उत्तर प्रदेश: लखनऊ का लुलु मॉल विवादों में क्यों है?
उत्तर प्रदेश के लखनऊ में बना देश का सबसे बड़ा लुलु मॉल उद्घाटन के बाद से ही विवादों में हैं। पहले साजिश के तहत इसमें नमाज पढ़ी गई और फिर इसके कर्मचारियों को लेकर अफवाह फैलाई गई। इन विवादों को देखते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मामले पर सख्त हो गए हैं और प्रशासन को शरारती तत्वों से सख्ती से निपटने का निर्देश दिया है। आइए आपको विस्तार से बताते हैं कि लुलु मॉल विवादों में क्यों है।
किसने बनाया है लुलु मॉल?
लुलु मॉल को लुलु ग्रुप ने बनाया है जिसके संस्थापक संयुक्त अरब अमीरात (UAE) में रहने वाले भारतीय कारोबारी एमए यूसुफ अली है। वो भारत के केरल राज्य से संबंध रखते हैं। लुलु ग्रुप केरल और कर्नाटक में भी इस नाम से कई बड़े मॉल बना चुका है। ग्रुप ने लखनऊ में बने मॉल को लगभग 2,000 करोड़ रुपये की लागत से बनाया है और 10 जुलाई को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इसका उद्घाटन किया था।
विवादों में कैसे आया लुलु मॉल?
लुलु मॉल उद्घाटन के तीसरे दिन ही विवादों में आ गया था। 13 जुलाई को सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हुआ जिसमें कुछ लोगों को मॉल के अंदर नमाज पढ़ते हुए देखा जा सकता है। इस वीडियो पर कुछ दक्षिणपंथी संगठनों ने आपत्ति जताई और मॉल में हनुमान चालीसा पढ़ने की इजाजत मांगी। जब उन्हें इसकी इजाजत नहीं मिली तो उन्होंने जबरदस्ती मॉल में घुसकर कुछ मिनट के लिए हनुमान चालीसा पढ़ी।
फैलाई गई मॉल में 80 प्रतिशत मुस्लिम कर्मचारी होने की अफवाह
इसके बाद मॉल में काम करने वाले 70 से 80 प्रतिशत कर्मचारियों के मुस्लिम होने की अफवाह भी फैलाई गई थी। इन अफवाहों में कहा गया कि बाकी पदों पर हिंदू लड़कियों को रखा गया है ताकि लव जिहाद को बढ़ावा दिया जा सके। लुलु समूह को इन अफवाहों पर स्पष्टीकरण तक जारी करना पड़ा था और उनके मॉल में 80 प्रतिशत कर्मचारी हिंदू हैं, वहीं बाकी कर्मचारी मुस्लिम, ईसाई और अन्य धर्मों से संबंध रखते हैं।
इसलिए जताई जा रही साजिश की आशंका
पुलिस की जांच में सामने आया है कि मॉल में नमाज पढ़ने वाले लोग पैदल चलकर आए थे और उन्होंने गलत दिशा में बैठकर नमाज पढ़ी थी। इसके अलावा नमाज करीब 10 मिनट तक पढ़ी जाती है, वहीं उन्होंने एक मिनट से भी कम समय नमाज पढ़ी। इसी कारण पूरे मामले में सांप्रदायिक माहौल को खराब करने की साजिश होने की आशंका जताई जा रही है। पुलिस ने FIR दर्ज कर दोनों तरफ के लोगों को गिरफ्तार किया है।
मुख्यमंत्री योगी ने मामले पर क्या कहा?
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को मामले पर चुप्पी तोड़ते हुए कहा कि मॉल व्यावसायिक कार्य कर रहा है और इसे राजनीति का अड्डा नहीं बनाया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि कुछ लोग अनावश्यक बयानबाजी करके और सड़कों पर प्रदर्शन के जरिए आवागमन प्रभावित करके माहौल खराब कर रहे हैं। उन्होंने इन तत्वों के खिलाफ कार्रवाई का आदेश दिया है। उन्होंने लखनऊ प्रशासन को पूरे मामले को गंभीरता से लेने को कहा है।