लखनऊ: च्यूइंग गम लेने से इनकार करने पर पति ने दिया पत्नी को तीन तलाक
उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में एक व्यक्ति ने केवल इसलिए अपनी पत्नी को तीन तलाक दे दिया क्योंकि उसने उससे च्यूइंग गम लेने से इनकार कर दिया था। चौंकाने वाली बात ये है कि ये मामला लखनऊ सिविल कोर्ट के परिसर में हुआ। मामले में पति के खिलाफ नए तीन तलाक कानून के तहत मामला दर्ज किया गया है और पुलिस मामले की जांच कर रही है। पूरा मामला क्या है, आइए आपको बताते हैं।
महिला ने पति पर किया था दहेज के लिए उत्पीड़न का केस
लखनऊ के अमराई गांव की रहने वाली 30 वर्षीय सिम्मी ने अपने पति सईद राशिद और ससुरालजनों पर दहेज के लिए उत्पीड़न करने का आरोप लगाते हुए केस किया था। इसकी सुनवाई के लिए वह सोमवार को राशिद के साथ लखनऊ के सिविल कोर्ट पहुंची थीं। इस दौरान जब सिम्मी अपने वकील से बात कर रहीं थीं, तब राशिद ने उन्हें च्यूइंग गम दी, जिसे सिम्मी ने लेने से इनकार कर दिया।
गुस्से में राशिद ने दिया तीन तलाक
सिम्मी के इनकार से गुस्से में आए राशिद ने वहीं वकील के सामने तीन बार तलाक बोला और सिम्मी को तलाक दे दिया। मामले की जानकारी देते हुए इंदिरा नगर पुलिस स्टेशन के SHO एसबी पांडे ने बताया कि सिम्मी और राशिद की शादी 2004 में हुई थी। उन्होंने कहा कि राशिद के खिलाफ मुस्लिम महिला (विवाह पर अधिकारों का संरक्षण) कानून, 2019 के तहत मामला दर्ज किया गया है और मामले की जांच चल रही है।
मेरठ में दहेज के लिए पत्नी को तीन तलाक
इससे अलग मेरठ में भी एक व्यक्ति के दहेज के लिए पत्नी को तीन तलाक देने का मामला सामने आया है। पीड़िता ने अपने बयान में कहा, "मेरे पति और ससुरालजनों ने दहेज को लेकर मुझे पीटा। उन्होंने मुझसे मेरे पिता से पैसा लाने को कहा, अन्यथा मेरे पति की शादी दूसरी महिला से करने की धमकी दी। उन्होंने शिकायत करने पर मुझे और मेरे दो बच्चों को मारने की धमकी भी दी।"
मेरठ में दहेज के लिए दिया तीन तलाक
पुलिस से तीन तलाक की शिकायत करने पर महिला को जिंदा जला दिया
इससे पहले उत्तर प्रदेश के ही श्रीवस्ती जिले में एक महिला के पति ने उसे फोन पर ही तीन तलाक दे दिया था। महिला इसकी शिकायत लेकर जब पुलिस के पास पहुंची तो पुलिस ने मामला दर्ज करने की बजाय उसे समझाकर घर भेज दिया। लेकिन इस बात को लेकर पति-पत्नी में झगड़ा बढ़ता गया और 16 अगस्त को पति ने अपने घरवालों के सहयोग से महिला पर मिट्टी का तेल डालकर जिंदा जला दिया, जिससे उसकी मौत हो गई।
तत्काल तीन तलाक को कानून अपराध बना चुकी है सरकार
बता दें कि तीन तलाक के ऐसे ही मामलों को रोकने के लिए केंद्र सरकार ने तीन तलाक कानून बनाया है। इस कानून के तहत तत्काल तीन तलाक यानि तलाक-ए-बिद्दत को दंडनीय अपराध बनाते हुए पति को अधिकतम 3 साल तक की सजा और जुर्माने का प्रावधान किया है। मजिस्ट्रेट को पीड़िता का पक्ष सुनने के बाद सुलह कराने और जमानत देने का अधिकार दिया गया है। वह पीड़िता का पक्ष सुनकर आरोपी को जमानत भी दे सकता है।