श्रीनगर: 40 प्रतिशत आबादी हो चुकी है कोरोना वायरस से संक्रमित, सीरो सर्वे में आया सामने
एक सरकारी सीरोलॉजिकल सर्वे में जम्मू-कश्मीर की राजधानी श्रीनगर की 40 प्रतिशत से अधिक आबादी में कोरोना वायरस की एंटीबॉडीज पाई गई हैं। ये आंकड़ा जून में किए गए ऐसे ही एक सर्वे के नतीजों के मुकाबले 10 गुना अधिक है और जून में किए गए इस सर्वे में श्रीनगर के मात्र 3.8 प्रतिशत निवासियों में एंटीबॉडीज पाई गई थीं। बता दें कि कोरोना वायरस से संक्रमित हो चुके लोगों में ही इसकी एंटीबॉडीज पाई जाती हैं।
लगभग 2,300 लोगों पर किया गया था सर्वे
श्रीनगर के सरकारी मेडिकल कॉलेज (GMC) ने स्वास्थ्य सेवा निदेशालय और राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के साथ मिलकर इसी महीने ये सीरोलॉजिकल सर्वे किया था और इसमें श्रीनगर जिले के 20 क्लस्टर्स से लगभग 2,300 लोगों का सैंपल लिया गया था। इनमें हर उम्र और शहरी और ग्रामीण दोनों इलाके के लोग शामिल थे और इनमें से 40.6 प्रतिशत के खून में कोरोना की एंटीबॉडीज पाई गईं। पुरुषों (37.5 प्रतिशत) के मुकाबले अधिक महिलाओं (44.7 प्रतिशत) में एंटीबॉडीज पाई गईं।
कुछ इलाकों में दो-तिहाई आबादी के खून में पाई गईं एंटीबॉडीज
सर्वे में जिले के कुछ इलाकों में दो-तिहाई आबादी के खून में कोरोना वायरस की एंटीबॉडीज पाई गईं, जबकि कुछ इलाकों में ये आंकड़ा 50 प्रतिशत के आसपास रहा। सर्वे के मुख्य सह-जांचकर्ता और GMC के बायो-केमिस्ट्री विभाग के प्रमुख डॉ सभिया साजिद ने बताया कि इस सर्वे में एबॉट लेबोरेटरीज की वही तकनीक प्रयोग की गई थी, जिसका इस्तेमाल भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (ICMR) ने अपने हालिया देशव्यापी सीरोलॉजिकल सर्वे में किया था।
मुख्य जांचकर्ता बोले- श्रीनगर में 6 लाख हो चुके हैं संक्रमित
वहीं सर्वे के मुख्य जांचकर्ता डॉ मोहम्मद सलीम खान ने कहा, "अगर हम स्टडी के नतीजों को श्रीनगर की पूरी आबादी पर लागू करते हैं तो हम मान सकते हैं कि जिले की 15 लाख आबादी में से 6 लाख लोग कोरोना वायरस से संक्रमित हो चुके हैं।" उन्होंने कहा, "मौजूदा स्टडी में जून में हुई स्टडी के मुकाबले सीरो पॉजिटिविटी में कई गुना इजाफा देखने को मिला है, जिसमें मात्र 3.8 प्रतिशत लोग सीरो पॉजिटिव पाए गए थे।"
जोखिम वाले समूहों को बचाने के लिए नियमों के सख्त पालन की जरूरत- डॉ खान
डॉ खान ने कहा कि ये सर्वे दिखाता है कि अधिकतर आबादी कोरोना वायरस से संक्रमित हो चुकी है और हमें बुजुर्गों और पहले से बीमार लोगों जैसे अधिक जोखिम वाले समूहों को संक्रमण से बचाने के लिए अभी भी नियमों का कड़ाई से पालन करते रहने की जरूरत है। उन्होंने बताया कि कश्मीर के नौ अन्य जिलों में भी सीरो सर्वे किए जा रहे हैं और उनके नतीजे जल्द आने की उम्मीद है।
क्यों किए जाते हैं सीरोलॉजिकल सर्वे?
किसी आबादी में संक्रमण किस हद तक फैल गया है, यह पता लगाने के लिए सीरोलॉजिकल सर्वे किए जाते हैं। इसमें लोगों के खून में कोरोना वायरस की एंटीबॉडीज की मौजूदगी की जांच की जाती है। एंटीबॉडीज एक प्रकार की प्रोटीन होती हैं जो हमला करने वाले वायरस से लड़कर उसे खत्म कर करती हैं। किसी व्यक्ति के खून में एंटीबॉडीज पाए जाने का मतलब है कि वह कोरोना वायरस से संक्रमित हो चुका है।