सुप्रीम कोर्ट ने रद्द किया तेजस्वी के खिलाफ दर्ज मानहानि मुकदमा, गुजरातियों को ठग कहा था
गुजरातियों को लेकर दिए गए आपत्तिजनक बयान पर बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव को सुप्रीम कोर्ट से राहत मिली है। न्यायमूर्ति एएस ओका और उज्जल भुइयां की पीठ ने मंगलवार सुबह 10ः30 बजे अपना फैसला सुनाते हुए तेजस्वी के खिलाफ आपराधिक मानहानि का मामला खारिज कर दिया। कोर्ट ने कहा कि तेजस्वी के खिलाफ अहमदाबाद में ट्रायल नहीं चलेगा। साथ ही कोर्ट ने तेजस्वी का माफीनामा भी मंजूर कर लिया है।
क्या है मामला?
पिछले साल मार्च में पटना में पत्रकारों से बात करते हुए तेजस्वी ने कहा था कि अब की परिस्थितियों में सिर्फ गुजराती ही ठग हो सकते हैं और उनकी धोखाधड़ी को माफ भी कर दिया जाएगा। इस टिप्पणी के बाद गुजरात निवासी हरेश मेहता ने मामला दर्ज कराया था। उनका आरोप था कि इस बयान से गुजरातियों को ठेस पहुंची है। मामला अहमदाबाद कोर्ट में चल रहा था। इसके बाद तेजस्वी ने इसे दिल्ली स्थानांतरित करने की मांग की थी।
तेजस्वी ने वापस ले लिया था बयान
पिछले महीने 29 जनवरी को सुप्रीम कोर्ट ने तेजस्वी यादव को अपनी कथित टिप्पणी 'केवल गुजराती ही ठग हो सकते हैं' को वापस लेकर उचित बयान दाखिल करने को कहा था। 19 जनवरी को तेजस्वी ने कोर्ट में एक हलफनामा दाखिल कर आपत्तिजनक टिप्पणी वापस ले ली थी। मामले में 5 फरवरी को कोर्ट ने सुनवाई पूरी कर ली थी। पीठ का कहना है कि जब माफी मांग ली गई है तो मामला आगे बढ़ाने का कोई फायदा नहीं है।