'आदिपुरुष' के आहत करने वाले डायलॉग में होगा बदलाव, मनोज मुंतशिर ने ट्वीट कर दी जानकारी
क्या है खबर?
ओम राउत की फिल्म 'आदिपुरुष' 16 जून को रिलीज होने के बाद से ही विवादों में घिरी हुई है।
फिल्म के डायलॉग पर लोग आपत्ति जता रहे हैं और इसको लेकर सोशल मीडिया पर निर्माताओं को आलोचना का सामना करना पड़ रहा है।
ऐसे में अब विवाद के बीच लेखक मनोज मुंतशिर ने ऐलान किया है कि फिल्म के आहत करने वाले डायलॉग बदले जाएंगे।
उन्होंने ट्वीट कर इस बात की जानकारी दी है।
विस्तार
आपकी भावना से बढ़कर कुछ नहीं- मुंतशिर
मुंतशिर ने ट्विटर पर एक लंबा सा पोस्ट साझा कर फिल्म के आपत्तिजनक डायलॉग में बदलाव करने की घोषणा की है।
उन्होंने लिखा, 'मेरे लिए आपकी भावना से बढ़कर और कुछ नहीं है। मैं अपने संवादों के पक्ष में अनगिनत तर्क दे सकता हूं, लेकिन इससे आपकी पीड़ा कम नहीं होगी।'
उन्होंने लिखा, 'मैंने और निर्माता-निर्देशक ने निर्णय लिया है, कि जो संवाद आपको आहत कर रहे हैं, हम उन्हें संशोधित करेंगे। ये इसी हफ्ते से फिल्म में दिखेंगे।'
ट्विटर पोस्ट
यहां देखें ट्वीट
रामकथा से पहला पाठ जो कोई सीख सकता है, वो है हर भावना का सम्मान करना.
— Manoj Muntashir Shukla (@manojmuntashir) June 18, 2023
सही या ग़लत, समय के अनुसार बदल जाता है, भावना रह जाती है.
आदिपुरुष में 4000 से भी ज़्यादा पंक्तियों के संवाद मैंने लिखे, 5 पंक्तियों पर कुछ भावनाएँ आहत हुईं.
उन सैकड़ों पंक्तियों में जहाँ श्री राम का यशगान…
विस्तार
मुझे सनातन-द्रोही कहने में जल्दबाजी क्यों- मुंतशिर
मुंतशिर ने उन्हें सनातन-द्रोही कहे जाने पर भी सवाल उठाया है।
उन्होंने लिखा, 'हो सकता है मैंने 3 घंटे की फिल्म में 3 मिनट कुछ अपनी कल्पना से लिख दिया हो, लेकिन आपने मेरे मस्तक पर सनातन-द्रोही लिखने में इतनी जल्दबाजी क्यों की, मैं जान नहीं पाया।'
उन्होंने लिखा, 'क्या आपने जय श्री राम गीत नहीं सुना, शिवोहम नहीं सुना, राम सिया राम नहीं सुना? आदिपुरुष में सनातन की ये स्तुतियां भी तो मेरी ही लेखनी से जन्मी हैं।'
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मुंतशिर ने किसी से शिकायत नहीं होने की कही बात
मुंतशिर ने आगे लिखा कि उन्हें किसी से कोई शिकायत नहीं है क्योंकि सभी उनके अपने हैं और रहेंगे।
उन्होंने लिखा, 'हम एक-दूसरे के विरुद्ध खड़े हो गए तो सनातन हार जाएगा। हमने आदिपुरुष को सनातन सेवा के लिए बनाया है, जिसे आप भारी संख्या में देख रहे हैं और मुझे विश्वास है कि आगे भी देखेंगे।'
मुंतशिर ने कहा कि उन्होंने 'आदिपुरुष' में 4000 से भी ज्यादा पंक्तियों के संवाद लिखे और 5 पंक्तियों पर भावनाएं आहत हुई हैं।
विरोध
इन डायलॉग का हो रहा विरोध
फिल्म में भगवान राम, हनुमान, अंगद सहित कई किरदारों के डायलॉग इस तरह से लिखे गए हैं कि उनका विरोध हो रहा है।
हनुमान जी लंका जलाने के दौरान इंद्रजीत से कहते हैं, "कपड़ा तेरे बाप का, तेल तेरे बाप की और जलेगी भी तेरे बाप की।"
इसी तरह राम भी एक जगह कहते नजर आते हैं- "आ रहा हूं, न्याय के दो पैरों से अन्याय के दस सर कुचलने।"
ऐसे में इन डायलॉग पर आपत्ति जताई जा रही है।