जनवरी में जिम्बाब्वे की जगह अब श्रीलंका से टी-20 सीरीज खेलेगा भारत, जानिए क्यों
क्या है खबर?
अगले साल जनवरी में होने वाली तीन मैचों की टी-20 सीरीज के लिए BCCI ने जिम्बाब्वे की जगह श्रीलंका क्रिकेट टीम को सिलेक्ट किया है।
BCCI ने ICC द्वारा जिम्बाब्वे को बैन कर दिए जाने के बाद श्रीलंका को अगले साल बुलाने का फैसला लिया है।
इस साल जुलाई में जिम्बाब्वे के बैन हो जाने के बाद से ही इस सीरीज पर शंका के बादल मंडराने लगे थे।
जानिए क्या है पूरी खबर।
बयान
जिम्बाब्वे के बैन होने के बाद श्रीलंका को भेजा बुलावा- BCCI
बुधवार को BCCI ने एक बयान जारी करते हुए कहा कि जिम्बाब्वे के बैन हो जाने के बाद उन्होंने श्रीलंका क्रिकेट टीम को बुलावा भेजा था।
BCCI ने अपने बयान में कहा, "जिम्बाब्वे के बैन को ध्यान में रखते हुए हमने श्रीलंका क्रिकेट टीम को बुलावा भेजा था। श्रीलंका क्रिकेट ने सीरीज खेलने के लिए हां कर दी है।"
बता दें कि इस तीन टी-20 मैचों की सीरीज की शुरुआत 5 जनवरी, 2020 से होगी।
जानकारी
टी-20 सीरीज का पूरा कार्यक्रम
5 जनवरी को गुवाहाटी में पहला टी-20 मुकाबला खेला जाएगा। इसके बाद 7 जनवरी को इंदौर में दूसरा और 10 जनवरी को पुणे में सीरीज का आखिरी मुकाबला खेला जाना है।
बैन
राजनैतिक हस्तक्षेप के कारण बैन हुई थी जिम्बाब्वे
इंटरनेशनल क्रिकेट काउंसिल (ICC) ने जिम्बाब्वे को जुलाई में इंटरनेशनल क्रिकेट खेलने से तत्काल प्रभाव से बैन कर दिया था।
ICC ने यह निर्णय लंदन में हुई मीटिंग में लिया था और इसके पीछे जिम्बाब्वे द्वारा अपने क्रिकेट बोर्ड से राजनैतिक हस्तक्षेप को खत्म नहीं कर पाने का कारण बताया था।
इस बैन के बाद से जिम्बाब्वे तब तक इंटरनेशनल क्रिकेट नहीं खेल सकता, जब तक ICC उन पर से ये बैन हटा नहीं देती।
नियम
ICC का यह नियम तोड़ने के कारण सस्पेंड हुई जिम्बाब्वे
ICC के आर्टिकल 2.4 (c) और (d) के नियमों के मुताबिक किसी देश के क्रिकेट बोर्ड में उसकी सरकार का हस्तक्षेप नहीं होना चाहिए।
जिम्बाब्वे क्रिकेट बोर्ड में उनकी सरकार सीधे तौर पर हस्तक्षेप कर रही थी जिससे ICC के नियम टूट रहे थे।
बैन होने से पहले जिम्बाब्वे बोर्ड द्वारा चुने गए सदस्यों को सरकार ने हटा दिया था और सीधे तौर पर ICC के नियम तोड़े गए थे। इसके कारण ही ICC ने जिम्बाब्वे को बैन कर दिया।
जानकारी
सुधार के लिए मिला है तीन महीने का समय
ICC ने तीन महीने के अंदर जिम्बाब्वे बोर्ड मेंबर्स को वापस ऑफिस में लाने का समय दिया था। यदि ऐसा हो पाता है तो फिर अक्टूबर में होने वाली मीटिंग के दौरान ICC अपने फैसले पर पुनर्विचार कर सकती है।