PMO अधिकारी बताकर स्कूल के साथ ठगी करने वाला गुजरात का शख्स गिरफ्तार
क्या है खबर?
गुजरात के वडोदरा में खुद को प्रधानमंत्री कार्यालय (PMO) का अधिकारी बताने वाले मयंक तिवारी नामक शख्स को गिरफ्तार किया गया है।
तिवारी ने एक निजी स्कूल में 2 बच्चों का प्रवेश करवाने के लिए खुद को PMO का अधिकारी बताने के साथ-साथ भारी रकम की ठगी करने की कोशिश की थी।
मार्च में भी खुद को PMO अधिकारी बताकर जम्मू-कश्मीर में दौरा करने वाले गुजरात के एक और ठग किरण पटेल को गिरफ्तार किया गया था।
मामला
ठग ने 2 बच्चों के प्रवेश के लिए मांगी थी मदद
गुजरात पुलिस ने बताया कि तिवारी ने अपने कथित तौर पर पारिवारिक मित्र के 2 बेटों के प्रवेश के लिए स्कूल से मदद मांगी थी।
आरोप है कि तिवारी ने अपने मित्र को भारतीय सेना के अधिकारी मिर्जा बेग के रूप में वर्णित करते हुए कहा था कि उन्हें पुणे से वडोदरा स्थानांतरित किया जा रहा है।
स्कूल के निदेशक ने तिवारी के व्हाट्सऐप स्टेटस पर 'PMO अधिकारी' लिखा देखकर उसे ट्रस्टी से बात करने के लिए कहा था।
मामला
ठग ने स्कूल के ट्रस्टी को दिया था लालच
पुलिस ने बताया कि ठग ने ट्रस्टी पर प्रभाव डालने के लिए कहा था कि वह अपने रसूख का इस्तेमाल कर स्कूल को शिक्षा अनुसंधान के क्षेत्र में शामिल कर सकते हैं और उन्हें विभिन्न परियोजनाएं दिला सकते हैं।
तिवारी ने स्कूल से भारी रकम ठगने के इरादे से एक विशेष मामले के रूप में दोनों बच्चों का प्रवेश करवा दिया था। हालांकि, उसकी बातों पर शक होने के बाद ट्रस्टी ने अपनी जान-पहचान के लोगों से चर्चा की थी।
आरोप
पुलिस ने विभिन्न धाराओं में केस दर्ज किया
ट्रस्टी ने तिवारी के बारे में संदेह होने पर स्कूल प्रशासन को सतर्क किया था, जिसके बाद उसके खिलाफ शिकायत की गई।
वडोदरा पुलिस ने स्कूल प्रशासन की शिकायत पर तिवारी के खिलाफ भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 406 (आपराधिक विश्वासघात), 420 (धोखाधड़ी), और 170 (एक लोक सेवक का रूप धारण करना) समेत अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज किया था।
पुलिस ने छापेमारी के बाद शुक्रवार को तिवारी को गिरफ्तार कर लिया गया।
मामला
क्या है ठग किरण पटेल का मामला?
किरण पटेल ने खुद को PMO का एक वरिष्ठ अधिकारी बताकर जम्मू-कश्मीर में अधिकारियों से मुलाकात करने के साथ-साथ नियंत्रण रेखा (LOC) के संवेदनशील स्थानों का दौरा किया था।
बतौर रिपोर्ट्स, पटेल ने खुद को PMO में रणनीति और अभियान शाखा का अतिरिक्त निदेशक बताया था, जिसके बाद उसे विशेष सुरक्षा दी गई थी।
उसने श्रीनगर के लाल चौक के पास सुरक्षाकर्मियों के साथ अपनी कुछ तस्वीरें भी शेयर की थीं। बाद में उसे गिरफ्तार कर लिया गया था।