ऋषि कपूर की डेब्यू फिल्म 'मेरा नाम जोकर' के साथ जुड़े हैं कई दिलचस्प किस्से
दिग्गज अभिनेता ऋषि कपूर ने 1973 में आई फिल्म 'बॉबी' से बतौर अभिनेता अपने अभिनय करियर की शुरुआत की थी। हालांकि, इससे पहले वह 1970 में राज कपूर के निर्देशन में बनी फिल्म 'मेरा नाम जोकर' में नजर आ चुके थे। इस फिल्म में उन्होंने राज कपूर के बचपन के किरदार निभाया था। ऋषि कपूर आज हमारे बीच नहीं हैं। आज हम इस फिल्म से जुड़े कई दिलचस्प किस्सों पर बात करने वाले हैं।
फिल्म में हैं दो इंटरवेल
राज कपूर की यह फिल्म बॉलीवुड की पहली ऐसी फिल्म थी जिसमें दो इंटरवेल देखने को मिले। इसका कारण था कि यह फिल्म अब तक की सबसे लंबी फिल्मों में से एक है। यह चार घंटे और 15 मिनट की फिल्म है। जिसके लिए दो इनटरवेल देने पड़े। इसके अलावा राज की 'संगम' भी ऐसी फिल्म थी जिसमें दो इंटरवेल हैं। क्योंकि यह फिल्म भी तीन घंटे 58 मिनट की थी। जिसे लगातार देखने के लिए दर्शकों को संयम चाहिए।
मनोज कुमार ने खुद लिखे थे अपने डायलॉग्स
फिल्म में अहम किरदार निभाने वाले अभिनेता मनोज कुमार ने जब स्क्रिप्ट में अपने डायलॉग देखे तो उन्हें यह बिल्कुल पसंद नहीं आए और वह इससे असंतुष्ट हैं। इसके बाद निर्माताओं ने उनसे कहा कि अगर कोई संवादों में कोई परेशानी है तो वह अपने डायलॉग्स खुद लिखकर उन्हें दिखा सकते हैं। इसके बाद मनोज कुमार ने अपने सभी डायलॉग्स लिखे। उनके संवादों से राज कपूर इतने प्रभावित हुए कि उन्होंने फिल्म में उन्हीं डायलॉग्स को रखा।
पहली बार राज कपूर की फिल्म का हिस्सा नहीं बनी लता मंगेशकर
सुर सम्राज्ञी लता मंगेशकर ने राज कपूर की हर फिल्म को अपनी जादूई आवाज से सजाया है। हालांकि, यह उनकी पहली ऐसी फिल्म थी जिसमें लता मंगेशकर ने कोई गाना नहीं गाया। बल्कि उनकी जगह उनकी छोटी बहन आशा भोसलें फिल्म के लिए काम किया। इसके बाद नतीजा हम सभी के सामने था। लता मंगेशकर की ही तरह आशा भोसलें ने भी कोई कमी नहीं छोड़ी। फिल्म के गाने आज भी याद किए जाते हैं।
फिल्म के लिए बिना वीजा ही रूस जा पहुंचे थे राज कपूर
राज कपूर को इस फिल्म का निर्माण करने के लिए उम्मीद से दोगुनी मेहनत करनी पड़ी थी। जब वह फिल्म बना रहे थे। तब उन्हें लंदन में शूटिंग के लिए जाना पड़ा। यहां से वह सर्कस के कलाकारों से मिलने के लिए मॉस्को जाने वाले थे, लेकिन बाद में उन्हें पता चला कि उनके पास रूस का वीजा ही नहीं है। इसके बावजूद रूस में राज कपूर का जबरदस्त स्वागत किया गया।
फिल्म बनाकर कर्ज में डूब गए थे राज कपूर, बेटे ऋषि ने की मदद
इस फिल्म को बनाने में छह साल लंबा वक्त लगा। इस कारण फिल्म का बजट भी बिगड़ गया और पूरा कपूर खानदान कर्ज में डूब गया। राज कपूर की पत्नी को अपने गहने तक बेचने पड़ गए थे। इसके बाद राज कपूर ने इस कर्ज से निकलने के लिए बेटे ऋषि कपूर को 'बॉबी' से बॉलीवुड में लॉन्च करने के बारे में सोचा। यह फिल्म जबरदस्त हिट साबित हुई और राज कपूर को अपनी परेशानियों से मुक्ति मिली।