पंजाब में शराब की दुकान के बाहर लगा 'दूध का ठेका', जानिए क्या है मामला
क्या है खबर?
पंजाब सरकार ने लॉकडाउन में शराब दुकानें खोलने की अनुमति मिलने के बाद राजस्व जुटाने और लोगों को संक्रमण से बचाने के लिए शराब की होम डिलीवरी की इजाजत दे दी।
कई लोग और संगठन सरकार के इस निर्णय का विरोध कर रहे हैं। इसी बीच युवा अकाली दल (YAD) ने भी शुक्रवार को बंद पड़ी शराब दुकान के बाद 'दूध का ठेका' लगाकर विरोध जताया।
इस दौरान कार्यकर्ताओं ने शराब लेने आए लोगों को दूध की पेशकश की।
बयान
प्रतिदिन लोगों को पिलाया जाएगा दूध- गोशा
YAD जिलाध्यक्ष गुरदीप सिंह गोशा ने बताया कि शराब की होम डिलीवरी के विरोध में लुधियाना रेलवे स्टेशन के सामने स्थित एक बंद शराब की दुकान के बाहर शुक्रवार को 'दूध का ठेका' लगाकर जरूरतमंदों को 75 लीटर दूध वितरित किया गया। इसके अलावा अन्य कार्यकर्ताओं ने लस्सी भी वितरित की।
उन्होंने बताया कि अब प्रतिदिन लोगों को दूध वितरित किया जाएगा। इससे गरीब और निराश्रितों को बड़ी राहत मिलेगी।
सवाल
गोशा ने मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह से पूछे सवाल
जिलाध्यक्ष गोशा ने कहा कि जब मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह लोगों के घरों तक शराब पहुंचा सकते हैं तो फिर जरूरतमंदों के घर राशन और अन्य आवश्यक वस्तुएं क्यों नहीं पहुंचा सकते?
उन्होंने कहा कि लॉकडाउन में प्रवासी मजदूरों को दो समय का भोजन नहीं मिल रहा है और सरकार लोगों को शराब पर पैसा खर्च करने के लिए प्रेरित कर रही है। जबकि उन्हें पता है कि पंजाब में लोग पहले ही नशीले पदार्थों का सेवन करने के आदि हैं।
जानकारी
"महिलाओं के खिलाफ अपराधों में होगी वृद्धि"
गोशा ने कहा कि शराब की होम डिलीवरी से महिलाओं के खिलाफ होने वाले अपराधों सहित अन्य अपराधों में वृद्धि होगी। मुख्यमंत्री ने लोगों से राज्य से नशे को खत्म करने का वादा किया था, लेकिन क्या वह शराब पिलाकर वादा पूरा कर सकते हैं?
पाखंड
यूथ कांग्रेस ने YAD के विरोध को दिया पाखंड का नाम
यूथ कांग्रेस ने YAD द्वारा जताए जा रहे विरोध के तरीके को पाखंड करार दिया है।
युवा कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राजीव राजा ने कहा वह लोगों को खाना खिलाने के लिए लंगर चलाने के साथ और राशन वितरित कर रहे हैं। YAD कार्यकर्ता केवल लोगों का ध्यान आकर्षित करने के लिए राजनीतिम पाखंड रच रहे हैं।
उन्होंने कहा कि शराब की होम डिलीवरी का निर्णय मुख्यमंत्री ने किया है और संक्रमण से बचाने के लिए यह निर्णय सही है।
भरपाई
नुकसान की भरपाई के लिए कई ठेकेदारों ने नहीं खोले ठेके
बता दें कि पंजाब सरकार की ओर से होम डिलीवरी के आदेश देने के बाद भी मोगा सहित अन्य क्षेत्रों में अधिकतर ठेकेदारों ने गुरुवार को ठेके नहीं खोले।
ठेकेदारों का कहना है लॉकडाउन में 45 दिन तक दुकानें बंद रही। इससे उन्हें खासा नुकसान झेलना पड़ा है। ऐसे में सरकार को पहले 45 दिनों में हुए नुकसान की भरपाई करनी चाहिए। इसके बाद ही वह ठेके खोलेंगे।
हालांकि, उनकी इस मांग पर अभी कोई एक्शन नहीं लिया गया है।