भाजपा है असली 'टुकड़े-टुकड़े गैंग', नेताओं के बोल दे रहे गवाही
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह कई बार अपने भाषणों में 'टुकड़े-टुकड़े गैंग' का जिक्र कर चुके हैं। 'टुकड़े-टुकड़े गैंग' से उनका मतलब अपने उन विरोधियों से होता है जो उनके मुताबिक देश तोड़ने की साजिश कर रहे हैं। नागरिकता कानून के खिलाफ प्रदर्शनों में भी भाजपा 'टुकड़े-टुकड़े गैंग' का हाथ बता चुकी है। हालांकि, भाजपा नेताओं की भाषा देखें तो साफ नजर आता है कि असली 'टुकड़े-टुकड़े गैंग' कौन है।
केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने कहा- "देश के गद्दारों को, गोली मारो सालों को"
हम ऐसा क्यों कह रहे हैं ये दिल्ली विधानसभा चुनाव के प्रचार के दौरान केंद्रीय मंत्रियों और भाजपा नेताओं के बयानों से समझा जा सकता है। इनमें सबसे आपत्तिजनक बयान केंद्रीय वित्त राज्यमंत्री अनुराग ठाकुर ने दिया है। रविवार को दिल्ली के रिठाला में एक चुनावी रैली के दौरान ठाकुर ने भीड़ से 'देश के गद्दारों को, गोली मारो सालों को' के नारे लगवाए। उन्होंने नारे का पहला हिस्सा बोला, वहीं भीड़ ने जबाव में दूसरा हिस्सा बोला।
बजट पर ध्यान देने की बजाय ऐसे नारे लगवा रहे अनुराग ठाकुर
क्या संविधान की शपथ को भूल गए हैं अनुराग ठाकुर?
ठाकुर का ये भाषण न केवल नफरत भरा है बल्कि साफ-साफ लोगों को हिंसा के लिए उकसाने वाला है। लेकिन लगता है उन्हें अपनी गलती का एहसास नहीं है। जब उनसे इन नारों पर सफाई मांगी गई तो उन्होंने कहा कि ये दिल्ली के लोगों का मूड बताते हैं। अगर एक बार इसे लोगों को मूड मान लिया जाए तो क्या संविधान की शपथ लेने वाले एक मंत्री को लोगों को कानून हाथ में लेने के लिए उकसाना चाहिए?
सांसद प्रवेश वर्मा बोले- जो आग कश्मीर में लगी थी, वो आज दिल्ली में लगी है
दूसरा बयान जो भाजपा पर गंभीर सवाल खड़े करता है वो पश्चिमी दिल्ली से उसके सांसद प्रवेश वर्मा की तरफ से आया है। मंगलवार को शाहीन बाग में नागरिकता कानून के खिलाफ हो रहे प्रदर्शनों पर समाचार एजेंसी ANI से बात करते हुए उन्होंने कहा, "जो आग आज से कुछ साल पहले कश्मीर में लगी थी, वहां पर जो कश्मीरी पंडित हैं उनकी बहन-बेटियों का साथ रेप हुआ था...आज वो आग दिल्ली के एक कोने में लगी है।"
"ये लोग घरों में घुसेंगे, आपकी बहन-बेटियों का रेप करेंगे"
प्रवेश ने आगे कहा, "वहां (शाहीन बाग) पर लाखों लोग इकट्ठा हो जाते हैं और वो आग कभी भी दिल्ली के घरों तक पहुंच सकती है, हमारे घर में पहुंच सकती है। ये दिल्लीवालों को सोच-समझ कर फैसला लेना होगा। ये लोग आपके घरों मे घुसेंगे, आपकी बहन-बेटियों को उठाएंगे, उनका रेप करेंगे, उनको मारेंगे। इसलिए आज समय है... कल मोदीजी नहीं आएंगे बचाने, कल अमित शाह जी नहीं आएंगे बचाने...आज दिल्ली के लोग जाग जाएंगे तो अच्छा रहेगा।"
अमित शाह के होते दिल्ली बन रहा कश्मीर?
प्रवेश शायद ये भूल गए कि देश के गृह मंत्री अमित शाह हैं और दिल्ली की कानून व्यवस्था सीधे उनके अंतर्गत आती है। अगर उनके गृह मंत्री रहते दिल्ली में कश्मीर जैसी स्थिति पैदा हो रही है तो ये उन पर एक गंभीर सवाल है।
अमित शाह भी पीछे नहीं, शाहीन बाग तक महसूस कराना चाहते हैं "करंट"
खुद अमित शाह भी लोगों में बंटवारा पैदा करने वाले बयान देने के मामले में पीछे नहीं है। दिल्ली में चुनाव प्रचार के दौरान शाह लोगों से अपील कर चुके हैं कि वो EVM की बटन इतने गुस्से में दबाएं कि इसका करंट शाहीन बाग में महसूस हो। इस बयान के बीच शाह अब तक ये साफ नहीं कर पाए हैं उन्हें और उनके नेताओं को शाहीन बाग से इतनी समस्या क्यों है जहां लोग शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे हैं।
कपिल मिश्रा ने कहा- शाहीन बाग आतंकवादियों का आंदोलन
इसके अलावा दिल्ली मॉडल टाउन से भाजपा के विधानसभा उम्मीदवार कपिल मिश्रा भी शाहीन बाग पर कई विवादित दे चुके हैं। पहले उन्होंने कहा कि दिल्ली में छोटे-छोटे पाकिस्तान बन गए हैं और 8 फरवरी को भारत-पाकिस्तान का मुकाबला होगा। इसके बाद बयान पर सफाई देने के बजाय उन्होंने शाहीन बाग को आतंकवादियों का आंदोलन बताया था। इससे पहले एक रैली में वो 'देश के गद्दारों को, गोली मारो सालों को' के नारे भी लगा चुके हैं।
क्या अपने नेताओं को 'अहिंसा का पाठ' नहीं पढ़ा रहे प्रधानमंत्री मोदी?
पूरे मामले में प्रधानमंत्री मोदी पर भी सवाल उठते हैं। महात्मा गांधी के प्रति प्रेम प्रदर्शित करने का एक भी मौका नहीं चूकने वाले मोदी ने नागरिकता कानून के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे लोगों से लगातार गांधी के बताए शांति और अहिंसा के मार्ग पर चलने की अपील की है। लेकिन वो या तो अपने नेताओं को 'गांधी की ये सीख' देना भूल गए या फिर उनकी कोई सुन नहीं रहा और इसलिए लगातार ऐसे बयान सामने आ रहे हैं।
भाजपा 'टुकड़े-टुकड़े गैंग' की "पदवी" की असली हकदार
इसके बाद ये स्पष्ट करना बाकी नहीं रह जाता कि अगर किसी को 'टुकड़े-टुकड़े गैंग' कहा जा सकता है तो वो कौन है। जाहिर है अपने बयानों से लोगों में बंटवारा पैदा करने वाले भाजपा नेता और मंत्री इस "पदवी" के असली हकदार हैं।