कौन हैं महाराष्ट्र की राजनीति में हलचल मचाने वाले एकनाथ शिंदे?
शिवसेना नेता और उद्धव ठाकरे के मंत्री एकनाथ शिंदे के एक कदम ने महाराष्ट्र सरकार पर संकट खड़ा कर दिया है। दरअसल, आज सुबह खबर आई कि शिंदे अपने करीबी विधायकों के साथ सूरत चले गए हैं और अपनी पार्टी के संपर्क से बाहर हैं। यह घटनाक्रम तेजी से घटित हुआ और दिन में उनकी भाजपा नेताओं से मुलाकातों की खबर आने लगी। आइये, जानते हैं कि ठाकरे सरकार को संकट में लाने वाले शिंदे कौन हैं।
2004 से लगातार चुनाव जीतते आए हैं शिंदे
59 वर्षीय शिंदे महाराष्ट्र सरकार में नगर विकास मंत्री हैं। कम उम्र में ही शिवसेना के साथ जुड़ने वाले शिंदे ठाणे की कोपरी-पांचपखाड़ी सीट से 2004, 2009, 2014 और 2019 में चुनाव जीत चुके हैं। सतारा जिले के पहाड़ी जवाली तालुका से संबंध रखने वाले शिंदे ने ठाणे से अपनी पढ़ाई पूरी की थी। ठाणे इलाके में शिवसेना को मजबूत करने के पीछे शिंदे का हाथ माना जाता है और यहां से हर चुनाव में उनका उम्मीदवार जीतता आया है।
पार्षद का चुनाव जीतकर शुरू की राजनीतिक यात्रा
एकनाथ शिंदे ने साल 1997 में ठाणे नगर निगम चुनाव में पार्षद का चुनाव जीतकर अपनी राजनीतिक यात्रा शुरू की थी। 2001 में उन्हें ठाणे नगर निगम में सदन का नेता चुना गया और वो 2004 तक इस पद पर रहे। वो अक्टूबर, 2014 से लेकर दिसंबर, 2014 तक महाराष्ट्र विधानसभा में विपक्ष के नेता भी रहे थे। उनके बेटे श्रीकांत शिंदे फिलहाल कल्याण से शिवसेना के लोकसभा सांसद हैं।
मुख्यमंत्री बनते-बनते रह गए थे शिंदे
शिंदे को ठाकरे परिवार के बाद पार्टी में सबसे मजबूत शिवसैनिक माना जाता है। 2019 में अगर उद्धव ठाकरे मुख्यमंत्री बनने को राजी नहीं हुए होते तो इस बात की प्रबल संभावनाएं थीं कि शिंदे को इस पद पर बैठाया जा सकता है। 2019 के चुनावी नतीजे आने के बाद शिवसेना ने उन्हें विधायक दल का नेता भी घोषित कर दिया था, लेकिन सहयोगियों पार्टियों की जिद के चलते उद्धव ठाकरे को मुख्यमंत्री बनाया गया।
अब क्यों नाराज हैं शिंदे?
शिंदे पिछले काफी समय से मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे और पार्टी के वरिष्ठ नेता संजय राउत से नाराज हैं। पार्टी में नजरअंदाज किए जाने से दुखी शिंदे की नेतृत्व से लंबे समय से नाराजगी बनी हुई है। कहा जा रहा है कि उन्हें अपनी मर्जी से विभाग चलाने की छूट नहीं दी जा रही थी और उनके काम पर लगातार नजर रखी जा रही थी। इसके अलावा वो पार्टी में आदित्य ठाकरे के बढ़ते कद से भी आहत हैं।
भाजपा से नजदीकी भी बनी वजह
शिवसेना के वरिष्ठ नेता एकनाथ शिंदे पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़णवीस की सरकार में भी मंत्री रह चुके हैं। भाजपा ने फड़णवीस के साथ उनकी करीबी और शिवसेना से नाराजगी का मौका उठाते हुए सरकार के लिए मुश्किलें खड़ी कर दी हैं। इस बगावत के बाद शिवसेना ने उन्हें प्रमुख व्हिप के पद से हटा दिया है और उनकी जगह अजय चौधरी को पद सौंपा गया है। शिवसेना शिंदे को मनाने की कोशिशों में जुटी हुई है।