लॉकडाउन: भारत में फंसा जर्मनी का वॉन्डेट अपराधी, 55 दिनों तक दिल्ली एयरपोर्ट पर रहा
क्या है खबर?
देश में कोरोना के प्रसार को रोकने के लागू लॉकडाउन के बीच एक चौंकाने वाली खबर सामने आई है।
लॉकडाउन के कारण सभी विदेशी उड़ानों को निलंबित कर देने से जर्मनी का एक वॉन्टेड अपराधी दिल्ली के इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे (IGI) के ट्रांजिट क्षेत्र में फंस गया।
उसने पूरे 55 दिन एयरपोर्ट पर ही गुजार दिए और मंगलवार को वह LKM फ्लाइट से एम्सटर्डम के लिए रवाना हो गया।
जांच में वह कोरोना संक्रमित नहीं पाया गया है।
विवरण
इस्तांबुल जाते समय भारत में फंसा
एयरपोर्ट के एक अधिकारी ने बताया कि जर्मनी निवासी एडगार्ड जेबैट गत 18 मार्च को वियतनाम की राजधानी हनोई से फ्लाइट में सवार होकर इस्तांबुल के लिए रवाना हुआ था।
इसी बीच फ्लाइट भारत में रुकी, लेकिन फिर भारत ने तुर्की आदि देशों के लिए उड़ानें बंद कर दी। फिर सभी अंतरराष्ट्रीय फ्लाइटों का संचालन भी बंद कर दिया गया।
ऐसे में जेबैट एयरपोर्ट के ट्रांजिट क्षेत्र में फंस गया। वह 55 दिनों से वहीं रह रहा था।
अपराध
जर्मनी का वॉन्टेड अपराधी होने के कारण भारत में नहीं कर सका वीजा आवेदन
एयरपोर्ट के एक अधिकारी ने बताया कि जेबैट पर जर्मनी में लोगों पर हमला करने समेत कुछ और मामले दर्ज हैं। ऐसे में वह भारत में वीजा के लिए आवेदन नहीं कर सका।
बिना वीजा के वह न तो एयरपोर्ट के बाहर जा सका और फ्लाइट बंद होने के चलते दूसरे देश के लिए भी उड़ान नहीं भर सका।
ऐसे में उसे मजबूरन एयरपोर्ट के ट्रांजिट क्षेत्र में ही रहना पड़ा। उसके पास कई देशों के वीजा थे।
इनकार
जेबैट ने वापस जर्मनी जाने से किया इनकार
जर्मन दूतावास के प्रवक्ता ने बताया कि जेबैट को वापस जर्मनी लौटने का ऑफर दिया था, लेकिन उसने आपराधिक रिकॉर्ड होने के कारण वहां जाने से इनकार कर दिया।
इसके बाद भारत की ओर से जेबैत को जल्द से जल्द भारत छोड़ने का नोटिस जारी किया था। ऐसे में उसने एम्सटर्डम जाने का निर्णय किया।
बता दें कि ट्रांजिट एरिया में कोई अंतरराष्ट्रीय यात्री सिर्फ एक दिन ही ठहर सकता है, लेकिन वह 55 दिन रह गया।
जानकारी
तुर्की अधिकारियों ने जेबैट को लेने से कर दिया था इनकार
एयरपोर्ट के अधिकारी ने बताया कि गत सप्ताह जेबैट को अंकारा जाने वाली फ्लाइट में भेजने की कोशिश की थी, लेकिन तुर्की के अधिकारियों ने उसे लेने से मना कर दिया क्योंकि वह सिर्फ अपने नागरिकों या परमानेंट कार्ड धारकों को ले जा रहे थे।
टाइम पास
किताबें पढ़कर टाइम पास कर रहा था जेबैट
एयरपोर्ट के अधिकारी ने बताया कि जेबैत पिछले 55 दिनों से ट्रांजिट एरिया में ही रह रहा था। वह प्रतिदिन किताबें, मैगजीन पढ़कर और इंटरनेट के जरिए यूट्यूब पर वीडियो आदि देखकर अपना टाइम पास कर रहा था। वह कभी-कभी फोन पर दोस्तों, परिवार से बात भी करता था।
वह हाउस कीपिंग स्टाफ, सिक्योरिटी स्टाफ आदि से बातें भी करता था। उसे रिक्लाइनर, मच्छर मारने वाला नेट, टूथपेस्ट, खाना और अन्य जरूरी चीजें उपलब्ध कराई गई थीं।