राजस्थान: सिरोही में रहस्यमयी बीमारी के चलते 5 दिन में 7 बच्चों की मौत
क्या है खबर?
राजस्थान के सिरोही जिले के फुलाबाइ खेड़ा में रहस्यमयी बीमारी के कारण पिछले पांच दिनों में सात बच्चों की मौत हो चुकी है। इससे चिकित्सा विभाग के अधिकारियों में हड़कंप मचा हुआ है।
चिकित्सा टीमें गांव के सभी घरों का सर्वे कर सैंपल ले रही है और बच्चों की मौत का कारण पता लगाने का प्रयास कर रही है।
शुरुआत में जांच में बच्चों की मौत का कारण वायरल (एक्यूट फेस ऑफ वायरस) को माना जा रहा है।
शुरुआत
9 अप्रैल से बिगड़ने लगी थी बच्चों की तबीयत
संयुक्त निदेशक (स्वास्थ्य) जागेश्वर प्रसाद ने बताया कि 9 अप्रैल को फुलाबाइ खेड़ा निवासी एक ही परिवार के राजेश (12), संतोष (15) और विपूल (17) ने दो रुपए में प्लास्टिक के छोटे पैकेट में मिलने वाला ठण्डा पेय पिया था। उसके बाद उनके नाक से खून आया और खून की उल्टी हुई थी।
उन्होंने बताया कि हालत बिगड़ने पर सिरोही अस्पताल से तीनों बच्चों को गुजरात रेफर किया गया था, जहां बुधवार को उनकी इलाज के दौरान मौत हो गई।
अन्य
एक दिन में हुई चार बच्चों की मौत
संयुक्त निदेशक ने बताया कि प्रकाश, गणेश, कुसिया, लाखा की भी मंगलवार को तबीयत बिगड़ने के बाद उन्हें गांव के प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया गया था। उन्हें बुखार, ऐंठन, डायरिया और उल्टी की शिकायत थी। चिकित्सकों ने उनका उपचार किया, लेकिन उनकी भी मौत हो गई। इन सभी बच्चों की उम्र 2 से 14 साल के बीच थी।
उन्होंने बताया कि मौत के कारणों की जांच के लिए सभी मृतक बच्चों के सैंपल लिए गए हैं।
जानकारी
सात बच्चों की मौत के बाद गांव में छाया मातम
पांच दिन में सात बच्चों की मौत से पूरे गांव में मातम छाया हुआ है। पिछले चार दिनों में गांवों में चूल्हे नहीं जले हैं। सरपंच विपेश कुमार गरासिया ने बताया कि बीमारी के कारण गांव के अन्य लोगों में भय बना हुआ है।
जांच
रिपोर्ट आने के बाद ही चल पाएगा मौत के कारणों का पता- संयुक्त निदेशक
संयुक्त निदेशक ने कहा कि अभी तक मौत के कारणों का पता नहीं चल पाया है। हालांकि, शुरुआती जांच में वायरल (एक्यूट फेस ऑफ वायरस) के मामले लग रहे हैं, लेकिन जब तक उनकी खून की रिपोर्ट नहीं आ जाती, तब तक कुछ भी पक्के तौर पर नहीं कहा जा सकता है।
उन्होंने कहा कि ये फूड पॉइजनिंग के मामले भी हो सकते हैं, लेकिन यह भी इतना तेज रिएक्शन नहीं करेगा कि एक दिन में ही मौत हो जाए।
तैनाती
गांव में तैनात की गई हैं चिकित्सा टीमें- जिला कलक्टर
जिला कलक्टर भंवरलाल चौधरी ने कहा कि सात बच्चों की मौत को देखते हुए चिकित्सकों और नर्सिंग स्टाफ की 12 टीमों को क्षेत्रों में तैनात किया गया है। जोधपुर AIIMS और जयपुर से भी विशेषज्ञों की टीमें गांव पहुंची है। वहीं, चिकित्सा मंत्री परसादीलाल मीणा ने भी फोन पर बात कर आवश्यक संसाधन जुटाने को कहा हैं।
उन्होंने बताया कि इलाके में आइसक्रीम और ठण्डे पेय पदार्थों की बिक्री पर रोक लगा दी है और उनके सैंपल लिए गए हैं।
सर्वे
चिकित्सा टीमों ने किया 400 घरों का सर्वे
जिला कलक्टर ने बताया कि चिकित्सा टीमों ने गुरुवार और शुक्रवार दो दिन में स्वरूपगंज इलाकें के तीन गांवों के करीब 400 घरों का सर्वे किया है। चिकित्साकर्मियों ने घर-घर जाकर बच्चों के खून के सैंपल लिए हैं और उन्हें जांच के लिए जयपुर और उदयपुर की लैबों में भेजा गया है।
उन्होंने बताया कि वर्तमान में फूला बाई (9), योगेश (4) वाकाराम (11) गुड़िया (11) को तबीयत बिगड़ने के कारण अस्तपाल में भर्ती कराया गया है।
बयान
24 घंटे में सामने नहीं आया कोई भी नया मामला- प्रोफेसर सिंह
जोधपुरAIIMS के पिडियाट्रिक विभाग के प्रमुख प्रोफेसर कुलदीप सिंह ने बताया कि पिछले 24 घंटों में कोई भी नया मामला सामने नहीं आया है। शुरुआती जांच में यह वायरल इंफेक्शन का मामला लग रहा है।
उन्होंने कहा कि सरकार ने हमारी मदद मांगी है और डॉक्टरों की टीम वहां भेजी गई है। वहां के हालातों पर बारीकी से नजर रखी जा रही है। एहतियात के तौर पर गांव में लक्षण वाले सभी बच्चों को क्वारंटाइन में रखा गया है।