जम्मू-कश्मीर मुद्दा: पाकिस्तान में बौखलाहट, व्यापार के बाद अब हमेशा के लिए बंद की समझौता एक्सप्रेस
क्या है खबर?
भारत द्वारा जम्मू-कश्मीर को दिया विशेष दर्जा समाप्त करने से बौखलाये पाकिस्तान ने समझौता एक्सप्रेस को बंद कर दिया है।
पाकिस्तानी मीडिया के हवाले से यह खबर आई है। दोनों देशों के बीच चलने वाली यह ट्रेन पाकिस्तान से लाहौर से नई दिल्ली के बीच चलती है।
फरवरी में पुलवामा में हुए आतंकी हमले के बाद भी इस सेवा को स्थगित किया गया था। हालांकि, कुछ समय बाद फिर इस सेवा को शुरू कर दिया गया था।
दूसरे फैसले
पाकिस्तान ने भारत के साथ खत्म किए व्यापारिक संबंध
पाकिस्तान ने इससे पहले भारत के साथ व्यापार निलंबित करने और राजनयिक संबंधों को कम करने का फैसला किया था।
पाकिस्तान ने फैसला किया कि अब वह अपने राजदूत को भारत नहीं भेजेंगे और भारत के राजदूत को वापस दिल्ली भेज दिया जाएगा।
इसके अलावा फिल्मों को लेकर भी पाकिस्तान ने फैसला लिया है। इमरान खान के सलाहकार ने बताया कि पाकिस्तान के सिनेमाघरों में कोई भी भारतीय फिल्म नहीं दिखाई जाएगी।
इतिहास
दिल्ली से लाहौर के बीच चलती थी समझौता एक्सप्रेस
समझौता एक्सप्रेस दिल्ली से चलकर पाकिस्तान के लाहौर तक जाती थी। इसकी शुरुआत 1971 के भारत-पाकिस्तान युद्ध के बाद तत्कालीन भारतीय प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी और जुल्फिकार अली भुट्टो के बीच हुए शिमला समझौते से हुई थी।
दोनों देशों इस समझौते में फिर से रेल सेवा बहाल करने पर राजी हुए थे। फरवरी 2007 समझौता एक्सप्रेस में बम धमाका हुआ था, जिसमें 68 लोगों की मौत हो गई और 12 लोग घायल हुए थे।
जानकारी
सप्ताह में दो बार चलती थी समझौता एक्सप्रेस
समझौता एक्सप्रेस सप्ताह में दो बार चलती थी। यह बुधवार और रविवार रात 11:10 पर दिल्ली से रवाना होती है। यहां से रवाना होने के बाद यह अटारी में रुकती थी। लाहौर से वापसी के समय यह भारत में सोमवार और गुरुवार को पहुंचती थी।
पाकिस्तान के निर्णय
इमरान खान ने बैठक कर लिए बड़े फैसले
जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा खत्म करने संबंधी भारत सरकार के फैसले से पाकिस्तान बौखला गया है।
पाकिस्तान ने इसके विरोध में भारत के साथ व्यापार निलंबित करने और राजनयिक संबंधों को कम करने का फैसला लिया है। पाकिस्तान ने फैसला किया कि अब वह अपने राजदूत को भारत नहीं भेजेंगे और भारतीय राजदूत को वापस भेजा जाएगा।
पाकिस्तानी प्रधानमंत्री इमरान खान की अध्यक्षता में राष्ट्रीय सुरक्षा समिति (NSC) की बैठक में यह फैसला हुआ।
जम्मू-कश्मीर
भारत के किस कदम से बौखला गया है पाकिस्तान?
बता दें कि भारत सरकार ने 5 अगस्त को राष्ट्रपति के एक आदेश के जरिए भारतीय संविधान के अनुच्छेद 370 में बदलाव किए थे, जिससे जम्मू-कश्मीर को मिलने वाला विशेष दर्जा खत्म हो गया था।
इसके अलावा सरकार ने जम्मू-कश्मीर को दो केंद्र शासित प्रदेशों, जम्मू-कश्मीर और लद्दाख, में बांटने संबंधी बिल भी पेश किया, जो संसद में पास हो चुका है।
भारत ने इसे अपना आंतरिक मामला बताते हुए ये फैसला लिया है।
राजनयिक संबंध
भारत में अपने राजदूत को नहीं भेजेगा पाकिस्तान
बैठक के बाद जारी एक बयान में कहा गया कि इमरान खान ने भारत के इस कदम और मानवाधिकार उल्लंघन का पर्दाफाश करने के लिए सभी राजनयिक चैनलों को खोलने का निर्देश दिया है।
लगभग एक घंटे तक चली इस बैठक में विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने पाकिस्तान के एक चैनल को बताया, "नई दिल्ली में अब हमारा राजदूत नहीं रहेगा और यहां से उनके समकक्ष को वापस भेजा जाएगा।"
भारत की प्रतिक्रिया
भारत ने की फैसलों की समीक्षा करने की बात
जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा खत्म करने के विरोध में लिए गए कल लिए गए पाकिस्तान के फैसलों पर भारत ने प्रतिक्रिया दी है।
भारत का कहना है कि दुनिया को हमारे द्विपक्षीय रिश्तों की खतरनाक तस्वीर पेश करने के लिए पाकिस्तान ने ये कदम उठाए हैं।
भारत ने अपनी प्रतिक्रिया में पाकिस्तान को राजनयिक रिश्तों का स्तर कम करने और व्यापार निलंबित करने संबंधी फैसलों की समीक्षा करने का अनुरोध किया है।