पंजाब: सिद्धू के बाद कई और नेताओं का इस्तीफा, बहुमत परीक्षण चाहता है कैप्टन खेमा
क्या है खबर?
पंजाब कांग्रेस में जारी घमासान फिलहाल थमता नहीं दिख रहा है।
मंगलवार को नवजोत सिंह सिद्धू के पंजाब कांग्रेस प्रमुख पद से इस्तीफे के बाद परगट सिंह और रजिया सुल्ताना ने कैबिनेट मंत्री का पद छोड़ा, वहीं तीन अन्य पदाधिकारियों ने भी इस्तीफे दे दिये। कयास है कि और नेता भी अपने पद छोड़ सकते हैं।
दूसरी तरफ पूर्व मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह के खेमे में शामिल विधायक चाहते हैं कि विधानसभा में बहुमत परीक्षण होना चाहिए।
पंजाब
कैप्टन से बहुतम परीक्षण की मांग करने की अपील
सिद्धू के इस्तीफा देने के बाद कैप्टन खेमा एक बार फिर सक्रिय हो गया है।
इंडिया टुडे के अनुसार, कैप्टन खेमे के कई विधायक बहुमत परीक्षण चाहते हैं और उन्होंने अमरिंदर सिंह से इसकी मांग करने को कहा है।
गौरतलब है कि मुख्यमंत्री पद से हटाए जाने के बाद ही कैप्टन कांग्रेस से नाराज चल रहे हैं। उन्होंने अपनी नाराजगी जाहिर करते हुए प्रियंका और राहुल गांधी को अनुभवहीन करार दिया था।
पंजाब
मंगलवार को हुए कई इस्तीफे
नवजोत सिंह सिद्धू के बाद रजिया सुल्ताना और परगट सिंह ने कैबिनेट से इस्तीफा दे दिया। दोनों नेताओं ने दो दिन पहले ही कैबिनेट मंत्री की शपथ ली थी।
सिद्धू के साथ एकजुटता दिखाते हुए सुल्ताना ने मुख्यमंत्री चन्नी को अपना इस्तीफा भेजा और लिखा कि वो पार्टी के लिए काम करती रहेंगी।
बाद में पत्रकारों से बात करते हुए उन्होंने कहा कि नवजोत सिंह सिद्धू सिद्धांतों के आदमी हैं और वे पंजाब और पंजाबियत के लिए लड़ रहे हैं।
कांग्रेस
कई पदाधिकारियों ने छोड़े पद
कैबिनेट मंत्रियों के अलावा मंगलवार को पंजाब काग्रेस के कोषाध्यक्ष गुलजार इंदर चहल, महासचिव योगिंदर ढींगरा और महासचिव (प्रभारी प्रशिक्षण) गौतम सेठ ने भी इस्तीफा दे दिया।
पार्टी में जारी अंतर्कलह के बीच कयास लगाए जा रहे हैं कि हाईकमान पर दबाव बनाने के लिए सिद्धू समर्थक कई विधायक और नेता अगले कुछ दिनों में पद छोड़ सकते हैं।
वहीं अमरिंदर सिंह ने कहा है कि सिद्धू किसी दूसरी पार्टी से चुनाव लड़ सकते हैं।
कार्यक्रम
कैबिनेट के साथ बैठक करेंगे मुख्यमंत्री
मंगलवार को हुए कई इस्तीफों के बाद मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी आज कैबिनेट का साथ बैठक करेंगे। जानकारी के अनुसार, बैठक के लिए सुबह 10:30 मिनट का समय तय किया गया है।
वहीं बीते कई दिनों से चंडीगढ़ और दिल्ली के चक्कर लगा रहे पंजाब कांग्रेस प्रभारी हरीश रावत पर्यवेक्षक हरीश चौधरी के साथ आज फिर चंडीगढ़ पहुंचेंगे।
बताया जा रहा है कि ये नाराज नेताओं से मुलाकात कर पार्टी में जारी विवाद सुलझाने की कोशिश करेंगे।
पंजाब
कांग्रेस की बढ़ी मुश्किलें
सिद्धू के अचानक प्रदेश अध्यक्ष पद से इस्तीफा देने के बाद कांग्रेस पार्टी के सामने बड़ी समस्या खड़ी हो गई है।
कांग्रेस ने पहले तो सिद्धू से विवाद के कारण अमरिंदर सिंह से इस्तीफा लेकर उन्हें अपना विरोधी बना लिया और अब सिद्धू ने अध्यक्ष पद से इस्तीफा देकर पार्टी आलाकमान की मुश्किलें बढ़ा दी हैं।
अब पार्टी के सामने सबसे बड़ा सवाल यह है कि राज्य में 2022 में होने वाले विधानसभा चुनाव में कांग्रेस का नेतृत्व कौन करेगा?