कर्नाटक: पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने हिटलर से की प्रधानमंत्री मोदी की तुलना, भाजपा का पलटवार
कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस नेता सिद्धारमैया ने रविवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को लेकर विवादित बयान देकर नया विवाद खड़ा कर दिया है। उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी की तुलना हिटलर से करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री यदि 100 बार कहेंगे कि भाजपा फिर से सत्ता में आएगी तो भी ऐसा नहीं होगा। उनके इस बयान के बाद भाजपा उन पर हमलावर हो गई है और सिद्धारमैया के बयान पर कांग्रेस से अपना रुख स्पष्ट करने की मांग की है।
सिद्धारमैया ने क्या दिया है बयान?
सिद्धारमैया ने एक कार्यक्रम में कहा, "वह प्रधानमंत्री हैं, उन्हें आने दो। हमें कोई समस्या नहीं है, लेकिन अगर वह 100 बार भी कहेंगे कि भाजपा सत्ता में आएगी तो मैं स्पष्ट कर दूं कि ऐसा नहीं होगा।" उन्होंने कहा, "लोग उनकी (प्रधानमंत्री मोदी) की बात पर भरोसा नहीं करेंगे। हिटलर का क्या हुआ? कुछ दिनों तक वह धूमधाम से घूमता रहा। मुसोलिनी और फ्रेंको का क्या हुआ? वह (प्रधानमंत्री मोदी) भी कुछ दिनों के लिए ऐसे ही घूमेंगे।"
भाजपा कर्नाटक को बना रही हिंदुत्व की प्रयोगशाला- सिद्धारमैया
विधानसभा में विपक्ष के नेता सिद्धारमैया ने उडुपी में पत्रकारों से कहा, 'ये हिंदुत्व की प्रयोगशाला है। झूठ बोलना इनका काम है। सावरकर हिटलर से प्रेरित थे। सावरकर ने हिंदुत्व का गठन किया। हिंदू अलग है, हिंदुत्व अलग है। सत्तारूढ़ भाजपा अपने राजनीतिक लाभ के लिए तटीय कर्नाटक को हिंदुत्व की प्रयोगशाला में बदलने की कोशिश कर रही है।' उनके इस बयान के बाद से भी भाजपा कांग्रेस और उन पर पूरी तरह हमलावर हुई बैठी है।
मुख्यमंत्री बोम्मई ने किया पलटवार
सिद्धारमैया के बयान को लेकर मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने पलटवार किया है। उन्होंने कहा, "भारत की पूरी 130 करोड़ की आबादी प्रधानमंत्री मोदी के व्यक्तित्व को जानती है और इस तरह के बयानों से उसे कोई नुकसान नहीं होगा।" उन्होंने आगे कहा, "गुजरात में भी वे ऐसा ही बोलते थे, फिर भी वे सबसे अधिक मतों से जीतकर आए थे। उन्हें (सिद्धारमैया) को प्रधानमंत्री को लेकर इस तरह के बयानों से बचना चाहिए।"
केंद्रीय मंत्री प्रह्लाद जोशी ने कांग्रेस से किया सवाल
केंद्रीय मंत्री प्रह्लाद जोशी ने इस मामले में कहा कि सिद्धारमैया ने मोदी की तुलना हिटलर से की है। वह पूछना चाहते हैं कि उनकी पार्टी का क्या स्टैंड है? सिद्धारमैया आज भी मल्लिकार्जुन खड़गे को पार्टी अध्यक्ष के रूप में नहीं मानते हैं। उन्होंने कहा कि सिद्धारमैया का कहना है कि केवल राहुल गांधी की ही विचारधाराओं का समर्थन किया जाएगा। इसके विपरीत मोदी एक निर्वाचित नेता हैं न कि नियुक्त। वह किसी गांधी परिवार से नहीं हैं।