अरविंद केजरीवाल का बड़ा ऐलान, 2022 का उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव लड़ेगी AAP
क्या है खबर?
दिल्ली की सत्ता पर काबिज आम आदमी पार्टी (AAP) 2022 में होने वाले उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में मैदान में उतरेगी। दिल्ली के मुख्यमंत्री और AAP प्रमुख अरविंद केजरीवाल ने मंगलवार को अपनी एक वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में ये ऐलान किया।
बता दें कि ये पहली बार होगा जब AAP धार्मिक और जातिगत राजनीति के गढ़ उत्तर प्रदेश में अपनी किस्मत आजमाएगी। अभी तक राज्यसभा सांसद संजय सिंह यहां उसका कामकाज देखते रहे हैं।
ऐलान
क्या बोले केजरीवाल?
अपनी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में केजरीवाल ने कहा, "आज मैं एक बहुत महत्वपूर्ण ऐलान करने जा रहा हूं। आने वाले 2022 के विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी उत्तर प्रदेश में चुनाव लड़ेगी। दिल्ली में UP के बहुत भाई-बहन रहते हैं। जब से दिल्ली में AAP की तीसरी बार सरकार बनाई गई है, UP के कई लोग और संगठन मेरे पास आए। उनका कहना है कि पार्टी को UP में चुनाव लड़ना चाहिए।"
निशाना
केजरीवाल ने साधा उत्तर प्रदेश की राजनीतिक पार्टियों पर निशाना
उत्तर प्रदेश की राजनीतिक पार्टियों पर बरसते हुए केजरीवाल ने कहा, "UP में हर पार्टी की सरकार आई है, लेकिन घर भरने के सिवाय किसी ने UP के लिए कुछ नहीं किया। आज छोटी-छोटी सुविधाओं के लिए UP के लोगों को दिल्ली क्यों आना पड़ता है... क्या भारत का सबसे बड़ा राज्य भारत का सबसे विकाशील राज्य नहीं बन सकता... आज UP को प्रगति की राह पर चलने से कौन रोक रहा है? UP की गंदी राजनीति और भ्रष्ट नेता।"
वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग
सही और साफ नीयत केवल AAP के पास- केजरीवाल
केजरीवाल ने आगे कहा, "UP के लोगों ने हर पार्टी के लोगों पर विश्वास करके उन्हें मौका दिया, पर उन पार्टियों ने लोगों की पीठ में छुरा घोंपा है। सरकारें आईं, सरकारें गईं, मगर हर सरकार ने पिछली सरकार का भ्रष्टाचार का रिकॉर्ड तोड़ दिया। उत्तर प्रदेश के लोगों को आखिर में क्या मिला... आज UP की राजनीति में एक ही चीज की कमी है- सही और साफ नीयत की। वो केवल आम आदमी पार्टी के पास है।"
बयान
केजरीवाल बोले- साफ नीयत से दिल्ली बदली
केजरीवाल ने कहा कि इसी साफ नीयत से AAP ने दिल्ली बदल कर दिखाई है और उसने साबित किया है कि सरकारों में पैसे की कमी नहीं होती, नीयत की कमी होती है। उन्होंने कहा कि हर UP वासी एक ईमानदार सरकार चाहता है।
सफर
दिल्ली के बाहर केवल पंजाब में कुछ हद तक सफल रही है AAP
बता दें कि एक शहरी पार्टी की छवि रखने वाली AAP दिल्ली के अलावा पंजाब में भी अपनी किस्मत आजमा चुकी है और यहां पहले ही चुनाव में मुख्य विपक्षी पार्टी बनकर उभरी थी।
धार्मिक और जातिगत राजनीति के गढ़ माने वाले राज्यों में अभी तक उसने अपनी किस्मत नहीं आजमाई है और उत्तर प्रदेश इस कड़ी में पहला राज्य होगा। यहां सफलता देशभर में उसके विस्तार का रास्ता खोल सकती है।