एमजे अकबर मानहानि केसः प्रिया रमानी को कोर्ट का समन, 25 फरवरी को होना होगा पेश
पूर्व केंद्रीय मंत्री एमजे अकबर द्वारा पत्रकार प्रिया रमानी के खिलाफ दायर किए आपराधिक मानहानि के केस में पटियाला हाउस कोर्ट ने प्रिया रमानी को आरोपी बनाकर समन भेजा है। उन्हें 25 फरवरी को होने वाली सुनवाई में कोर्ट के समक्ष पेश होना होगा। बता दें कि प्रिया रमानी समेत कई महिलाओं ने #MeToo के तहत अकबर पर यौन उत्पीड़न के आरोप लगाए थे, जिसके बाद खूब विवाद हुआ था। अकबर को अपने पद से इस्तीफा देना पड़ा था।
कोर्ट ने प्रिया रमानी को भेजा समन
अकबर ने प्रिया के खिलाफ दायर किया था मानहानि का मुकदमा
एमजे अकबर ने दिल्ली के पटियाला हाउस कोर्ट में प्रिया रमानी के खिलाफ आपराधिक मानहानि का मुकदमा दायर किया था। अकबर ने अपने खिलाफ लगे आरोपों को झूठा बताया था। अब तक इस मामले में कुल छह गवाहों ने अकबर के पक्ष में गवाही दी है। इन सभी ने अपने बयानों में अकबर का बचाव किया है। खुद अकबर भी कोर्ट में पेश होकर अपना पक्ष रख चुके हैं। अब इस मामले में कोर्ट ने प्रिया को समन भेजा है।
क्या थे रमानी के आरोप?
भारत में चले #MeToo अभियान में प्रिया रमानी समेत कई महिला पत्रकारों ने अकबर पर सालों पहले यौन उत्पीड़न के आरोप लगाए थे। प्रिया ने अकबर पर 20 साल पहले उनके साथ यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया था। हालांकि, अकबर ने इन आरोपों झूठ बताया था। जब यह मामला सामने आया, तब अकबर नाइजीरिया में थे। लगातार पड़ रहे दवाब के बीच अकबर ने 17 अक्तूबर को अपने पद से इस्तीफा दिया था।
अकबर ने अपने बचाव में क्या कहा?
एमजे अकबर ने अपने मुकदमे में कहा है कि उन पर जानबूझकर और दुर्भावनापूर्ण तरीके से आरोप लगाए गए हैं। अकबर ने कहा है कि उन्होंने पत्रकारिता के क्षेत्र में काफी काम किया है। उन्होंने कहा कि एक एजेंडे की पूर्ति के लिए उनके खिलाफ झूठी कहानियों की एक श्रृंखला प्रसारित की जा रही हैं। उन्होंने अपनी अर्जी में कहा कि उनकी छवि खराब करने के लिए रमानी ने दुर्भावनापूर्ण रूप से एक झूठी कहानी का सहारा लिया है।