफी प्रभावित हुए।
इसके साथ ही सहवाग ने विराट कोहली और एमएस धोनी के मैनेजमेंट पर भी बात की। सहवाग का मानना है कि कोहली के समय में टीम चयन में स्पष्टता नहीं है।
गौरतलब है कि राहुल ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ दूसरे और तीसरे वनडे में बतौर विकेटकीपर खेले थे। इस दौरान उन्होंने शानदार प्रदर्शन किया था।
समर्थन
वर्तमान टीम प्रबंधन खिलाड़ियों का समर्थन नहीं करता है- सहवाग
सहवाग का मानना है कि वर्तमान टीम प्रबंधन खिलाड़ियों का समर्थन नहीं करता है।
क्रिकेट वेबसाइट Cricbuzz से बातचीत में सहवाग ने कहा, "अगर केएल राहुल पांच नंबर पर बल्लेबाज़ी करते हुए चार बार फेल हुए, तो वर्तमान टीम प्रबंधन उनका स्थान बदल देगा।"
उन्होंने आगे कहा, "धोनी के वक्त में ऐसा नहीं होता था। वो जानते थे कि ऐसे हालात में खिलाड़ियों का समर्थन करना कितना ज़रूरी होता है। क्योंकि वह खुद इस मुश्किल दौर से गुज़रे थे।"
प्रतिभा
धोनी में प्रतिभा को पहचानने की काबिलियत थी- सहवाग
सहवाग से पूछा गया कि क्या अब टीम प्रबंधन में खिलाड़ियों को लेकर धैर्य कम हो गया है? इसके जवाब में उन्होंने कहा, "जब एमएस धोनी कप्तान थे, तो टीम चयन में काफी स्पष्टता रहती थी। धोनी में प्रतिभा को पहचानने की काबिलियत थी। उन्होंने उन खिलाड़ियों का चयन किया, जो भारतीय क्रिकेट को आगे लेकर गए।"
उन्होंने आगे कहा, "धोनी को पता था कि ये उनके ओपनर हैं, ये मिडिल ऑर्डर हैं और वह उन पर भरोसा दिखाते थे।"
उदाहरण
सहवाग ने रोहित शर्मा का दिया उदाहरण
सहवाग ने रोहित शर्मा की कामयाबी की एक बड़ी वजह एमएस धोनी कोे माना। उन्होंने कहा, "पहले रोहित मिडिल ऑर्डर में बल्लेबाज़ी करता थे, यहां पर खेलना मुश्किल काम होता है। जब वह मिडिल में खेलते थे, तो उनका औसत और रन कम थे। मिडिल में आपको पता नहीं होता है कि आपको कितने ओवर बल्लेबाज़ी करने का मौका मिलेगा।"
उन्होंने आगे कहा, "लेकिन ओपनिंग में आपके पास चौके-छक्के लगाने की काबिलियत बढ़ जाती है। रोहित को इसका फायदा मिला।"
कप्तानी
एमएस धोनी के वक्त भारतीय टीम में आए ये खिलाड़ी
हम भी सहवाग की बातों से पूरी तरह सहमत हैं। धोनी के वक्त में खिलाड़ियों पर अधिक भरोसा किया जाता था, जो आज देखने को नहीं मिलता है।
धोनी के समय में ही भारतीय टीम में रोहित शर्मा, विराट कोहली, आर अश्विन, रविंद्र जेडजा, हार्दिक पंड्या, भुवनेश्वर कुमार, मोहम्मद शमी, इशांत शर्मा और शिखर धवन जैसे खिलाड़ी आए।
धोनी ने इन खिलाड़ियों को अपनी प्रतिभा दिखाने का पूरा मौका दिया था और यही खिलाड़ी भारतीय क्रिकेट को आगे लाए हैं।
विकेटकीपिंग
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ तीनों वनडे में केएल राहुल ने की विकेटकीपिंग
गौरतलब है कि मुंबई में खेले गए पहले वनडे में भारतीय पारी के दौरान ऋषभ पंत के चोटिल होने के बाद केएल राहुल ने विकेटकीपिंग की थी। इसके बाद राजकोट में खेले गए दूसरे वनडे में भी उन्हें बतौर विकेटकीपर ही खिलाया गया था।
चिन्नास्वामी में खेले गए तीसरे व निर्णायक मुकाबले में भी कप्तान कोहली ने राहुल पर ही भरोसा दिखाया।
इस सीरीज़ में राहुल ने 48.67 की औसत से 146 रन बनाने के साथ-साथ पांच डिस्मिसेल्स भी किए।