महाराष्ट्र और राजस्थान में सबको मुफ्त में लगेगी कोरोना वैक्सीन, राज्य सरकारों का ऐलान
कोरोना वायरस संक्रमण की दूसरी लहर का सामना कर रहे महाराष्ट्र और राजस्थान की सरकारों ने अपने राज्यों के सभी लोगों को मुफ्त में कोरोना वैक्सीन लगाने का ऐलान किया है। महाराष्ट्र सरकार के फैसले की जानकारी मंत्री नवाब मलिक ने दी। उन्होंने कहा कि राज्य अपने सभी नागरिकों को मुफ्त में वैक्सीन लगाएगा और कैबिनेट के अंदर इस पर विचार विमर्श हो चुका है। उन्होंने कहा कि वैक्सीन के लिए जल्द ही वैश्विक टेंडर जारी किए जाएंगे।
राजस्थान के मुख्यमंत्री ने किया मुफ्त वैक्सीन का ऐलान
वहीं राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने खुद सभी नागरिकों को मुफ्त में वैक्सीन लगाने का ऐलान किया। उन्होंने ट्वीट, 'राजस्थान सरकार ने प्रदेश के 18 वर्ष से अधिक आयुवर्ग के सभी लोगों को लगभग 3,000 करोड़ रुपये की धनराशि खर्च कर निशुल्क कोविड वैक्सीन लगाने का फैसला किया है।' उन्होंने कहा कि अगर केंद्र अन्य आय वर्गों की तरह 18-45 साल के लोगों के वैक्सीनेशन का भी खर्च उठा लेती तो राज्यों का बजट प्रभावित नहीं होता।
1 मई से 18 साल से अधिक उम्र के लोग भी करा सकेंगे वैक्सीनेशन
देशभर में 1 मई से कोरोना वैक्सीनेशन का दूसरा चरण शुरू होने जा रहा है जिसमें 18 साल से अधिक उम्र का कोई भी व्यक्ति वैक्सीन लगवा सकेगा। हालांकि केंद्र सरकार केवल स्वास्थ्यकर्मियों, फ्रंटलाइन कर्मचारियों और 45 साल से अधिक उम्र के लोगों को मुफ्त में वैक्सीन लगाएगी, वहीं 18-45 साल के लोगों को मुफ्त में वैक्सीन लगाने का फैसला राज्यों पर छोड़ा गया है। महाराष्ट्र से पहले कई राज्य मुफ्त वैक्सीन लगाने का ऐलान कर चुके हैं।
दूसरी लहर से बुरी तरह प्रभावित हुआ है महाराष्ट्र
बता दें कि महाराष्ट्र कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर से बुरी तरह प्रभावित हुआ है और राज्य में अभी भी 65,000 से अधिक नए मामले सामने आ रहे हैं और लगभग 700 मरीजों की मौत हो रही है। राज्य में अभी 6.96 लाख सक्रिय मामले हैं और मरीजों के बोझ के कारण स्वास्थ्य व्यवस्था चरमराने की कगार पर है। मामलों को काबू में करने के लिए राज्य में पिछले कुछ हफ्ते से लॉकडाउन जैसी पाबंदियां लागू हैं।
महाराष्ट्र के चरम पार करने का अनुमान, पिछले दो हफ्ते से स्थिर है मामले
इन पाबंदियों का असर भी देखने को मिला है और राज्य में मामले स्थिर हुए हैं। यहां पिछले दो हफ्ते से दैनिक मामले 60,000-70,000 के बीच बने हुए हैं। फरवरी में दूसरी लहर की शुरूआत के बाद ये से पहली बार है जब राज्य में मामले इतने लंबे समय तक एक ही स्तर पर रुके हैं। इसके अलावा ट्रांसमिशन रेट में भी गिरावट हुई है और 1.38 प्रतिशत के स्तर से गिरकर यह 1.13 प्रतिशत पर आ गई है।
मुंबई में घटने लगे हैं मामले
महाराष्ट्र की राजधानी मुंबई तो चरम को पार भी कर चुकी है और यहां पिछले लगभग तीन हफ्ते से मामले घट रहे हैं। शनिवार को यहां 5,867 नए मामले सामने आए जो अप्रैल में एक दिन में सामने आए सबसे कम मामले हैं। शहर में 11,163 मामलों का पीक 4 अप्रैल को सामने आया था। इसके अलावा यहां की ट्रांसमिशन रेट भी 1 से नीचे चली गई है यानि 100 संक्रमित 100 से कम लोगों को संक्रमित कर रहे हैं।
सीरो सर्वे में मुंबई के 36.3 प्रतिशत लोगों में पाई गई एंटीबॉडीज
इस बीच बृहन्मुंबई नगर निगम (BMC) के सीरो सर्वे में मुंबई के 36.3 प्रतिशत लोगों में कोरोना वायरस की एंटीबॉडीज पाई गई हैं। BMC ने मार्च में 10,197 लोगों पर यह सर्वे किया था। इसमें झुग्गी बस्तियों में 41.6 प्रतिशत लोगों और अन्य इलाकों में 28.5 प्रतिशत लोगों के खून में कोरोना की एंटीबॉडीज पाई गईं। बता दें कि पिछले साल जुलाई में हुए दूसरे सीरो सर्वे में मुंबई के 40.5 प्रतिशत लोगों के खून में एंटीबॉडीज पाई गई थीं।