वेतन के लिए कर्ज लेने की बात कहने वाली महाराष्ट्र सरकार मंत्रियों के लिए खरीदेगी गाड़ियां
क्या है खबर?
एक तरफ जहां महाराष्ट्र सरकार कर्मचारियों को वेतन देने के लिए कर्ज लेने की बात कर रही है, वहीं दूसरी तरफ उसके मंत्रियों और अधिकारियों के लिए एक करोड़ रुपये से अधिक की गाड़ियां खरीदी जा रही हैं।
हाल ही में महाराष्ट्र के वित्त विभाग ने खेल और शिक्षा मंत्रालय के मंत्रियों और अधिकारियों के लिए लगभग 1.37 करोड़ रुपये की कीमत वाली छह लग्जरी कारें खरीदने की मंजूरी दी है।
आइये, पूरी खबर जानते हैं।
जानकारी
खुद मुख्यमंत्री ठाकरे ने दी मंजूरी
खुद मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे और वित्त विभाग ने 22.8 लाख रुपये की दर से छह कारें खरीदने को मंजूरी दी है। यह सब तब हो रहा है, जब सरकार कर्मचारियों को सैलरी देने के लिए पैसे न होने की बात कर रही है।
बयान
वेतन के लिए कही थी कर्ज लेने की बात
महज दो दिन पहले ही महाराष्ट्र सरकार में समाज कल्याण मंत्री विजय वडेट्टीवार ने कहा था कि कोरोना वायरस संकट के कारण राज्य की आर्थिक हालात खराब हो गई है। कोरोना के कारण रोजाना करोड़ों रुपये खर्च हो रहे हैं और सरकार के खजाने खाली हो गए हैं।
उन्होंने कहा था कि अब हालत ऐसी हो गई है कि कर्मचारियों के वेतन देने तक को पैसा नहीं है। अगले महीने वेतन देने के लिए कर्ज लेना पड़ेगा।
आरोप
केंद्र पर महाराष्ट्र की उपेक्षा करने का आरोप
वडेट्टीवार ने कहा था कि तीन-चार विभागों को छोड़कर बाकी सभी के खर्चों में कटौती की गई है। कोरोना वायरस महामारी के कारण यह हालत हुई है। हालांकि, उन्होंने साफ किया कि कोरोना की स्थिति को संभालने के लिए राज्य सरकार के पास कैश का संकट नहीं है।
इसी दौरान उन्होंने केंद्र सरकार पर महाराष्ट्र की उपेक्षा का आरोप भी लगाया। उन्होंने कहा कि केंद्र से राज्य सरकार को कोई फंड नहीं मिला है।
आलोचना
सरकार की प्राथमिकताओं पर उठ रहे सवाल
महाराष्ट्र सरकार ने कोरोना वायरस के संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए लागू किए गए लॉकडाउन के कारण पिछले चार महीनों में 50,000 करोड़ रुपये के राजस्व का नुकसान बताया है।
मार्च में सरकार ने कहा था कि मंत्रियो, चुने हुए जनप्रतिनिधियों और मंत्रियों आदि को उनके वेतन में से केवल 40 प्रतिशत हिस्सा मिलेगा। बाकी का वेतन दो किस्तों में दिया जाएगा।
ऐसे समय में गाड़िया खरीदने के फैसले ने सरकार की प्राथमिकताओं पर सवाल उठा दिया है।
निंदा
भाजपा ने सरकार पर साधा निशाना
भाजपा नेता राम कदम ने सरकार पर इस फैसले के लिए निशाना साधा है।
उन्होंने कहा, "महाराष्ट्र सरकार ने लोगों की मदद नहीं की। उसने कोरोना वायरस के खिलाफ अग्रिम मोर्चे पर लड़ रही पुलिस का बचाव नहीं किया और वह अपने कर्मचारियों को वेतन नहीं दे पाई, लेकिन उसके पास अपने मंत्रियो के लिए लग्जरी गाड़ियां खरीदने के पैसे हैं। हम सरकार से वेतन कटौती वापस करने और आर्थिक पैकेज लाने की मांग करते हैं।"
संक्रमण
कोरोना वायरस से सबसे बुरी तरह प्रभावित है महाराष्ट्र
बता दें कि कोरोना वायरस के कारण महाराष्ट्र देश का सबसे बुरी तरह प्रभावित राज्य है। यहां अब तक 1,92,990 लोगों में संक्रमण की पुष्टि हो चुकी है। इनमें से 79,927 सक्रिय मामले हैं, 1,04,687 लोग ठीक हो चुके हैं और 8,376 लोगों की मौत हुई है।
वहीं पूरे देश की बात करें तो बीते दिन मिले रिकॉर्ड 22,771 नए मरीजों के साथ संक्रमितों की संख्या 6,48,315 हो गई है। इनमें से 18,655 की मौत हुई है।