छत्तीसगढ़ के सुकमा में मुठभेड़ के दौरान मारे गए 3 माओवादी, 2 साल में 500 ढेर
क्या है खबर?
छत्तीसगढ़ में नक्सलियों के खिलाफ अभियान तेजी से चल रहा है। गुरुवार को सुकमा जिले में सुरक्षा बलों के साथ मुठभेड़ में एक महिला सहित 3 माओवादी मारे गए हैं। सुकमा मुख्यालय से करीब 150 किलोमीटर दूर तेलंगाना सीमा की ओर गोलापल्ली पुलिस स्टेशन के वन क्षेत्र में, जिला रिजर्व गार्ड (DRG) और माओवादियों के बीच तड़के 5 बजे मुठभेड़ शुरू हुई थी। अभी तक मौके से 3 शव और हथियार बरामद किए गए हैं।
मुठभेड़
किस्टाराम क्षेत्र समिति से थे तीनों माओवादी
मारे गए तीनों माओवादियों की पहचान हो गई है, तीनों किस्टाराम क्षेत्र समिति से हैं। इनमें माड़वी जोगा उर्फ मुन्ना, सोढ़ी बंडी एसीएम किस्टाराम और महिला माओवादी नुप्पो बजनी शामिल हैं। बताया जा रहा है कि कुछ माओवादी गोली लगने के बाद घायल हो गए हैं, जो जंगलों के बीच कहीं छुपे हैं। DRG और केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) की ओर से पूरे क्षेत्र में तलाशी अभियान चलाया जा रहा है। सभी को सतर्क किया गया है।
अभियान
छत्तीसगढ़ में अब तक 500 माओवादी मारे गए
इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक, छत्तीसगढ़ राज्य में पिछले 2 साल में 500 माओवादी मारे गए हैं। इस वर्ष 284 माओवादी मारे गए, जिनमें से 255 बस्तर क्षेत्र में ढेर हुए। पिछले वर्ष राज्य में 219 माओवादी मारे गए थे, जिनमें से 217 बस्तर क्षेत्र में मारे गए थे। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने देश से नक्सलवाद को खत्म करने के लिए मार्च 2026 की समय सीमा निर्धारित की है, जिसको साकार करने के लिए अभियान में तेजी आई है।
झटका
प्रतिबंधित माओवादी पार्टी को लगा झटका
छत्तीसगढ़ में भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (माओवादी) के नेतृत्व को अभियान से झटका लगा है। उसके कई बड़े नेता मारे जा चुके हैं। पार्टी महासचिव नंबाला केशवा राव उर्फ बसवराजू, माडवी हिडमा समेत 9 सीसी सदस्य मुठभेड़ों में ढेर हुए हैं। संगठन में बचे 3 केंद्रीय समिति सदस्य गणेश उइके, मल्लरजी रेड्डी उर्फ संग्राम और अनालदा उर्फ तूफान गायब हैं। पोलित ब्यूरो के सदस्य वेणुगोपाल राव उर्फ सोनू और पुलुरी प्रसाद राव उर्फ चंद्रन्ना ने आत्मसमर्पण कर चुके हैं।