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ओडिशा के सिर से जुड़े दो बच्चों का हुआ सफल ऑपरेशन, लिम्का बुक में रिकॉर्ड दर्ज

ओडिशा के सिर से जुड़े दो बच्चों का हुआ सफल ऑपरेशन, लिम्का बुक में रिकॉर्ड दर्ज

Nov 15, 2019
01:37 pm

क्या है खबर?

सिर से जुड़े बच्चों को अलग करने के लिए अक्सर ऑपरेशन विदेशों में किए जाते हैं, लेकिन इस बार ऐसा कारनामा भारत में किया गया है, जिसमें डॉक्टरों को सफलता मिली है। दरअसल, ओडिशा के सिर से जुड़े दो बच्चों को अलग करने के लिए डॉक्टरों ने ऑपरेशन किया और सफल हो गए। दोनों बच्चे अब पूरी तरह से स्वस्थ बताए जा रहे हैं। डॉक्टरों के इस सफल ऑपरेशन का रिकॉर्ड लिम्का बुक में दर्ज किया गया है। आइए जानें।

ऑपरेशन

ऑपरेशन में शामिल थे 125 डॉक्टर और स्टाफ़

जानकारी के अनुसार, ओडिशा के कंधमाल ज़िले के रहने वाले दो भाइयों जग्गा और कालिया का सिर आपस में जुड़ा हुआ था। डॉक्टरों ने दोनों को अलग करने के लिए कामयाब ऑपरेशन किया और ऑपरेशन को लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में शामिल किया गया है। लिम्का बुक के 2020 के संस्करण में इसे देश में अपनी तरह के पहले सफल ऑपरेशन के रूप में जगह दी गई है। बता दें कि ऑपरेशन में 125 डॉक्टर और पैरमेडिक स्टाफ़ शामिल थे।

रिकॉर्ड

भारत में पहली बार हुआ ऐसा ऑपरेशन

न्यूरोसर्जन प्रोफ़ेसर अशोक कुमार महापात्रा और डॉ. दीपक कुमार गुप्ता ने ऑपरेशन को दो हिस्सों में पूरा किया था। पहला ऑपरेशन 28 अगस्त, 2017 को और दूसरा ऑपरेशन 25 अक्टूबर, 2019 को हुआ था। जब पहला ऑपरेशन हुआ था, उस समय बच्चों की उम्र 28 महीने थी। प्रो. महापात्रा ने बताया, "यह हमारे लिए बड़ी चुनौती थी। सिर से जुड़े बच्चों का भारत में यह पहला ऑपरेशन था, जिसमें हमें सफलता मिली है।"

जानकारी

दोनों बच्चों के सिर में थी एक ही नस

प्रो. महापात्रा ने आगे कहा, "इस सर्जरी की बड़ी विशेषता यह भी थी कि इसमें एम्स की वेन बैंक से नस लेकर कालिया के सिर में लगाई गई थी, क्योंकि दोनों बच्चों के सिर में एक ही नस थी।"

विशेषता

वेन ग्राफ़्टिंग का दुनिया में पहली बार हुआ ऑपरेशन

प्रो. महापात्रा ने दावा किया कि यह वेन ग्राफ़्टिंग का दुनिया में पहला ऑपरेशन था। इसके लिए न्यूयॉर्क के अल्बर्ट आइंस्टीन कॉलेज ऑफ मेडिसिन में पीडियाट्रिक न्यूरोसर्जन प्रो. जेम्स टी गुडरिच की सलाह ली गई थी, जो पहले ही ऐसे दो ऑपरेशन कर चुके हैं। आपकी जानकारी के लिए बता दें कि वास्तविक ऑपरेशन करने से पहले तीन बार डमी ऑपरेशन किए गए थे। पिछले 33 सालों में दुनिया में ऐसे मुश्किल से 12-13 ऑपरेशन किए गए हैं।

जानकारी

डॉक्टरों ने पूरी दुनिया में रोशन किया भारत का नाम

कालिया और जग्गा इलाज के लिए लगभग दो सालों तक दिल्ली के एम्स में ही रहे। अब सर्जरी के बाद दोनों ओडिशा लौट चुके हैं और स्वास्थ्य लाभ ले रहे हैं। डॉक्टरों ने ऐसा कारनामा करके भारत का नाम पूरी दुनिया में रोशन किया है।

अन्य मामला

डॉक्टर ने बच्ची की अंगुली को बना दिया था अंगूठा

इससे पहले भारतीय डॉक्टरों ने पिछले साल एक अनोखी सर्जरी की थी, जिसमें उन्होंने एक बच्ची की मुश्किल ज़िंदगी को आसान बना दिया था। जानकारी के अनुसार, डॉक्टरों ने बच्ची की अंगुली को अंगूठा बना दिया था। ख़बरों के अनुसार, बच्ची के अंगूठे का विकास सही तरह से नहीं हुआ था, जिसकी वजह से वह खिलौना या कोई अन्य चीज़ नहीं उठा पाती थी, लेकिन सर्जरी के बाद उसे बहुत सहूलियत है।