मध्य प्रदेश: वैक्सीनेशन में धांधली, 13 साल के बच्चे को भी मिला वैक्सीन लगने का मैसेज
क्या है खबर?
मध्य प्रदेश में कोरोना वायरस वैक्सीनेशन अभियान में धांधली के कई मामले सामने आए हैं। यहां कई लोगो को बिना वैक्सीन लगे ही वैक्सीनेशन का मैसेज प्राप्त हो गया।
आश्चर्य की बात तो ये है कि इन लोगों में 13 साल का एक बच्चा भी शामिल है जिसे 56 साल का दिखाकर "वैक्सीन लगा दी" गई।
ये सभी मामले 21 जून के हैं जिस दिन राज्य में रिकॉर्ड संख्या में वैक्सीनेशन हुआ था।
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13 वर्षीय वेदांत के पिता को 21 जून की शाम मिला वैक्सीनेशन का मैसेज
पहला मामला भोपाल के टीला जमालपुरा की हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी में रहने वाले 13 साल के वेदांत डांगरे का है। 21 जून की शाम 7:27 बजे वेदांत के पिता रजत डांगरे के फोन पर एक मैसेज आया जिसमें लिखा हुआ था कि 13 साल के उनके दिव्यांग बेटे को वैक्सीन की पहली खुराक लग गई है।
उन्होंने इसके खिलाफ ऑनलाइन शिकायत करने की कोशिश की, लेकिन इसका कोई फायदा नहीं हुआ।
धांधली
वैक्सीनेशन के लिए इस्तेमाल किए गए वेदांत के पेंशन के दस्तावेज
रजत ने NDTV को बताया कि जब उन्होंने कोविन वेबसाइट पर जाकर वैक्सीनेशन का सर्टिफिकेट डाउनलोड किया तो पाया कि इसके लिए वेदांत के वो दस्तावेज इस्तेमाल किए गए थे जो उन्होंने कुछ दिन पहले दिव्यांग पेंशन के लिए नगर निगम के पास जमा कराए थे।
इसमें आगे एक और झोल था और सर्टिफिकेट में वेदांत की उम्र 56 साल दिखाई गई जबकि असलियत में वह केवल 13 साल का है।
#2
नुजहत सलीम को नहीं मिलती पेंशन, लेकिन पेंशन के दस्तावेजों से हुआ वैक्सीनेशन
वेदांत की तरह भोपाल के PGBT कॉलेज रोड पर रहने वाली 46 वर्षीय नुजहत सलीम को भी 21 जून को वैक्सीन लगने का मैसेज मिला। सर्टिफिकेट में उनके पेंशन के दस्तावेजों को पहचान पत्र के तौर पर दिखाया गया था, जबकि उनको पेंशन ही नहीं मिलती।
उन्होंने बताया, "मेरे पास 21 जून की रात 10.57 बजे मैसेज आया कि आपको वैक्सीन लग चुकी है, जबकि मेरे कोई वैक्सीन नहीं लगी है। मुझे चिंता है कि अब मुझे वैक्सीन कैसे लगेगी।"
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सतना के चैनेंद्र को मिला तीन लोगों के वैक्सीनेशन का मैसेज
इसी तरह 21 जून की शाम 4 बजे सतना के रहने वाले चैनेंद्र पांडे को 5 मिनट के अंदर तीन लोगों को वैक्सीन लगने के मैसेज मिले। इन लोगों के नाम कातिकराम, कालिंद्री और चंदन थे और चैनेंद्र इनमें से किसी को नहीं जानते हैं।
चैनेंद्र परेशान है कि उन्हें ये मैसेज क्यों आए और अभी तक इसकी वजह नहीं समझ पाए हैं। उन्होंने बताया कि उन्होंने अभी तक कोई वैक्सीन नहीं लगवाई है।
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रतलाम के प्रेम पांड्या को भी बिना वैक्सीन लगे मिला मैसेज
भोपाल से लगभग 300 किलोमीटर दूर रतलाम के रहने वाले टैक्स कंसल्टेंट प्रेम पांड्या को भी कुछ इसी तरह की समस्या का सामना करना पड़ा।
उन्होंने वैक्सीन का स्लॉट तो बुक कराया था, लेकिन किसी वजह से वह वैक्सीन लगवाने नहीं जा पाए। हालांकि इसके बावजूद उन्हें शाम 4 बजे वैक्सीन लगने का मैसेज प्राप्त हो गया।
जब उन्होंने फेसबुक पर इसके बारे में लिखा तो अगले दिन उन्हें स्वास्थ्यकर्मियों का फोन आया और उन्हें वैक्सीन लगी।
राजनीति
सरकार ने कहा ऐसी कोई धांधली नहीं, विपक्ष ने उठाए सवाल
मध्य प्रदेश के चिकित्सा शिक्षा मंत्री विश्वास सारंग ने धांधली के इन आरोपों को खारिज किया है।
उन्होंने कहा, "ऐसी कोई धांधली नहीं है। मुझे नहीं पता तुम्हें ये सूचना कहां से मिली। मैं ये पहली बार सुन रहा हूं। अगर कुछ सामने आता है तो हम जांच करेंगे।"
वहीं कांग्रेस प्रवक्ता नरेंद्र सलूजा ने कहा, "13 साल के बच्चे और मरे हुए लोगों को वैक्सीन लगाई जा रही हैं। ये वैक्सीन रिकॉर्ड और कुछ नहीं बस प्रचार है।"
रिकॉर्ड वैक्सीनेशन
मध्य प्रदेश में 21 जून को लगी थीं रिकॉर्ड 17.42 लाख खुराकें
बता दें कि मध्य प्रदेश में 21 जून को रिकॉर्ड 17.42 लाख लोगों को वैक्सीन लगाई गई थी। हालांकि इसके बाद इसमें गिरावट देखी गई है।
मध्य प्रदेश की भाजपा सरकार पर 21 जून को रिकॉर्ड बनाने के लिए इससे पहले के दिनों में जानबूझ कर धीमा वैक्सीनेशन करने का आरोप भी लगा है। राज्य में 20 जून को महज 4,098, 19 जून को 24,700 और 18 जून को 11,742 खुराकें लगी थीं।