#NewsBytesExplainer: चक्रवात 'बिपरजॉय' से निपटने के लिए भारत और पाकिस्तान ने क्या-क्या कदम उठाए हैं?
क्या है खबर?
भारतीय मौसम विभाग (IMD) ने बताया है कि चक्रवात 'बिपरजॉय' 15 जून को दोपहर में गुजरात के मांडवी और पाकिस्तान के कराची के बीच सौराष्ट्र और कच्छ के तट से टकरा सकता है।
इसके कारण गुजरात के कच्छ, द्वारका और जामनगर समेत कई तटीय जिलों में भारी वर्षा होने की आशंका है, जबकि पाकिस्तान के कई हिस्से भी प्रभावित होंगे।
आइए जानते हैं कि चक्रवात से निपटने के लिए भारत और पाकिस्तान ने क्या-क्या तैयारियां की हैं।
बैठक
प्रधानमंत्री मोदी ने की स्थिति की समीक्षा
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज चक्रवात से कारण उत्पन्न हुई स्थिति से निपटने के लिए केंद्र सरकार और गुजरात सरकार की तैयारियों की समीक्षा के लिए एक उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता की।
प्रधानमंत्री मोदी ने अधिकारियों को समुद्री इलाके में रहने वाले लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के साथ-साथ उन्हें हरसंभव मदद करने का निर्देश दिया। उन्होंने अधिकारियों से बिजली, दूरसंचार, स्वास्थ्य और पेयजल जैसी सभी आवश्यक सेवाओं की समीक्षा करने के लिए भी कहा है।
तैयारी
NDRF ने गुजरात में तैनात कीं 12 टीमें
राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल (NDRF) ने गुजरात के विभिन्न जिलों में 12 टीमों को तैनात कर दिया है और 3 अतिरिक्त टीमों को तैयार रखा गया है।
इसके अलावा तमिलनाडु के अरकोनम, ओडिशा के मुंडली और पंजाब के बठिंडा में भी 5-5 NDRF टीमों को एयरलिफ्ट करने के लिए अलर्ट पर रखा गया है।
गुजरात राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल (SDRF) की 10 टीमों को भी राज्य की विभिन्न जगहों पर तैनात किया गया है।
जानकारी
भारतीय नौसेना और वायुसेना के विमानों को रखा गया तैयार
चक्रवात के बाद राहत और बचाव कार्य के लिए भारतीय नौसेना, भारतीय वायुसेना और भारतीय तटरक्षक बल के जहाजों और विमानों को भी तैयार रखने का निर्देश दिया गया है। भारतीय सेना की एक टुकड़ी को भी स्टैंडबाय मोड पर रखा गया है।
सलाह
मछुआरों को दी गई समुद्र में नहीं जाने की सलाह
गुजरात सरकार ने मछुआरों को समुद्र में नहीं जाने की सलाह दी है, वहीं समुद्र में मौजूद मछुआरों को वापस बुलाया जा रहा है। सरकार के मुताबिक, अब तक 21,000 नावों को समुद्र तट पर खड़ा किया जा चुका है।
च्रकवात से प्रभावित होने वाले गांवों की सूची तैयार की गई है और लोगों को सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट किया जा रहा है। इसके अलावा पर्याप्त दवाइयों और आवश्यक सामग्रियों की आपूर्ति सुनिश्चित की जा रही है।
तैयारी
पाकिस्तान के तटीय इलाकों से निकाले जा रहे लोग
पाकिस्तान के जियो न्यूज के मुताबिक, सिंध सरकार ने चक्रवात बिपरजॉय के मद्देनजर तटीय इलाकों से लोगों को निकालने का अभियान शुरू कर दिया है। एक अनुमान के मुताबिक, करीब 50,000 लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जाएगा।
कराची के सभी प्रमुख अस्पतालों में हाई अलर्ट घोषित किया गया है और लोगों की मदद के लिए कंट्रोल रूम स्थापित करने के निर्देश भी दिए गए हैं।
शहर की कमजोर इमारतों को चिह्नित करके उन्हें खाली कराया जा रहा है।
तैयारी
पाकिस्तान और क्या-क्या कदम उठाए जा रहे?
पाकिस्तान नागरिक उड्डयन प्राधिकरण ने अधिकारियों को चक्रवात के कारण चलने वालीं तेज हवाओं से हल्के विमानों और बिजली के अन्य उपकरणों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सतर्क किया है।
कराची में सभी ऊंची इमारतों और खंभों पर लगे पुराने विज्ञापन बोर्डों को हटाने का निर्देश दिया गया है, जिससे उनकी चपेट में आकर जान-माल की कोई हानि न हो।
इसके अलावा लोगों को चक्रवात के दौरान घरों में रहने की सलाह दी गई है।
न्यूजबाइट्स प्लस
न्यूजबाइट्स प्लस
अरब सागर और बंगाल की खाड़ी से उपजे इस चक्रवात का नाम 'बिपरजॉय' बांग्लादेश ने रखा है। बिपरजॉय का अर्थ बांग्ला भाषा में आपदा होता है।
इस नाम पर हिंद महासागर क्षेत्र से लगे भारत, मालदीव, म्यांमार, ओमान, पाकिस्तान, श्रीलंका और थाईलैंड ने सहमति जताई है।
विश्व मौसम विज्ञान संगठन के अनुसार, जिन इलाके में चक्रवात आते हैं, उन्हीं इलाकों की स्थानीय भाषा में चक्रवात का नाम रखा जाता है और ये प्रक्रिया 2004 से चली आ रही है।